अलीपुरद्वार: पश्चिम बंगाल में डुआर्स के अलीपुरद्वार के राजाभातखावा जंगल में सोमवार सुबह ट्रेन की चपेट में आने से तीन हाथियों की मौत हो गई. जानकारी मिलने के बाद वन विभाग और रेलवे के वरिष्ठ अधिकारी मौके पर पहुंचे. जानकारी के अनुसार सोमवार की सुबह अलीपुरद्वार से सिलीगुड़ी जा रही पार्सल ट्रेन के सामने हाथियों का एक झुंड आ गया. तेज रफ्तार ट्रेन की चपेट में आने से शावक समेत तीन हाथियों की मौके पर ही मौत हो गई.
गौरतलब है कि 10 अगस्त को चपरामारी अभयारण्य में ट्रेन की चपेट में आने से एक गर्भवती हथिनी की मौत हो गई थी. ट्रेन की चपेट में आने से हथिनी का बच्चा पेट से बाहर आ गया. उस घटना के बाद अब एक बार फिर ट्रेन की चपेट में आने से तीन हाथियों की मौत से यहां के वन्यजीव प्रेमियों में दुख पहुंचा है. इलाकाई लोगों का कहना है कि काफी समय से ट्रेन की टक्कर से जंगली जानवरों की मौत को टाला जा रहा है.
अगस्त में हुए हादसे और उसके बाद डुआर्स रेलवे लाइन पर हाथियों की मौत ने एक बार फिर रेलवे की सुरक्षा पर सवाल खड़े कर दिए हैं. हाथियों की मौत की खबर मिलते ही बक्सा बाघ परियोजना के अधिकारी और अलीपुरद्वार डिवीजन के रेलवे अधिकारी घटनास्थल पर पहुंचे. हाथी की मौत कैसे हुई इसकी जांच की जा रही है. बक्सा वन्यजीव विभाग के अधिकारी टक्कर के वक्त ट्रेन की गति का पता लगाने की कोशिश कर रहे हैं.
अगस्त में, रेलवे ने ट्रेनों की चपेट में आने से हाथियों की मौत को रोकने के लिए आईडीएस (आईडीएस - इंट्रूज़न डिटेक्शन सिस्टम) तकनीक के लिए 77 करोड़ रुपये के आवंटन की घोषणा की. इतना ही नहीं रेलवे की ओर से ट्रेन चालकों को जागरूक करने के साथ ही यह भी बताया गया कि कड़ी निगरानी जारी रहेगी.