ETV Bharat / business

सेबी ने सरकारी प्रतिभूतियों, कारपोरेट बांड की खरीद-फरोख्त के लिये एक मंच की वकालत की

भारतीय प्रतिभूति एवं विनिमय बोर्ड (सेबी) के चेयरमैन अजय त्यागी ने कहा कि बैंकिंग प्रणाली की स्थिति को देखते हुये कारपोरेट बांड बाजार आर्थिक वृद्धि को बढ़ाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकता है. उन्होंने कहा कि बॉंड इश्यू बाजार पिछले तीन साल के दौरान एक स्तर पर पहुंचकर स्थिर हो चुका है.

सेबी ने सरकारी प्रतिभूतियों, कारपोरेट बांड की खरीद-फरोख्त के लिये एक मंच की वकालत की
author img

By

Published : Sep 4, 2019, 9:53 PM IST

Updated : Sep 29, 2019, 11:24 AM IST

मुंबई: पूंजी बाजार नियामक सेबी ने बुधवार को कारपोरेट बॉंड बाजार और सरकारी प्रतिभूतियों के बाजार के एकीकरण की वकालत करते हुये कहा है कि इससे निवेशकों के बाजार में निवेश करने और उससे बाहर निकलना अधिक आसान हो जायेगा.

भारतीय प्रतिभूति एवं विनिमय बोर्ड (सेबी) के चेयरमैन अजय त्यागी ने कहा कि बैंकिंग प्रणाली की स्थिति को देखते हुये कारपोरेट बांड बाजार आर्थिक वृद्धि को बढ़ाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकता है. उन्होंने कहा कि बॉंड इश्यू बाजार पिछले तीन साल के दौरान एक स्तर पर पहुंचकर स्थिर हो चुका है.

ये भी पढ़ें- वित्त मंत्री ने अवसंरचना क्षेत्र के प्रतिनिधियों से की मुलाकात

त्यागी ने यहां उद्योग मंडल एसोचैम की ओर से आयोजित एक कार्यक्रम में कहा, "सरकारी प्रतिभूतियों के बाजार से कारपोरेट बांड बाजार की ओर सूचनाओं के सरलता के साथ पारेषण की आवश्यकता है. इन दोनों बाजारों के एकीकरण की आवश्यकता है."

उन्होंने कहा कि इस स्थिति को हासिल करना का एक तरीका यह हो सकता है कि सरकारी प्रतिभूतियों और कारपोरेट बांड बाजार का एकीकरण किया जाये जिसमें कि प्रतिभूतियों की खरीद- फरोख्त, क्लीयरिंग और निपटान कार्य एक ही प्लेटफार्म पर किया जा सके. इसके लिये ऐसा बेहतर सुविधाजनक मंच तैयार किया जाये जहां सरकारी प्रतिभूतियों और कारपोरेट बॉंड होल्डिंग का सरलता के साथ हस्तांतरण किया जा सके.

त्यागी ने बांड जारी करने की लागत को भी कम करने पर जोर दिया. उनके मुताबिक वर्तमान में यह लागत काफी ऊंची है. इसमें लागत कम करने का एक तरीका यह हो सकता है कि इस भुगतान को एकीकृत भुगतान प्रणाली को स्थानांतरित कर दिया जाये.

उन्होंने बांड जारी करने के तौर- तरीकों और बॉंड के प्रकार में भी नवोन्मेष का आह्वान किया है. उन्होंने कहा कि पिछले छह साल में से तीन साल के दौरान जारी बॉंड 6.4 लाख करोड़ रुपये के स्तर के आसपास ही रहे.

मुंबई: पूंजी बाजार नियामक सेबी ने बुधवार को कारपोरेट बॉंड बाजार और सरकारी प्रतिभूतियों के बाजार के एकीकरण की वकालत करते हुये कहा है कि इससे निवेशकों के बाजार में निवेश करने और उससे बाहर निकलना अधिक आसान हो जायेगा.

भारतीय प्रतिभूति एवं विनिमय बोर्ड (सेबी) के चेयरमैन अजय त्यागी ने कहा कि बैंकिंग प्रणाली की स्थिति को देखते हुये कारपोरेट बांड बाजार आर्थिक वृद्धि को बढ़ाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकता है. उन्होंने कहा कि बॉंड इश्यू बाजार पिछले तीन साल के दौरान एक स्तर पर पहुंचकर स्थिर हो चुका है.

