लखनऊ : कर्मचारी चयन आयोग (SSC) की परीक्षा में सॉल्वर व अन्य उपकरणों की मदद से अभ्यर्थियों को पास करवाने वाला सॉल्वर गैंग बिहार और पूर्वी यूपी से संचालित हो रहा है. यही नहीं इसमें यूपी पुलिस के सिपाही के भी शामिल होने की बात आई है. बुधवार को एसटीएफ ने सात आरोपियों की गिरफ्तारी कर पूरे गैंग का खुलासा किया है. इन आरोपियों ने एसएससी जीडी कांस्टेबल के पद पर भर्ती के लिए 17 जनवरी को आयोजित हुई ऑनलाइन परीक्षा में मोटी रकम लेकर सॉल्वर बैठाकर अभ्यर्थियों को पास करवाने का ठेका लिया था. गिरफ्तार हुए आरोपी बिहार, गोरखपुर व प्रयागराज के रहने वाले हैं. सॉल्वर गैंग का लीडर यूपी पुलिस में सिपाही है और उसकी तैनाती अयोध्या में है.
यूपी एसटीएफ एसएसपी विशाल विक्रम सिंह ने बताया कि "10 जनवरी प्रदेश के 13 जिलों के कुल 61 परीक्षा केंद्रों में कर्मचारी चयन आयोग द्वारा जीडी कान्स्टेबल परीक्षा-2022 आयोजित हो रही थी. सूचना मिली थी कि अयोध्या में तैनात यूपी पुलिस का सिपाही अच्युतानन्द यादव व उसका साथी गुड्डू यादव, प्रयागराज निवासी सलमान व अमित एसएससी (जीडी) परीक्षा में साल्वर बैठाने का गैंग ऑपरेट कर रहे हैं. मंगलवार को लखनऊ के टेढ़ी पुलिया स्थित सिंको लर्निंग सेंटर में आयोजित ऑनलाइन परीक्षा में भी इस गैंग ने सॉल्वरों को बैठाने की योजना बनाई थी, जिसके बाद एसटीएफ ने तत्काल केंद्र पहुंचकर साॅल्वर विवेक कुमार सिंह को परीक्षा केंद्र के अन्दर से व मूल अभ्यर्थी केषवानन्द को परीक्षा केंद्र के बाहर से गिरफ्तार कर लिया है.
एसएसपी एसटीएफ के मुताबिक, "इस गैंग का लीडर सिपाही अच्युतानन्द यादव है, जो बांसगांव गोरखपुर का रहने वाला है, वहीं अन्य सदस्य बिहार के रहने वाले विवेक, मनोज झा, राकेश यादव हैं. यही नहीं गोरखपुर के तीन मूल अभ्यर्थियों को भी गिरफ्तार किया गया है, जिसमें केशवानंद, गुड्डू यादव, मनोज यादव शामिल हैं. गैंग लीडर व सिपाही अच्युतानन्द बिहार से सॉल्वर को ढूंढ कर लाता था, फिर अभ्यर्थियों से पैसे लेकर उन्हीं सॉल्वर को परीक्षा केंद्र भेज देता था.
उन्होंने कहा कि पूछताछ में सिपाही अच्युतानन्द ने बताया कि "वह पुलिस विभाग में आरक्षी के पद पर अयोध्या में तैनात है. उसका गैंग साॅल्वर मनोज कुमार झा व राकेश कुमार यादव से सम्पर्क करके और मूल अभ्यर्थियों से प्रवेश पत्र, आधार कार्ड व फोटो लेकर साॅल्वर व मूल अभ्यर्थी की फोटो मिक्सिंग कराकर प्रवेश पत्र पर लगाता है. अभ्यर्थियों से पैसा प्राप्त कर साल्वरों को प्रति परीक्षा 20 हजार रुपये देता था. गिरफ्तार किये गये सॉल्वर मनोज झा ने बताया कि "वह इससे पहले 16 जनवरी को राजधानी में ही कानपुर रोड पर परीक्षा केंद्र में अभ्यर्थी की जगह परीक्षा दे चुका है." अन्य सॉल्वर राकेश ने बताया कि "वह इसी गैंग के कहने पर 22 अगस्त 2022 और 16 जनवरी को आयोजित हुई परीक्षा में अभ्यर्थी के स्थान पर परीक्षा हल कर चुका है.
यह भी पढ़ें : Lucknow News : गरीबी का फायदा उठाकर महिला के साथ दुष्कर्म, फिर किया ये गलत काम