भारतीय निर्यातक संगठनों के महासंघ फियो की प्रबंधन समिति के सदस्य महेश चंद्र केयल ने एक विज्ञप्ति में कहा कि ईरान के साथ निर्यात कारोबार में भुगतान, शिपमेंट, दस्तावेजों का आदान प्रदान और बीमा आदि कई चुनौतियां रही हैं, लेकिन रुपया भुगतान प्रणाली जैसे नये उपायों का स्वागत हुआ है. इस तरह के और नए प्रयासों से ईरान के साथ व्यापार बढ़ेगा. बहरहाल, इसमें सुधार दिखने लगा है और चालू वित्त वर्ष में दोनों देशों का व्यापार तीन अरब डालर के पार जा सकता है.
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विज्ञप्ति के अनुसार ईरान के साथ रुपया भुगतान प्रणाली में व्यापार को लेकर सोमवार को निर्यातकों और यूको बैंक के वरिष्ठ अधिकारियों के बीच बैठक हुई. इस बैठक में व्यापार से जुड़े विभिन्न मुद्दों पर आशंकाओं का निराकरण किया गया. यूको बैंक के प्रबंध निदेशक और सीईओ अतुल कुमार गोयल सहित बैंक के वरिष्ठ अधिकारी बैठक में उपस्थित थे. फियो द्वारा कोलकाता में आयोजित इस बैठक में सीमा शुल्क, डीजीसीआईएस, कोलकाता के अधिकारी भी उपस्थित थे.
परमाणु कार्यक्रम को लेकर ईरान पर अमेरिका की ओर से पुन: प्रतिबंध लगाये जाने के बाद भारत और ईरान के बीच व्यापार को लेकर संकट के बादल छा गये थे. हालांकि, बाद में दोनों देशों के बीच रुपये में भुगतान को लेकर सहमति बनी. यूको बैंक के जरिये यह कारोबार होगा. यही वजह है कि यूको बैंक के वरिष्ठ अधिकारियों ने निर्यातकों की विभिन्न शंकाओं को दूर करने का प्रयास किया.
भारत और ईरान के बीच 2017-18 में 13.8 अरब डालर का द्विपक्षीय व्यापार हुआ. इससे पहले साल 2016-17 में 12.9 अरब डालर का द्विपक्षीय कारोबार हुआ. भारत से ईरान को निर्यात केवल 2.65 अरब डालर का हुआ जबकि आयात 11.11 अरब डालर का रहा. ईरान से भारत कच्चे तेल का आयात करता है. अमेरिकी प्रतिबंध के बाद कुछ देशों को ईरान से तेल आयात की अनुमति मिली है. हालांकि, आयात मात्रा में कमी लाने को कहा गया है.
(भाषा)