मुंबई : राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) की कार्यकारी अध्यक्ष सुप्रिया सुले (NCP working president Supriya Sule) ने तमिलनाडु में कैबिनेट मंत्री को बर्खास्त करने के राज्यपाल आरएन रवि (Tamil Nadu Governor R N Ravi) के फैसले को तानाशाही करार दिया है. सुले ने शुक्रवार को यहां पत्रकारों से कहा कि राज्यपाल ने ऐसा व्यवहार किया, मानो वह तमिलनाडु के नहीं, बल्कि भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के राज्यपाल हों. नौकरियों के बदले नकदी घोटाले में प्रवर्तन निदेशालय (ED) द्वारा मंत्री वी. सेंथिल बालाजी (Minister V Senthil Balaji) को गिरफ्तार किए जाने के कुछ दिनों के बाद राज्यपाल ने गुरुवार को उन्हें मंत्रिमंडल से बर्खास्त कर दिया.
हालांकि, बाद में राज्यपाल ने बर्खास्तगी आदेश को फिलहाल स्थगित रखने का फैसला किया और मुख्यमंत्री एम के स्टालिन को इसके बारे में सूचित किया. इस पूरे मामले को लेकर सुप्रिया सुले ने कहा, 'ये तानाशाही है. कहां है संविधान और लोकतंत्र? अगर ऐसी घटना तमिलनाडु में हो सकती है तो अन्य राज्यों में भी हो सकती है.' समान नागरिक संहिता (UCC) के मुद्दे के बारे में पूछे जाने पर उन्होंने कहा, 'इस पर अभी प्रतिक्रिया देना जल्दबाजी होगी. इसका मसौदा आने दीजिए, फिर हम जवाब देंगे.' प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने देश में यूसीसी को लागू करने पर जोर देते हुए मंगलवार को कहा था कि संवेदनशील मुद्दों पर मुसलमानों को भड़काया जा रहा है.
वहीं सूत्रों का कहना है कि द्रमुक राज्यपाल की कथित ज्यादतियों के लिए उन्हें घेरने और सही समय पर तथा जरूरत पड़ने पर भाजपा से राजनीतिक रूप से लड़ने के लिए कानूनी विकल्पों पर विचार कर सकती है. बालाजी की गिनती कोंगु क्षेत्र के प्रभावशाली नेताओं में होती है. कुछ साल पहले द्रमुक में शामिल होने से पहले वह ऑल इंडिया अन्ना द्रविड़ मुनेत्र कषगम (अन्नाद्रमुक) का हिस्सा थे.
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(पीटीआई-भाषा)