डिब्रूगढ़: खालिस्तान समर्थक अमृतपाल और अन्य कैदियों से मुलाकात करने के लिए पंजाब से 10 सदस्यीय टीम असम की डिब्रूगढ़ जेल पहुंची. टीम में अमृतपाल सिंह के पिता तरसेम सिंह भी हैं. पंजाब से आई टीम में शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी के दो सदस्य और परिवार के 8 सदस्य हैं. असम पुलिस ने डिब्रूगढ़ सेंट्रल जेल में सुरक्षा कड़ी कर दी है. पुलिस ने जेल के पास किसी भी यात्री वाहन को पार्क करने की अनुमति नहीं दी है.
23 को गिरफ्तार हुआ था अमृतपाल: बता दें, 23 अप्रैल रविवार को पंजाब पुलिस ने अमृतपाल सिंह को पंजाब के मोगा गांव से गिरफ्तार किया था. गिरफ्तारी से पहले अमृतपाल ने मोगा के रोडे गांव में स्थित गुरुद्वारा साहिब में संबोधित भी किया था. अमृतपाल सिंह को एनएसए के तहत गिरफ्तार किया गया था, जो 18 मार्च से फरार चल रहा था.
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक अमृतपाल सिंह दुबई से 29 सितंबर, 2022 को लौटा था. उसके बाद अमृतपाल 'वारिस पंजाब दे' संगठन का सदस्य बन गया था. 'वारिस पंजाब दे' का गठन पंजाबी अभिनेता दीप सिद्धू ने किया था, जिस पर 26 जनवरी, 2021 को लाल किले पर खलिस्तानी झंडा फहराने का आरोप लगा था. साल 2022 में एक सड़क दुर्घटना में दीप सिद्धू की मौत हो गई था. दीप सिद्धू की मौत के बाद अमृतपाल सिंह ने खुद को वारिस पंजाब दे का प्रमुख घोषित कर दिया था.
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इसी साल फरवरी में अमृतसर के एक पुलिस स्टेशन से एक अपराधी को छुड़ाने के लिए अमृतपाल अपने समर्थकों के साथ पहुंचा था. उनके दबाव में पुलिस को आरोपी लवप्रीत सिंह को छोड़ना पड़ा था. इस घटना ने पंजाब सरकार और केंद्रीय गृह मंत्रालय तक को हिला कर रख दिया था. उसके बाद अमृतपाल को 'खालिस्तान' समर्थक नेता के रूप में पहचान मिली थी.