अयोध्याः धर्म नगरी अयोध्या में चल रहे भव्य राम मंदिर निर्माण कार्य की प्रगति समीक्षा के लिए प्रत्येक माह होने वाली ट्रस्ट की बैठक के दूसरे दिन बेहद अहम विषयों पर चर्चा हुई. बैठक में मौजूद ट्रस्ट के सदस्यों और भवन निर्माण समिति के अध्यक्ष निपेंद्र मिश्र ने तकनीकी विशेषज्ञों के साथ ही मंदिर निर्माण में लगे अन्य सहयोगियों से भी विचार विमर्श किया. राम मंदिर निर्माण की दिशा में अगला महीना बेहद अहम है. वहीं, अगर भूतल पर मंदिर निर्माण की प्रगति की बात करें तो 80 फीसदी से ऊपर निर्माण कार्य पूरा किया जा चुका है.
दिसंबर तक पूरा हो जाएगा भूतल का निर्माण कार्य
बता दें कि राम मंदिर के भूतल का निर्माण अंतिम चरण में पहुंच गया है. दिसंबर माह तक इसे पूरा करने का लक्ष्य है. निर्धारित समयावधि में मात्र छह माह शेष हैं, इसलिए कार्य में तेजी आई है. मंदिर निर्माण की दृष्टि से जून माह अत्यंत अहम है. इसी माह में मंदिर के फर्श पर मार्बल लगाने व जून मध्य से दरवाजे बनने शुरू हो जाएंगे. मंदिर की छत का 70 प्रतिशत कार्य पूरा हो गया है. शेष कार्य जून में ही पूरा करने का लक्ष्य है.
दरवाजे बनाने के लिए महाराष्ट्र से सागौन की लकड़ी और हैदराबाद से आए कारीगर
भूतल पर मंदिर निर्माण को अंतिम रूप देने के लिए अगले माह जून में 44 दरवाजे निर्मित होने हैं. इसके लिए महाराष्ट्र से सागौन की लकड़ी की पहली लाट लाई जा चुकी है. हैदराबाद से दस कारीगर पहुंच चुके हैं ये सभी दरवाजे मंदिर परिसर में ही निर्मित होंगे. छत तैयार होने के साथ ही मंदिर के फर्श पर सफेद मार्बल लगाने का काम भी शुरू होगा. मंदिर के भवन में बिजली की वायरिंग के साथ ही अंतिम चरण के कार्य संपन्न होंगे. ट्रस्ट की बैठक में इन्हीं कार्यों को गति देने पर चर्चा हो रही है.
अंतरिक्ष वैज्ञानिक रामलला के लालट पर पहुंचाएंगे सूर्य की किरणें
मंदिर परिसर में यात्री सुविधा केंद्र निर्मित किया जा रहा है. इसके लिए बिजली, शौचालय का स्ट्रक्चर तैयार किया जा रहा है. यात्री सुविधा केंद्र के बेसमेंट की छत ढाली जा चुकी है. छत निर्मित किए जाने के साथ-साथ गर्भगृह में रामलला के विग्रह तक सूर्य की किरणों को पहुंचाने के लिए स्पेस तैयार किया जा चुका है. इसे अंतरिक्ष वैज्ञानिकों की निगरानी में छत निर्मित करते समय तैयार किया गया. इसी में पाइप लगाई जानी है, जिसके जरिए सूर्य की किरणें गर्भगृह में निर्धारित लक्ष्य पर भेजी जाएंगी, जहां लगे लेंस के माध्यम से किरणों को रामलला के ललाट पर प्रक्षेपित किया जाएगा. इससे प्रत्येक वर्ष रामनवमी को दोपहर 12 बजे रामलला के ललाट पर पर सूर्य की किरणें पड़ेंगी.
भवन निर्माण समिति के अध्यक्ष नृपेंद्र मिश्र ने किया था निरीक्षण
राम मंदिर निर्माण समिति के अध्यक्ष नृपेंद्र मिश्र ने मंगलवार को निर्माण कार्यों का निरीक्षण किया. भूतल की छत के लिए पत्थर बिछाए जाने का भी काम देखा और गर्भगृह के स्तंभों पर मूर्तियां उकेरे जाने के काम का भी जायजा लिया. निरीक्षण के बाद उन्होंने मंदिर निर्माण की कार्यदायी संस्था एलएंडटी के कार्यालय में बैठक की. प्रगति रिपोर्ट देखने के बाद नृपेंद्र मिश्र ने नवंबर तक मंदिर के भूतल का काम पूरा करने का निर्देश दिया है. सोमवार शाम ट्रस्ट के कोषाध्यक्ष गोविंद देव गिरि ने ट्रस्ट के महासचिव चंपतराय व अन्य सदस्यों के साथ रामसेवकपुरम स्थित कार्यशाला का निरीक्षण किया था.
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