जयपुर : कांग्रेस पार्टी ने आज अपना 137वां स्थापना दिवस (Congress Foundation Day) मना रही है. प्रदेश कांग्रेस मुख्यालय में पहुंचे मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि देश को राहुल गांधी के हिंदू बनाम हिंदुत्व का मर्म समझने की जरूरत (CM ashok Gehlot on hindu and hindutva) है. गहलोत ने कहा कि राहुल गांधी ने जो बहस छेड़ी है वह बताती है कि जो देश में हिंदू है उसके महान संस्कार रीति और नीति हैं. लेकिन देश में आज ऐसे लोग राज कर रहे हैं जो हिंदुत्व के नाम पर कट्टरता फैला रहे हैं. वह नकली हिंदू हैं.
कांग्रेस मुक्त भारत की बात करने वाले एक दिन खुद हो जाएंगे मुक्त
मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने आज एक बार फिर भाजपा पर निशाना (CM ashok Gehlot targets bjp) साधते हुए कहा कि जो लोग कांग्रेस मुक्त भारत की बात कर रहे हैं, एक दिन देश उनसे ही मुक्त हो जाएगा. मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि कांग्रेस का त्याग और बलिदान का इतिहास देश के डीएनए में है. कांग्रेस मुक्त भारत (ashok Gehlot on congress free india) की बात करने वाले देश से मुक्त हो जाएंगे. गहलोत ने कहा कि कांग्रेस के तमाम नेताओं ने जेल में बंद रहकर देशवासियों को एकजुटता का संदेश दिया था. उसी के चलते अंग्रेजों को भारत छोड़कर जाना पड़ा, लेकिन आज दुख होता है कि संविधान की धज्जियां उड़ाई जा रही है और संवैधानिक संस्थाओं को नष्ट किया जा रहा है.
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संत कालीचरण पर साधा निशाना
मुख्यमंत्री गहलोत ने कहा कि हम साधु संतों का सम्मान करते हैं. भगवा वस्त्र का सम्मान करते हैं, लेकिन जिस तरह का माहौल देश में कुछ साधु संतों के द्वारा बनाया जा रहा है वह निंदनीय है. गहलोत ने महात्मा गांधी पर अशोभनीय टिप्पणी करने वाले संत कालीचरण को लेकर कहा (CM ashok Gehlot on kalicharan maharaj) कि धर्म संसद में महात्मा गांधी पर कुछ साधु-संतों की ओर से अशोभनीय टिप्पणी की गई है. इसकी जितनी निंदा की जाए उतनी कम है. मुख्यमंत्री गहलोत ने कहा कि आज देश में जो माहौल बनाया जा रहा है उसी के अनुसार कुछ साधु संत बयानबाजी कर रहे हैं.
गौरतलब है कि रविवार को रायपुर के रावणभाठा मैदान में आयोजित धर्म संसद के मंच से कालीचरण महाराज ने राष्ट्रपिता महात्मा गांधी को न केवल हिंदुस्तान के बंटवारे के लिए जिम्मेदार ठहराया था, बल्कि गांधी जी के खिलाफ अशोभनीय भाषा का इस्तेमाल (Objectionable remarks on Mahatma Gandhi) भी किया. इतना ही नहीं कालीचरण महाराज ने महात्मा गांधी की हत्या करने के लिए नाथूराम गोडसे को हाथ जोड़कर प्रणाम कर धन्यवाद भी दिया था. इस घटना के बाद धर्म संसद में काफी हंगामा मचा.