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स्टेट बैंक की शंघाई शाखा चीन की राष्ट्रीय भुगतान प्रणाली से जुड़ी - SBI

एसबीआई शंघाई के मुख्य कार्यकारी अधिकारी (सीईओ) के. स्वामीनाथन ने कहा कि एसबीआई स्थानीय मुद्रा में कारेाबार करने का लाइसेंस पाने वाला तथा पीबीओसी द्वारा सीएनएपीएस में शामिल किया जाने वाला एकमात्र भारतीय बैंक है.

स्टेट बैंक की शंघाई शाखा चीन की राष्ट्रीय भुगतान प्रणाली से जुड़ी
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Published : Aug 2, 2019, 6:45 PM IST

बीजिंग: भारतीय स्टेट बैंक (एसबीआई) की शंघाई शाखा अब चीन के नेशनल एडवांस पेमेंट सिस्टम (सीएनएपीएस) से जुड़ गयी है. इससे एसबीआई सीएनएपीएस के परिचालन में काम करने वाला पहला भारतीय बैंक बन गया है.

एक वरिष्ठ बैंक अधिकारी ने शुक्रवार को इसकी जानकारी दी. पीपुल्स बैंक ऑफ चाइना (पीबीओसी) ने 2008 में सीएनएपीएस की शुरुआत की थी. इसके बाद युआन के अंतरराष्ट्रीय इस्तेमाल को बढ़ावा देने के लिये 2015 में सीआईपीएस (चाइना इंटरनेशनल पेमेंट्स सिस्टम अथवा क्रॉस बॉर्डर इंटर बैंक पेमेंट सिस्टम) की शुरुआत की गयी थी. सीआईपीएस के पास पहले ही दुनियाभर में कई देशों के भागीदार हैं.

ये भी पढ़ें- आरबीआई ने बैंक आफ चाइना को देश में बैंक सेवाएं देने की अनुमति दी

एसबीआई शंघाई के मुख्य कार्यकारी अधिकारी (सीईओ) के. स्वामीनाथन ने पीटीआई-भाषा से शुक्रवार को कहा कि एसबीआई स्थानीय मुद्रा में कारेाबार करने का लाइसेंस पाने वाला तथा पीबीओसी द्वारा सीएनएपीएस में शामिल किया जाने वाला एकमात्र भारतीय बैंक है.

एसबीआई को सीएनएपीएस के क्रियान्वयन के लिये दिसंबर 2016 में पीबीओसी की मंजूरी मिली थी. विभिन्न सॉफ्टवेयरों तथा हार्डवेयरों को सफलतापूर्वक स्थापित करने के बाद आठ जुलाई को इसे पीबीओसी के लाइव सिस्टम से जोड़कर परीक्षण किया गया.

सीएनएपीएस का सदस्य हो जाने के बाद एसबीआई की शंघाई शाखा भी अब चीन में स्थानीय कोष का रीयल टाइम हस्तांततरण करने की सुविधा दे सकती है. उन्होंने कहा कि इससे गठजोड़ों तथा विभिन्न बैंकों में खाता रखने के झंझट से मुक्ति मिल गयी है.

बीजिंग: भारतीय स्टेट बैंक (एसबीआई) की शंघाई शाखा अब चीन के नेशनल एडवांस पेमेंट सिस्टम (सीएनएपीएस) से जुड़ गयी है. इससे एसबीआई सीएनएपीएस के परिचालन में काम करने वाला पहला भारतीय बैंक बन गया है.

एक वरिष्ठ बैंक अधिकारी ने शुक्रवार को इसकी जानकारी दी. पीपुल्स बैंक ऑफ चाइना (पीबीओसी) ने 2008 में सीएनएपीएस की शुरुआत की थी. इसके बाद युआन के अंतरराष्ट्रीय इस्तेमाल को बढ़ावा देने के लिये 2015 में सीआईपीएस (चाइना इंटरनेशनल पेमेंट्स सिस्टम अथवा क्रॉस बॉर्डर इंटर बैंक पेमेंट सिस्टम) की शुरुआत की गयी थी. सीआईपीएस के पास पहले ही दुनियाभर में कई देशों के भागीदार हैं.

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एसबीआई शंघाई के मुख्य कार्यकारी अधिकारी (सीईओ) के. स्वामीनाथन ने पीटीआई-भाषा से शुक्रवार को कहा कि एसबीआई स्थानीय मुद्रा में कारेाबार करने का लाइसेंस पाने वाला तथा पीबीओसी द्वारा सीएनएपीएस में शामिल किया जाने वाला एकमात्र भारतीय बैंक है.

एसबीआई को सीएनएपीएस के क्रियान्वयन के लिये दिसंबर 2016 में पीबीओसी की मंजूरी मिली थी. विभिन्न सॉफ्टवेयरों तथा हार्डवेयरों को सफलतापूर्वक स्थापित करने के बाद आठ जुलाई को इसे पीबीओसी के लाइव सिस्टम से जोड़कर परीक्षण किया गया.

सीएनएपीएस का सदस्य हो जाने के बाद एसबीआई की शंघाई शाखा भी अब चीन में स्थानीय कोष का रीयल टाइम हस्तांततरण करने की सुविधा दे सकती है. उन्होंने कहा कि इससे गठजोड़ों तथा विभिन्न बैंकों में खाता रखने के झंझट से मुक्ति मिल गयी है.

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स्टेट बैंक की शंघाई शाखा चीन की राष्ट्रीय भुगतान प्रणाली से जुड़ी

बीजिंग: भारतीय स्टेट बैंक (एसबीआई) की शंघाई शाखा अब चीन के नेशनल एडवांस पेमेंट सिस्टम (सीएनएपीएस) से जुड़ गयी है. इससे एसबीआई सीएनएपीएस के परिचालन में काम करने वाला पहला भारतीय बैंक बन गया है. 

एक वरिष्ठ बैंक अधिकारी ने शुक्रवार को इसकी जानकारी दी. पीपुल्स बैंक ऑफ चाइना (पीबीओसी) ने 2008 में सीएनएपीएस की शुरुआत की थी. इसके बाद युआन के अंतरराष्ट्रीय इस्तेमाल को बढ़ावा देने के लिये 2015 में सीआईपीएस (चाइना इंटरनेशनल पेमेंट्स सिस्टम अथवा क्रॉस बॉर्डर इंटर बैंक पेमेंट सिस्टम) की शुरुआत की गयी थी. सीआईपीएस के पास पहले ही दुनियाभर में कई देशों के भागीदार हैं.

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एसबीआई को सीएनएपीएस के क्रियान्वयन के लिये दिसंबर 2016 में पीबीओसी की मंजूरी मिली थी. विभिन्न सॉफ्टवेयरों तथा हार्डवेयरों को सफलतापूर्वक स्थापित करने के बाद आठ जुलाई को इसे पीबीओसी के लाइव सिस्टम से जोड़कर परीक्षण किया गया. 

सीएनएपीएस का सदस्य हो जाने के बाद एसबीआई की शंघाई शाखा भी अब चीन में स्थानीय कोष का रीयल टाइम हस्तांततरण करने की सुविधा दे सकती है. उन्होंने कहा कि इससे गठजोड़ों तथा विभिन्न बैंकों में खाता रखने के झंझट से मुक्ति मिल गयी है.

 


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