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ट्विटर ने छह साल तक बिना बताए यूजर्स के डेटा का इस्तेमाल किया, देना होगा $150 मिलियन जुर्माना - Privacy of Twitter users data

उपयोगकर्ताओं के डेटा की गोपनीयता की रक्षा करने में विफल रहने के कारण में ट्विटर 150 मिलियन डॉलर का जुर्माना अदा करेगा. साथ ही ट्विटर संघीय नियामकों के आरोपों को निपटाने के लिए नए सुरक्षा उपाय करेगा.

ट्विटर को छह साल तक बिना बताए यूजर्स के डेटा का किया इस्तेमाल, देना होगा $150 मिलियन जुर्माना
ट्विटर को छह साल तक बिना बताए यूजर्स के डेटा का किया इस्तेमाल, देना होगा $150 मिलियन जुर्माना
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Published : May 26, 2022, 7:50 AM IST

Updated : May 26, 2022, 8:15 AM IST

वाशिंगटन : उपयोगकर्ताओं के डेटा की गोपनीयता की रक्षा करने में विफल रहने के कारण में ट्विटर 150 मिलियन डॉलर का जुर्माना अदा करेगा. यह जुर्माना 2022 की पहली तिमाही में ट्विटर के राजस्व का लगभग 13 प्रतिशत जुर्माना है. साथ ही ट्विटर संघीय नियामकों के आरोपों को निपटाने के लिए नए सुरक्षा उपाय करेगा. सोशल प्लेटफॉर्म पर आरोप है कि छह साल की अवधि में वह उपयोगकर्ताओं के डेटा की गोपनीयता की रक्षा करने में विफल रहा. न्याय विभाग और संघीय व्यापार आयोग ने बुधवार को ट्विटर के साथ समझौते की घोषणा की. संघीय व्यापार आयोग और न्याय विभाग ने कहा कि कंपनी को 'भ्रामक रूप से एकत्रित' डेटा से आगे किसी तरह का लाभ उठाने से प्रतिबंधित किया जाता है. साथ ही कंपनी को 140 मिलियन से अधिक उपयोगकर्ताओं को सूचित करना होगा कि ट्विटर ने टारगेटेड विज्ञापन के लिए उनके फोन नंबर और ईमेल पते का उपयोग किया. फिर उपयोगकर्ता चाहें तो ट्विटर से हर्जाने की मांग कर सकते हैं.

पढ़ें: एलन मस्क, पराग अग्रवाल फर्जी यूजर अकाउंट को लेकर ट्विटर पर भिड़े

नियामकों का आरोप है कि ट्विटर ने 2011 के संघीय व्यापार आयोग (एफटीसी) आदेश का उल्लंघन करते हुए कहा कि यह उपयोगकर्ताओं की गैर-सार्वजनिक संपर्क जानकारी की गोपनीयता और सुरक्षा को अच्छी तरह बनाए रखता है. यह एक झूठ था और उपयोगकर्ताओं को धोखा देने जैसा था. मई 2013 से सितंबर 2019 तक, ट्विटर ने उपयोगकर्ताओं को बताया कि वह खाते की सुरक्षा के उद्देश्य से उनके फोन नंबर और ईमेल पते एकत्र कर रहा है. लेकिन ट्विटर ने उपयोगकर्ताओं की इन जानकारियों का इस्तेमाल टारगेटेड ऑनलाइन विज्ञापन भेजने में भी किया.

बुधवार को दायर एक संघीय मुकदमे में नियामकों ने यह भी आरोप लगाया कि ट्विटर ने झूठा दावा किया कि उसने अमेरिका, यूरोपीय संघ और स्विट्ज़रलैंड के साथ गोपनीयता समझौते किए हैं, जो कंपनियों को उपयोगकर्ता जानकारी को ऐसे तरीके से संसाधित करने से रोकते हैं. एफटीसी के 2011 के आदेश में ट्विटर की डेटा सुरक्षा में गंभीर चूक का आरोप लगाया गया था, जिसने हैकर्स को उपयोगकर्ता की गैर-सार्वजनिक जानकारी तक पहुंच दी थी.

वाशिंगटन : उपयोगकर्ताओं के डेटा की गोपनीयता की रक्षा करने में विफल रहने के कारण में ट्विटर 150 मिलियन डॉलर का जुर्माना अदा करेगा. यह जुर्माना 2022 की पहली तिमाही में ट्विटर के राजस्व का लगभग 13 प्रतिशत जुर्माना है. साथ ही ट्विटर संघीय नियामकों के आरोपों को निपटाने के लिए नए सुरक्षा उपाय करेगा. सोशल प्लेटफॉर्म पर आरोप है कि छह साल की अवधि में वह उपयोगकर्ताओं के डेटा की गोपनीयता की रक्षा करने में विफल रहा. न्याय विभाग और संघीय व्यापार आयोग ने बुधवार को ट्विटर के साथ समझौते की घोषणा की. संघीय व्यापार आयोग और न्याय विभाग ने कहा कि कंपनी को 'भ्रामक रूप से एकत्रित' डेटा से आगे किसी तरह का लाभ उठाने से प्रतिबंधित किया जाता है. साथ ही कंपनी को 140 मिलियन से अधिक उपयोगकर्ताओं को सूचित करना होगा कि ट्विटर ने टारगेटेड विज्ञापन के लिए उनके फोन नंबर और ईमेल पते का उपयोग किया. फिर उपयोगकर्ता चाहें तो ट्विटर से हर्जाने की मांग कर सकते हैं.

पढ़ें: एलन मस्क, पराग अग्रवाल फर्जी यूजर अकाउंट को लेकर ट्विटर पर भिड़े

नियामकों का आरोप है कि ट्विटर ने 2011 के संघीय व्यापार आयोग (एफटीसी) आदेश का उल्लंघन करते हुए कहा कि यह उपयोगकर्ताओं की गैर-सार्वजनिक संपर्क जानकारी की गोपनीयता और सुरक्षा को अच्छी तरह बनाए रखता है. यह एक झूठ था और उपयोगकर्ताओं को धोखा देने जैसा था. मई 2013 से सितंबर 2019 तक, ट्विटर ने उपयोगकर्ताओं को बताया कि वह खाते की सुरक्षा के उद्देश्य से उनके फोन नंबर और ईमेल पते एकत्र कर रहा है. लेकिन ट्विटर ने उपयोगकर्ताओं की इन जानकारियों का इस्तेमाल टारगेटेड ऑनलाइन विज्ञापन भेजने में भी किया.

बुधवार को दायर एक संघीय मुकदमे में नियामकों ने यह भी आरोप लगाया कि ट्विटर ने झूठा दावा किया कि उसने अमेरिका, यूरोपीय संघ और स्विट्ज़रलैंड के साथ गोपनीयता समझौते किए हैं, जो कंपनियों को उपयोगकर्ता जानकारी को ऐसे तरीके से संसाधित करने से रोकते हैं. एफटीसी के 2011 के आदेश में ट्विटर की डेटा सुरक्षा में गंभीर चूक का आरोप लगाया गया था, जिसने हैकर्स को उपयोगकर्ता की गैर-सार्वजनिक जानकारी तक पहुंच दी थी.

Last Updated : May 26, 2022, 8:15 AM IST
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