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उद्धव ठाकरे ने अजित से कहा- राज्य के लिए कुछ अच्छा करें, आपके हाथों में खजाने की चाबियां हैं

महाराष्ट्र के पूर्व सीएम उद्धव ठाकरे (Former Maharashtra CM Uddhav Thackeray) ने उप मुख्यमंत्री अजित पवार (Maharashtra Deputy Chief Minister Ajit Pawar) से मुलाकात की. इस दौरान ठाकरे ने कहा कि मुझे भरोसा है कि राज्य के लोगों को सहायता मिलेगी क्योंकि खजाने की चाबियां उनके पास हैं. पढ़िए पूरी खबर...

Uddhav Thackeray met Deputy CM Ajit Pawar
उद्धव ठाकरे ने डिप्टी सीएम अजित पवार से की मुलाकात
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Published : Jul 19, 2023, 6:35 PM IST

मुंबई : शिवसेना (यूबीटी) प्रमुख और महाराष्ट्र के पूर्व सीएम उद्धव ठाकरे (Former Maharashtra CM Uddhav Thackeray) ने बुधवार को अपने पूर्व सहयोगी और महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री अजित पवार (Maharashtra Deputy Chief Minister Ajit Pawar) से मुलाकात की. राकांपा नेता के एकनाथ शिंदे सरकार में शामिल होने के बाद दोनों के बीच यह पहली मुलाकात थी. राज्य विधान परिषद के सदस्य ठाकरे थोड़े समय के लिए सदन की कार्यवाही में शामिल हुए. उनकी एक समय की पार्टी सहयोगी तथा उप सभापति नीलम गोरे के शिंदे के नेतृत्व वाली प्रतिद्वंद्वी शिवसेना में शामिल होने के बाद वह पहली बार सदन में पहुंचे थे.

  • VIDEO | Shiv Sena (UBT) leader Uddhav Thackeray meets Maharashtra Deputy CM Ajit Pawar in Mumbai.

    (Source: Third Party) pic.twitter.com/38w33jcPnv

    — Press Trust of India (@PTI_News) July 19, 2023 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">

वित्त मंत्री से उनके कार्यालय में मुलाकात के बाद ठाकरे ने कहा, 'मैंने उनसे राज्य और लोगों के लिए अच्छा काम करने के लिए कहा.' पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि उन्होंने पवार के साथ काम किया है और उनकी कार्यशैली को जानते हैं. पिछली महा विकास अघाड़ी (एमवीए) सरकार में (भी) अजित उपमुख्यमंत्री थे. ठाकरे ने कहा, 'मुझे विश्वास है कि राज्य के लोगों को सहायता मिलेगी क्योंकि खजाने की चाबियां उनके पास हैं.' इस महीने की शुरुआत में अजित पवार और राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के आठ अन्य विधायक शिंदे सरकार में शामिल हो गए, जिससे शरद पवार द्वारा स्थापित पार्टी वस्तुतः विभाजित हो गई.

वहीं विधान भवन परिसर में मीडिया से बात करते हुए उद्धव ठाकरे ने विपक्षी दलों द्वारा 'इंडिया' गठबंधन बनाए जाने के एक दिन बाद कहा कि देश और मातृभूमि से प्यार करने वाले दल एक साथ आ गए हैं. उन्होंने दावा किया कि तानाशाही के खिलाफ यह एक मजबूत मोर्चा है. उन्होंने कहा कि यह लड़ाई किसी एक व्यक्ति के खिलाफ नहीं, बल्कि तानाशाही के खिलाफ है.

ठाकरे ने कहा, 'नेता, प्रधानमंत्री और मुख्यमंत्री आते-जाते रहते हैं, लेकिन जो मिसाल कायम की जा रही है वह देश के लिए हानिकारक है. इसलिए देश और मातृभूमि से प्यार करने वाले दल एक साथ आ गए हैं और अब तानाशाही के खिलाफ एक मजबूत मोर्चा है.' मंगलवार को बेंगलुरु में 26 विपक्षी दलों की बैठक में शिव सेना (यूबीटी) भी शामिल हुई थी और उद्धव ठाकरे ने इसमें भाग लिया था. बैठक में सर्वसम्मति से गठबंधन का नाम 'इंडियन नेशनल डवलपमेंटल इन्क्लूसिव अलायंस' (इंडिया) रखने का प्रस्ताव पारित किया गया.