ये भी पढ़ें- वित्त मंत्री ने अवसंरचना क्षेत्र के प्रतिनिधियों से की मुलाकात

त्यागी ने यहां उद्योग मंडल एसोचैम की ओर से आयोजित एक कार्यक्रम में कहा, "सरकारी प्रतिभूतियों के बाजार से कारपोरेट बांड बाजार की ओर सूचनाओं के सरलता के साथ पारेषण की आवश्यकता है. इन दोनों बाजारों के एकीकरण की आवश्यकता है."

उन्होंने कहा कि इस स्थिति को हासिल करना का एक तरीका यह हो सकता है कि सरकारी प्रतिभूतियों और कारपोरेट बांड बाजार का एकीकरण किया जाये जिसमें कि प्रतिभूतियों की खरीद- फरोख्त, क्लीयरिंग और निपटान कार्य एक ही प्लेटफार्म पर किया जा सके. इसके लिये ऐसा बेहतर सुविधाजनक मंच तैयार किया जाये जहां सरकारी प्रतिभूतियों और कारपोरेट बॉंड होल्डिंग का सरलता के साथ हस्तांतरण किया जा सके.

त्यागी ने बांड जारी करने की लागत को भी कम करने पर जोर दिया. उनके मुताबिक वर्तमान में यह लागत काफी ऊंची है. इसमें लागत कम करने का एक तरीका यह हो सकता है कि इस भुगतान को एकीकृत भुगतान प्रणाली को स्थानांतरित कर दिया जाये.

उन्होंने बांड जारी करने के तौर- तरीकों और बॉंड के प्रकार में भी नवोन्मेष का आह्वान किया है. उन्होंने कहा कि पिछले छह साल में से तीन साल के दौरान जारी बॉंड 6.4 लाख करोड़ रुपये के स्तर के आसपास ही रहे.

Intro:Body:

सेबी ने सरकारी प्रतिभूतियों, कारपोरेट बांड की खरीद-फरोख्त के लिये एक मंच की वकालत की

मुंबई: पूंजी बाजार नियामक सेबी ने बुधवार को कारपोरेट बॉंड बाजार और सरकारी प्रतिभूतियों के बाजार के एकीकरण की वकालत करते हुये कहा है कि इससे निवेशकों के बाजार में निवेश करने और उससे बाहर निकलना अधिक आसान हो जायेगा.

भारतीय प्रतिभूति एवं विनिमय बोर्ड (सेबी) के चेयरमैन अजय त्यागी ने कहा कि बैंकिंग प्रणाली की स्थिति को देखते हुये कारपोरेट बांड बाजार आर्थिक वृद्धि को बढ़ाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकता है. उन्होंने कहा कि बॉंड इश्यू बाजार पिछले तीन साल के दौरान एक स्तर पर पहुंचकर स्थिर हो चुका है.

ये भी पढ़ें- 

त्यागी ने यहां उद्योग मंडल एसोचैम की ओर से आयोजित एक कार्यक्रम में कहा, "सरकारी प्रतिभूतियों के बाजार से कारपोरेट बॉंड बाजार की ओर सूचनाओं के सरलता के साथ पारेषण की आवश्यकता है. इन दोनों बाजारों के एकीकरण की आवश्यकता है." 

उन्होंने कहा कि इस स्थिति को हासिल करना का एक तरीका यह हो सकता है कि सरकारी प्रतिभूतियों और कारपोरेट बॉंड बाजार का एकीकरण किया जाये जिसमें कि प्रतिभूतियों की खरीद- फरोख्त, क्लीयरिंग और निपटान कार्य एक ही प्लेटफार्म पर किया जा सके. इसके लिये ऐसा बेहतर सुविधाजनक मंच तैयार किया जाये जहां सरकारी प्रतिभूतियों और कारपोरेट बॉंड होल्डिंग का सरलता के साथ हस्तांतरण किया जा सके. 

त्यागी ने बॉंड जारी करने की लागत को भी कम करने पर जोर दिया. उनके मुताबिक वर्तमान में यह लागत काफी ऊंची है. इसमें लागत कम करने का एक तरीका यह हो सकता है कि इस भुगतान को एकीकृत भुगतान प्रणाली को स्थानांतरित कर दिया जाये. 

उन्होंने बॉंड जारी करने के तौर- तरीकों और बॉंड के प्रकार में भी नवोन्मेष का आह्वान किया है. उन्होंने कहा कि पिछले छह साल में से तीन साल के दौरान जारी बॉंड 6.4 लाख करोड़ रुपये के स्तर के आसपास ही रहे. 


Conclusion:
Last Updated : Sep 29, 2019, 11:24 AM IST
ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.