लखनऊ : यूपी के सत्ताधारी दल भाजपा और सरकार को लेकर एक बार फिर सियासी गलियारे में सरगर्मियां तेज हैं. इस बार यूपी के जिम्मेदार लोगों का जमावड़ा दिल्ली में होने की वजह से चर्चाओं का बाजार गर्म है. यूपी भाजपा अध्यक्ष स्वतंत्रदेव सिंह और प्रदेश महामंत्री संगठन सुनील बंसल अचानक दिल्ली बुलाए गए हैं.
सुनील बंसल बुधवार को दिल्ली पहुंचे थे. इसके बाद गुरुवार को पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष स्वतंत्रदेव सिंह भी दिल्ली दरबार में पहुंच गए. संगठन के इन दोनों नेताओं के दिल्ली पहुंचने के बाद से प्रदेश में अटकलों का बाजार गर्म हो गया है.
सेवा ही संगठन अभियान की समीक्षा
पार्टी सूत्रों का कहना है कि दिल्ली में बीजेपी के सेवा ही संगठन को लेकर बैठक है. उसी बैठक को लेकर बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष स्वतंत्रदेव सिंह और प्रदेश महामंत्री संगठन सुनील बंसल दिल्ली गए हैं. दोनों नेताओं की मौजूदगी में उत्तर प्रदेश में भाजपा के सेवा ही संगठन अभियान की यथास्थिति के बारे में चर्चा की जाएगी. उसकी प्रगति के बारे में चर्चा की जाएगी. इसके साथ ही प्रदेश में पार्टी की भविष्य की रणनीति को लेकर भी चर्चा होगी.
मोर्चा-प्रकोष्ठ के गठन को लेकर हो सकती है चर्चा
इसके साथ ही आगामी विधानसभा चुनाव में जाने से पहले बीजेपी अपने संगठन के कील कांटे दुरुस्त करना चाहती है. अनुमान है कि इस बैठक में संगठन को लेकर भी चर्चा की जानी है. दरअसल, भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष स्वतंत्र देव सिंह अभी तक आपने फ्रंटल संगठनों की घोषणा नहीं कर पाए हैं. इसको लेकर भी चर्चा की जा सकती है. युवा मोर्चा, महिला मोर्चा, अनुसूचित मोर्चा, पिछड़ा वर्ग, अल्पसंख्यक मोर्चा समेत अन्य मोर्चा और प्रकोष्ठ के गठन को पर विस्तार से चर्चा की जा सकती है.
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सरकार में कार्यकर्ताओं का समायोजन शुरू
प्रदेश सरकार ने पार्टी कार्यकर्ताओं के समायोजन को लेकर गंभीरता दिखानी शुरू कर दी है. बुधवार को ही उत्तर प्रदेश की योगी आदित्यनाथ सरकार ने एससीएसटी आयोग के अध्यक्ष, उपाध्यक्ष और सदस्यों की घोषणा की थी. वहीं गुरुवार को पिछड़ा वर्ग आयोग की घोषणा की गई. इसके बाद जल्द ही अन्य बचे हुए आयोगों और निगमों के अध्यक्ष और सदस्यों की घोषणा की जानी है. संगठन चाहता है कि इन रिक्त पदों पर पार्टी कार्यकर्ताओं का समायोजन कर दिया जाए. ताकि 2022 के चुनाव से पहले कार्यकर्ताओं की नाराजगी दूर हो सके.