नई दिल्ली : राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने संविधान को अपनाने की 71वीं वर्षगांठ के अवसर पर भारत के सर्वोच्च न्यायालय द्वारा आयोजित संविधान दिवस समारोह का आज वर्चुअल उद्घाटन किया.
संविधान दिवस के अवसर पर राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने कहा कि हम सौभाग्यशाली हैं कि हमारे स्वतंत्रता संग्राम के महान दूरदर्शी नेताओं ने आधारभूत दस्तावेज तैयार किये. उन्होंने आगे कहा कि न केवल संविधान के केंद्र में लोकतंत्र है बल्कि संविधान सभा का भी लोकतांत्रिक तरीके से गठन किया गया था.
उन्होंने आगे कहा कि यह देखकर खुशी हो रही है कि कोविड-19 महामारी के बीच वीडियो कॉन्फ्रेंस और ऑनलाइन तरीके से याचिकाएं दाखिल करने की व्यवस्था का इस्तेमाल करते हुए सुचारू रूप से कामकाज हो रहा है. कोविंद ने कहा कि कोरोना वायरस महामारी के बावजूद सबको न्याय सुनिश्चित करने के लिए अपनी ड्यूटी निभाने वाले बार, बेंच और अधिकारियों की मैं सराहना करता हूं.
राष्ट्रपति ने कहा, मुझे खुशी है कि उच्चतर न्यायपालिका ने अधिक से अधिक क्षेत्रीय भाषाओं में अपना फैसला उपलब्ध कराने की शुरुआत की. उन्होंने कहा कि उच्चतम न्यायालय ने उच्च मानकों और ऊंचे आदर्शों के लिए काफी प्रतिष्ठा अर्जित की है. यह निश्चित रूप से अधिक से अधिक नागरिकों तक पहुंच रखने का सबसे अच्छा तरीका है. इस तरह न्यायपालिका की संस्था बड़े पैमाने पर नागरिकता के करीब ला रहा है.
केंद्रीय कानून, आईटी और संचार मंत्री रविशंकर प्रसाद ने महामारी के दौरान काम जारी रखने के लिए न्यायपालिका को बधाई दी.
मुख्य न्यायाधीश एस ए बोबडे ने कहा कि न्यायपालिका ने महामारी के दौरान कड़ी मेहनत की है. भारत के प्रत्येक नागरिक तक न्याय पहुंचे यह सुनिश्चित करना उसकी प्रतिबद्धता है.