पटना : कोरोना की दूसरी लहर में सोशल मीडिया (Social Media) एक बार फिर शक्तिशाली माध्यम के रूप में सामने आया है. जहां मददगार और जरूरतमंद अपने-अपने हिसाब से मदद मांगी और की है. कुछ ऐसा ही वाकया ट्विटर यूजर अनुपम प्रियदर्शी (Twitter User Anupam Priyadarshi) के ट्वीट के बाद सामने आया है.
अनुपम प्रियदर्शी पीएचडी के छात्र हैं. इनका विमानन कंपनी इंडिगो एयरलाइंस को किया गया ट्वीट जमकर वायरल हो रहा है. उन्होंने बिहार में अपने गांव का दौरा करने और ग्रामीणों को संक्रामक बीमारी के खिलाफ लड़ाई में मदद करने के लिए आवश्यक दवाएं और अन्य वस्तुओं की आपूर्ति करने का फैसला किया. जिसे दिल्ली से गांव तक ले जाने को लेकर उन्होंने इंडिगो एयरलाइन से ट्वीट कर बैग क्षमता में छूट देने के लिए मदद मांगी.
बैग क्षमता में मांगी थी छूट
22 वर्षीय अनुपम ने ट्विटर पर इंडिगो को टैग करते हुए पूछा, 'क्या वे उन्हें कुछ मदद दे सकते हैं. वह अपने गांव कोरोना किट लेकर जाना चाहते हैं. जिसका वजन 15 किलोग्राम से अधिक हो सकता है. क्या विमान कंपनी उनके इस नोबेल कॉज को देखते हुए बैग क्षमता की लिमिट में छूट दे सकती है'.
इंडिगो ने किया रिप्लाई
उनके इस ट्वीट का जबाव देते हुए विमानन कंपनी इंडिगो ने उन्हें लिखा कि, 'इंडिगो एयरलाइंस ने उन्हें सीधा मैसेज किया है'. साथ ही, कंपनी ने उन्हें छूट भी दी. इंडिगो के इस सकारात्मक पहल को देख कर कवि कुमार विश्वास ने भी इंडिगो का आभार जताया. उन्हें इस मसले पर लिखा, 'अगर जज्बा हो तो हर शै मदद करती है'.
कुमार विश्वास ने मुहैया कराए कोरोना किट
कुमार विश्वास के ट्वीट करने के बाद अनुपम प्रियदर्शी ने कुमार विश्वास को रीट्वीट कर लिखा, 'आदरणीय@DrKumarVishwasसर. परसों अपने घर बिहार जा रहा हूं. अपने साथ कोविड केयर किट ले जाने के लिए मैंने इंडिगो एयरलाइन्स से निःशुल्क अतिरिक्त भार ले जाने की अनुमति मांगी थी. जो उन्होंने सहर्ष प्रदान कर दी. अब बस आपसे किट मिल जाए तो मेरे गांव में भी कोविड केयर सेंटर शुरू हो जाएगा. जिसके बाद उन्हें कुमार विश्वास के कार्यालय से 60 कोरोना किट मुहैया कराई गई.
कौन है अनुपम प्रियदर्शी
बता दें कि, 22 वर्षीय प्रियदर्शी बिहार के महात्मा गांधी केंद्रीय विश्वविद्यालय, मोतिहारी में हिंदी में पीएचडी स्कॉलर हैं. उनके एक फेसबुक पोस्ट के अनुसार, उन्हें हाल ही में दिल्ली विश्वविद्यालय द्वारा पीएचडी उम्मीदवार के रूप में चुना गया था.