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SC ने अमेजन-फ्यूचर मामले में उच्च न्यायालय में जारी कार्यवाही को स्थगित किया

अमेजन ने आठ अप्रैल को शीर्ष अदालत में याचिका दायर कर दिल्ली उच्च न्यायालय की खंडपीठ के उस आदेश को चुनौती दी थी जिसमें किशोर बियाणी की अगुवाई वाले फ्यूचर समूह पर रिलायंस इंडस्ट्रीज के साथ किये गये 24,713 करोड़ रुपये के संपत्ति बिक्री सौदे पर लगायी गयी रोक को हटा दिया गया था.

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Published : Apr 19, 2021, 7:37 PM IST

SC ने अमेजन-फ्यूचर मामले में उच्च न्यायालय में जारी कार्यवाही को स्थगित किया
SC ने अमेजन-फ्यूचर मामले में उच्च न्यायालय में जारी कार्यवाही को स्थगित किया

नई दिल्ली : उच्चतम न्यायालय ने सोमवार को फ्यूचर रिटेल लि. (एफआरएल) के रिलायंस रिटेल के साथ विलय से जुड़े मामले में दिल्ली उच्च न्यायालय में चल रही कार्यवाही को स्थगित करने का निर्देश दिया.

न्यायाधीश आर एफ नरीमन, न्यायाधीश बी आर गवई और न्यायाधीश हृषिकेश रॉय ने मामले की अगली सुनवाई के लिये चार मई की तारीख तय की और मामले में सभी दलीलें लिखित में पूरी करने का निर्देश दिया.

अमेजन ने आठ अप्रैल को शीर्ष अदालत में याचिका दायर कर दिल्ली उच्च न्यायालय की खंडपीठ के उस आदेश को चुनौती दी थी जिसमें किशोर बियाणी की अगुवाई वाले फ्यूचर समूह पर रिलायंस इंडस्ट्रीज के साथ किये गये 24,713 करोड़ रुपये के संपत्ति बिक्री सौदे पर लगायी गयी रोक को हटा दिया गया था.

इससे पहले, एफआरएल ने उच्च न्यायालय में एकल पीठ के आदेश को खंडपीठ में चुनौती दी थी. एकल न्यायाधीश की पीठ ने सिंगापुर आपातकालीन मध्यस्थता (ईए) न्यायाधिकरण के आदेश को बरकरार रखा था जिसमें एफआरएल को रिलायंस इंडस्ट्रीज के साथ 24,713 करोड़ रुपये के सौदे को लेकर कदम बढ़ाने से मना किया गया था.

ये भी पढ़ें : गोकर्ण महाबलेश्वर मंदिर का प्रबंधन जस्टिस बीएन श्रीकृष्ण की निगरानी समिति देखेगी : सुप्रीम कोर्ट

खंड पीठ ने फ्यूचर समूह को एकल न्यायाधीश के 18 मार्च के आदेश से राहत प्रदान की थी. आदेश में कंपनी पर रिलायंस इंडस्ट्रीज को संपत्ति बेचे जाने पर रोक लगायी गयी थी.

अमेरिका की ई-वाणिज्य कंपनी ने याचिका दायर कर 22 मार्च के उच्च न्यायाल की खंडपीठ के आदेश पर रोक लगाने का आग्रह किया है. याचिका में खंडपीठ के आदेश को 'गलत' और 'अनुचित' बताया गया है.

उल्लेखनीय है कि अमेजन और फ्यूचर समूह के बीच कानूनी विवाद चल रहा है. अमेरिकी कंपनी ने फ्यूचर समूह के खिलाफ सिंगापुर के आपातकालीन मध्यस्थता न्यायाधिकरण में मामला दर्ज किया. उसकी दलील है कि भारतीय कंपनी ने प्रतिद्वंद्वी रिलायंस इंडस्ट्रीज के साथ समझौता कर अनुबंध का उल्लंघन किया है.

नई दिल्ली : उच्चतम न्यायालय ने सोमवार को फ्यूचर रिटेल लि. (एफआरएल) के रिलायंस रिटेल के साथ विलय से जुड़े मामले में दिल्ली उच्च न्यायालय में चल रही कार्यवाही को स्थगित करने का निर्देश दिया.

न्यायाधीश आर एफ नरीमन, न्यायाधीश बी आर गवई और न्यायाधीश हृषिकेश रॉय ने मामले की अगली सुनवाई के लिये चार मई की तारीख तय की और मामले में सभी दलीलें लिखित में पूरी करने का निर्देश दिया.

अमेजन ने आठ अप्रैल को शीर्ष अदालत में याचिका दायर कर दिल्ली उच्च न्यायालय की खंडपीठ के उस आदेश को चुनौती दी थी जिसमें किशोर बियाणी की अगुवाई वाले फ्यूचर समूह पर रिलायंस इंडस्ट्रीज के साथ किये गये 24,713 करोड़ रुपये के संपत्ति बिक्री सौदे पर लगायी गयी रोक को हटा दिया गया था.

इससे पहले, एफआरएल ने उच्च न्यायालय में एकल पीठ के आदेश को खंडपीठ में चुनौती दी थी. एकल न्यायाधीश की पीठ ने सिंगापुर आपातकालीन मध्यस्थता (ईए) न्यायाधिकरण के आदेश को बरकरार रखा था जिसमें एफआरएल को रिलायंस इंडस्ट्रीज के साथ 24,713 करोड़ रुपये के सौदे को लेकर कदम बढ़ाने से मना किया गया था.

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खंड पीठ ने फ्यूचर समूह को एकल न्यायाधीश के 18 मार्च के आदेश से राहत प्रदान की थी. आदेश में कंपनी पर रिलायंस इंडस्ट्रीज को संपत्ति बेचे जाने पर रोक लगायी गयी थी.

अमेरिका की ई-वाणिज्य कंपनी ने याचिका दायर कर 22 मार्च के उच्च न्यायाल की खंडपीठ के आदेश पर रोक लगाने का आग्रह किया है. याचिका में खंडपीठ के आदेश को 'गलत' और 'अनुचित' बताया गया है.

उल्लेखनीय है कि अमेजन और फ्यूचर समूह के बीच कानूनी विवाद चल रहा है. अमेरिकी कंपनी ने फ्यूचर समूह के खिलाफ सिंगापुर के आपातकालीन मध्यस्थता न्यायाधिकरण में मामला दर्ज किया. उसकी दलील है कि भारतीय कंपनी ने प्रतिद्वंद्वी रिलायंस इंडस्ट्रीज के साथ समझौता कर अनुबंध का उल्लंघन किया है.

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