नयी दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने जनधन खातों की संख्या 50 करोड़ के पार पहुंचने को एक अहम पड़ाव करार दिया और इस उपलब्धि की सराहना की. प्रधानमंत्री ने शनिवार को सोशल मीडिया मंच 'एक्स' (पूर्व में ट्विटर) पर लिखा, "यह देखकर खुशी हुई कि इनमें से आधे से अधिक खाते महिलाओं के हैं." केंद्रीय वित्त मंत्रालय ने शुक्रवार को कहा था कि देश में जनधन खातों की कुल संख्या 50 करोड़ के आंकड़े को पार कर गई है, जिनमें से 56 फीसदी खाते महिलाओं के हैं.
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Thanks to the Pradhan Mantri Jan Dhan Yojana, the future of several families has become secure. A high proportion of beneficiaries are from rural areas and are women. I also applaud all those who have worked tirelessly to make PM-JDY a success. #6YearsOfJanDhanYojana pic.twitter.com/XqvCxop7AS
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— Narendra Modi (@narendramodi) August 28, 2020
मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि इनमें से लगभग 67 फीसदी खाते ग्रामीण और अर्ध-शहरी क्षेत्रों में खोले गए हैं. इस उपलब्धि को एक अहम पड़ाव करार देते हुए प्रधानमंत्री ने कहा, "यह देखकर खुशी हो रही है कि इनमें से आधे से अधिक खाते हमारी नारी शक्ति के हैं. 67 फीसदी खाते ग्रामीण और अर्ध-शहरी क्षेत्रों में खोले गए हैं. हम यह भी सुनिश्चित कर रहे हैं कि वित्तीय समावेश का लाभ हमारे देश के हर कोने तक पहुंचे." वित्त मंत्रालय की ओर से जारी बयान के मुताबिक, जनधन खातों में कुल जमा राशि 2.03 लाख करोड़ रुपये से अधिक है, जबकि इन खातों के साथ लगभग 34 करोड़ रुपे कार्ड मुफ्त जारी किए गए हैं.
मोदी सरकार ने 2014 में वित्तीय समावेश को बढ़ावा देने के लिए जनधन बैंक खाते खोलने के वास्ते बड़े पैमाने पर राष्ट्रव्यापी अभियान प्रारंभ किया था, जिसका उद्देश्य प्रत्यक्ष लाभ हस्तांतरण- DBT सहित कई वित्तीय सेवाओं को गरीबों के लिए सुलभ बनाना था. 15 अगस्त 2014 को प्रधानमंत्री जन धन योजना की शुरुआत की गई थी. जिसका मकसद था कि देश के हर नागरिक को आर्थिक रुप से मजबूत बनाना, कम आय वाले लोगों को बैंक खाता से जोड़ना. असंगठित क्षेत्र के नागरिक को भी पेंशन की सुविधा प्रदान करना.
(भाषा)