मूल सुझाव में गठबंधन का नाम 'इंडियन नेशनल डेमोक्रेटिक इन्क्लूसिव अलायंस' रखने का प्रस्ताव था, लेकिन कुछ नेताओं ने कहा कि यह नाम भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के नेतृत्व वाले राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (एनडीए) के समान लगता है, इसलिए 'डेमोक्रेटिक' शब्द की जगह 'डवलपमेंटर' शब्द का प्रयोग किया गया.

ये भी पढ़ें - शिवसेना ने राज्य विधान परिषद में नेता प्रतिपक्ष के पद के लिए दावेदारी पेश की

(पीटीआई-भाषा)

मुंबई : शिवसेना (यूबीटी) प्रमुख और महाराष्ट्र के पूर्व सीएम उद्धव ठाकरे (Former Maharashtra CM Uddhav Thackeray) ने बुधवार को अपने पूर्व सहयोगी और महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री अजित पवार (Maharashtra Deputy Chief Minister Ajit Pawar) से मुलाकात की. राकांपा नेता के एकनाथ शिंदे सरकार में शामिल होने के बाद दोनों के बीच यह पहली मुलाकात थी. राज्य विधान परिषद के सदस्य ठाकरे थोड़े समय के लिए सदन की कार्यवाही में शामिल हुए. उनकी एक समय की पार्टी सहयोगी तथा उप सभापति नीलम गोरे के शिंदे के नेतृत्व वाली प्रतिद्वंद्वी शिवसेना में शामिल होने के बाद वह पहली बार सदन में पहुंचे थे.

  • VIDEO | Shiv Sena (UBT) leader Uddhav Thackeray meets Maharashtra Deputy CM Ajit Pawar in Mumbai.

    (Source: Third Party) pic.twitter.com/38w33jcPnv

    — Press Trust of India (@PTI_News) July 19, 2023 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">

वित्त मंत्री से उनके कार्यालय में मुलाकात के बाद ठाकरे ने कहा, 'मैंने उनसे राज्य और लोगों के लिए अच्छा काम करने के लिए कहा.' पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि उन्होंने पवार के साथ काम किया है और उनकी कार्यशैली को जानते हैं. पिछली महा विकास अघाड़ी (एमवीए) सरकार में (भी) अजित उपमुख्यमंत्री थे. ठाकरे ने कहा, 'मुझे विश्वास है कि राज्य के लोगों को सहायता मिलेगी क्योंकि खजाने की चाबियां उनके पास हैं.' इस महीने की शुरुआत में अजित पवार और राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के आठ अन्य विधायक शिंदे सरकार में शामिल हो गए, जिससे शरद पवार द्वारा स्थापित पार्टी वस्तुतः विभाजित हो गई.

वहीं विधान भवन परिसर में मीडिया से बात करते हुए उद्धव ठाकरे ने विपक्षी दलों द्वारा 'इंडिया' गठबंधन बनाए जाने के एक दिन बाद कहा कि देश और मातृभूमि से प्यार करने वाले दल एक साथ आ गए हैं. उन्होंने दावा किया कि तानाशाही के खिलाफ यह एक मजबूत मोर्चा है. उन्होंने कहा कि यह लड़ाई किसी एक व्यक्ति के खिलाफ नहीं, बल्कि तानाशाही के खिलाफ है.

ठाकरे ने कहा, 'नेता, प्रधानमंत्री और मुख्यमंत्री आते-जाते रहते हैं, लेकिन जो मिसाल कायम की जा रही है वह देश के लिए हानिकारक है. इसलिए देश और मातृभूमि से प्यार करने वाले दल एक साथ आ गए हैं और अब तानाशाही के खिलाफ एक मजबूत मोर्चा है.' मंगलवार को बेंगलुरु में 26 विपक्षी दलों की बैठक में शिव सेना (यूबीटी) भी शामिल हुई थी और उद्धव ठाकरे ने इसमें भाग लिया था. बैठक में सर्वसम्मति से गठबंधन का नाम 'इंडियन नेशनल डवलपमेंटल इन्क्लूसिव अलायंस' (इंडिया) रखने का प्रस्ताव पारित किया गया.

मूल सुझाव में गठबंधन का नाम 'इंडियन नेशनल डेमोक्रेटिक इन्क्लूसिव अलायंस' रखने का प्रस्ताव था, लेकिन कुछ नेताओं ने कहा कि यह नाम भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के नेतृत्व वाले राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (एनडीए) के समान लगता है, इसलिए 'डेमोक्रेटिक' शब्द की जगह 'डवलपमेंटर' शब्द का प्रयोग किया गया.

ये भी पढ़ें - शिवसेना ने राज्य विधान परिषद में नेता प्रतिपक्ष के पद के लिए दावेदारी पेश की

(पीटीआई-भाषा)

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