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देश में बढ़ रहे हैं कोरोना के मामले, केंद्र ने पांच राज्यों को दी सतर्कता बढ़ाने की हिदायत

कोरोना के बढ़ते मामलों को देखते हुए केंद्र सरकार ने पांच राज्यों हरियाणा, उत्तर प्रदेश, दिल्ली, महाराष्ट्र और मिजोरम को सतर्कता बढ़ाने की हिदायत दी है. इस संबंध में केंद्रीय स्वास्थ्य सचिव ने इन राज्यों को पत्र लिखा है. दिल्ली और यूपी सरकार ने एक बार फिर मास्क अनिवार्य करने का फैसला किया है.

Union Health Secretary
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Published : Apr 19, 2022, 10:01 PM IST

नई दिल्ली : देश में कोरोना के मामले फिर से बढ़ने लगे है. केंद्रीय स्वास्थ्य सचिव राजेश भूषण ने बढ़ते पॉजिटिविटी रेट पर हरियाणा, उत्तर प्रदेश, दिल्ली, महाराष्ट्र और मिजोरम को पत्र लिखकर सतर्कता बढ़ाने की हिदायत दी है.

मंगलवार को 632 नए मामलों के साथ दिल्‍ली में कोरोना के सक्रिय मरीजों की संख्या 1900 से ज्यादा हो गई है. इसके अलावा गाजियाबाद और नोएडा में कई स्कूली बच्चे कोरोना की चपेट में आ गए थे. नोएडा में 33 स्कूली छात्रों समेत कुल 107 लोगों की कोरोना रिपोर्ट पॉजिटिव आई थी. उत्तर प्रदेश में भी पिछले 24 घंटे के दौरान कोरोना के 163 मामले दर्ज किए गए हैं. बढ़ते मामलों को देखते हुए यूपी सरकार ने गौतमबुद्धनगर, गाजियाबाद, मेरठ, बुलंदशहर, बागपत में मास्क एक बार फिर अनिवार्य कर दिया है.

महाराष्ट्र में मंगलवार को कोविड-19 के 137 नए मामले आए, जबकि 3 लोगों की मौत हो गई. संक्रमित मरीजों की संख्या सोमवार को आए केस से दोगुनी से ज्यादा है. सोमवार को राज्य में 59 नए केस मिले थे. महाराष्ट्र स्वास्थ्य विभाग के मुताबिक, राज्य में एक्टिव केस की संख्या 660 है. मिजोरम में पिछले 24 घंटों के दौरान कोविड संक्रमण के 99 मामले सामने आए हैं. संक्रमित मरीजों में 28 बच्चे हैं. सोमवार को पूर्वोत्तर के इस राज्य में 61 मरीजों में कोविड की पुष्टि हुई थी.

दिल्ली में 1 अप्रैल से मास्क की अनिवार्यता खत्म की गई थी. इसके अलावा महाराष्ट्र में भी गुड़ीपरबा के दिन से कोविड प्रोटोकॉल हटा दिए गए थे. केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय द्वारा जारी आंकड़ों के मुताबिक इस समय देश में 11,860 कोरोना का एक्टिव केस हैं. ये कुल मामलों का 0.03 फीसदी है. जबकि देश में कुल कोरोना केसों की संख्या 43,045,527 हो गई है.

गौरतलब है कि देश भर में कोविड के बढ़ते मामलों के बीच कोरोना संक्रमण दर भी लगातार बढ़ रही है. इसका सबसे ज्यादा असर बच्चों पर देखा जा रहा है. राहत की बात यह है कि अभी तक हॉस्पिटल में एडमिट होने वाले मामले बहुत ही कम है. बुखार, सर्दी और खांसी जैसे लक्षणों को कारण होम आइसोलेशन में सामान्य दवाओं से उनका इलाज हो रहा है. एक्सपर्ट मानते हैं कि अभी तक 12 साल से कम उम्र के बच्चों का वैक्सीनेशन नहीं हुआ है, इसलिए इन बच्चों में संक्रमण बढ़ा है.

पढ़ें : IPL 2022: दिल्ली कैपिटल्स में कोरोना का कहर, BCCI ने लिया बड़ा फैसला

नई दिल्ली : देश में कोरोना के मामले फिर से बढ़ने लगे है. केंद्रीय स्वास्थ्य सचिव राजेश भूषण ने बढ़ते पॉजिटिविटी रेट पर हरियाणा, उत्तर प्रदेश, दिल्ली, महाराष्ट्र और मिजोरम को पत्र लिखकर सतर्कता बढ़ाने की हिदायत दी है.

मंगलवार को 632 नए मामलों के साथ दिल्‍ली में कोरोना के सक्रिय मरीजों की संख्या 1900 से ज्यादा हो गई है. इसके अलावा गाजियाबाद और नोएडा में कई स्कूली बच्चे कोरोना की चपेट में आ गए थे. नोएडा में 33 स्कूली छात्रों समेत कुल 107 लोगों की कोरोना रिपोर्ट पॉजिटिव आई थी. उत्तर प्रदेश में भी पिछले 24 घंटे के दौरान कोरोना के 163 मामले दर्ज किए गए हैं. बढ़ते मामलों को देखते हुए यूपी सरकार ने गौतमबुद्धनगर, गाजियाबाद, मेरठ, बुलंदशहर, बागपत में मास्क एक बार फिर अनिवार्य कर दिया है.

महाराष्ट्र में मंगलवार को कोविड-19 के 137 नए मामले आए, जबकि 3 लोगों की मौत हो गई. संक्रमित मरीजों की संख्या सोमवार को आए केस से दोगुनी से ज्यादा है. सोमवार को राज्य में 59 नए केस मिले थे. महाराष्ट्र स्वास्थ्य विभाग के मुताबिक, राज्य में एक्टिव केस की संख्या 660 है. मिजोरम में पिछले 24 घंटों के दौरान कोविड संक्रमण के 99 मामले सामने आए हैं. संक्रमित मरीजों में 28 बच्चे हैं. सोमवार को पूर्वोत्तर के इस राज्य में 61 मरीजों में कोविड की पुष्टि हुई थी.

दिल्ली में 1 अप्रैल से मास्क की अनिवार्यता खत्म की गई थी. इसके अलावा महाराष्ट्र में भी गुड़ीपरबा के दिन से कोविड प्रोटोकॉल हटा दिए गए थे. केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय द्वारा जारी आंकड़ों के मुताबिक इस समय देश में 11,860 कोरोना का एक्टिव केस हैं. ये कुल मामलों का 0.03 फीसदी है. जबकि देश में कुल कोरोना केसों की संख्या 43,045,527 हो गई है.

गौरतलब है कि देश भर में कोविड के बढ़ते मामलों के बीच कोरोना संक्रमण दर भी लगातार बढ़ रही है. इसका सबसे ज्यादा असर बच्चों पर देखा जा रहा है. राहत की बात यह है कि अभी तक हॉस्पिटल में एडमिट होने वाले मामले बहुत ही कम है. बुखार, सर्दी और खांसी जैसे लक्षणों को कारण होम आइसोलेशन में सामान्य दवाओं से उनका इलाज हो रहा है. एक्सपर्ट मानते हैं कि अभी तक 12 साल से कम उम्र के बच्चों का वैक्सीनेशन नहीं हुआ है, इसलिए इन बच्चों में संक्रमण बढ़ा है.

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