नई दिल्ली : सुप्रीम कोर्ट ने आंध्र प्रदेश हाई कोर्ट को निर्देश दिया है कि अगले आदेश तक मार्गदर्शी के खिलाफ मामलों की सुनवाई न की जाए. शीर्ष कोर्ट ने कहा है कि जब तक सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई चल रही है, आंध्र प्रदेश हाईकोर्ट ट्रायल रोक दे. इस आशय के आदेश जारी कर दिए गए हैं. इस याचिका पर सुप्रीम कोर्ट ने एपी सरकार और सीआईडी को नोटिस जारी किया है. 2 फरवरी 2024 तक काउंटर दाखिल करने का आदेश दिया गया. अगली सुनवाई 2 फरवरी 2024 तक के लिए स्थगित कर दी गई.
सुप्रीम कोर्ट के न्यायमूर्ति अभय एस ओखा और न्यायमूर्ति पंकज मित्तल की पीठ ने शुक्रवार को मार्गदर्शी द्वारा दायर याचिका पर सुनवाई की, जिसमें मार्गदर्शी के खिलाफ दर्ज सभी मामलों को तेलंगाना उच्च न्यायालय में स्थानांतरित करने की मांग की गई है.
मार्गदर्शी की ओर से पेश हुए वरिष्ठ वकील सिद्धार्थ लूथरा ने अदालत के संज्ञान में लाया कि एक ही मुद्दे पर अलग-अलग मामले दर्ज किए गए हैं, जिनमें से कुछ की जांच तेलंगाना उच्च न्यायालय में की जा रही है, जबकि अन्य की जांच आंध्र प्रदेश उच्च न्यायालय में की जा रही है.
इस स्तर पर हस्तक्षेप करते हुए पीठ ने सवाल किया कि उच्च न्यायालय को कैसे हस्तक्षेप करना चाहिए, क्योंकि उसका कहना है कि अभी तक कोई निर्णय नहीं लिया गया है. आरोप पत्र दायर किया गया है. लूथरा ने बताया कि इसकी वजह हैदराबाद में हुई घटना की जांच अपराध के आरोप के तहत की जा रही है. अदालत के ध्यान में यह लाया गया कि सुप्रीम कोर्ट ने पहले तेलंगाना उच्च न्यायालय को एक मामले की जांच करने का आदेश दिया था. उन्होंने कहा, बाद में कई मामले दर्ज किए गए और जांच के लिए एपी उच्च न्यायालय में याचिकाएं दायर की गईं.
एपी हाई कोर्ट और तेलंगाना हाई कोर्ट में मार्गदर्शी पर जांच का विवरण सुप्रीम बेंच को सौंप दिया गया है. सुप्रीम कोर्ट ने सभी चीजों की जांच करने के बाद एपी सरकार और सीआईडी को नोटिस जारी किया. दो फरवरी तक काउंटर दाखिल करने का आदेश दिया. लूथरा ने अनुरोध किया कि तब तक आंध्र प्रदेश उच्च न्यायालय में मुकदमे पर रोक लगा दी जाए. सुप्रीम कोर्ट की पीठ इस पर सहमत हो गई. एपी उच्च न्यायालय को आदेश दिया है कि सुप्रीम कोर्ट के अगले आदेश तक मार्गादर्शी मामले में कोई जांच नहीं की जाएगी.