पटना : बिहार के शिक्षा मंत्री चंद्रशेखर ने एक बार फिर से रामचरितमानस को लेकर विवादित बयान दिया है. उन्होंने हिंदी दिवस पर बिहार हिंदी ग्रंथ अकादमी के कार्यक्रम में कहा कि रामचरितमानस में पोटैशियम साइनाइड है, जबतक यह रहेगा तब तक इसका विरोध करते रहेंगे. मंत्री यहीं नहीं रुके, उन्होंने रामचरितमानस के अरण्य कांड की चौपाई दुहराते हुए उस पर सवाल उठाया.
ये भी पढ़ें : Ramcharit Manas Row पर बोले किशोर कुणाल- 'क्षुद्र' को बनाया 'शूद्र', तुलसीदास पर आरोप लगाना बेबुनियाद
अरण्य कांड की चौपाई पर उठाया सवाल : शिक्षा मंत्री चंद्रशेखर ने कहा है कि राम से हमें प्रेम है राम को हम मानते हैं लेकिन रामायण में जिस तरह से दोहे लिखे गए हैं और जिस तरह से उसका अर्थ बताया गया है, उसको हम कहीं भी मानने को तैयार नहीं हैं. हमने भी रामायण का अध्ययन किया है. उन्होंने फिर से अपनी इस बात को दोहराया है कि रामायण में जो कुछ लिखा हुआ है. इसका शाब्दिक अर्थ कुछ है और रामायण लिखने वाले कुछ अर्थ अलग से बता रहे हैं. कहीं ना कहीं समाज में जो पिछड़े हैं, दलित हैं, उनकी भावनाओं को नहीं देखा गया है.
" पूजहि विप्र सकल गुण हीना, शुद्र न पूजहु वेद प्रवीणा.. क्या इसमें जाति को लेकर गलत बात नहीं कही गई है? पिछली बार रामचरितमानस के सुंदर कांड के दोहे पर जीभ काटने की कीमत 10 करोड़ रुपये लगाई गई थी तो इस बार मेरे गले की कीमत क्या होगी"? - चंद्रशेखर, शिक्षा मंत्री, बिहार
बीजेपी ने शिक्षा मंत्री को बताया साइनाइड : शिक्षा मंत्री के इसी बयान पर भाजपा ने तीखी टिप्पणी की है. बीजेपी प्रवक्ता अरविंद सिंह ने कहा शिक्षा मंत्री खुद सामाजिक साइनाइड हैं. नौवीं पास राजद के नेता को तो रामचरितमानस के बारे में पता ही नहीं है. क्योंकि राजद के किसी नेता ने रामचरितमानस को पूरा नहीं पढ़ा है और इसलिए इस तरह का बयान दे रहे हैं. यह पूरी तरह से सियासी स्टंट है.
"शिक्षा मंत्री समाज में जहर फैलाने के लिए बेचैन हैं. आरजेडी बिहार के लिए साइनाइड है. चारों तरफ हत्या, अपराध, जातीय उन्माद और धार्मिक उन्माद फैलाने वाली आरजेडी सामाजिक साइनाइड है. शिक्षा मंत्री शिक्षा के लिए तो साइनाइड हैं हीं. इसलिए रामचरितमानस को लेकर बेतुका बयान देते हैं".- अरविंद सिंह, प्रवक्ता, भाजपा
जेडीयू ने भी दी कड़ी प्रतिक्रिया : वहीं जेडीयू प्रवक्ता अभिषेक झा ने कहा रामचरित मानस हो, गुरु ग्रंथ साहिब हो, बाइबल हो कुराने शरीफ हो सभी आस्था का विषय है.हमारा देश बाबा साहब के बनाये संविधान से चलता है. सभी जाति और धर्म को सम्मान मिला हुआ है.
"कोई भी व्यक्ति अपनी आस्था के अनुसार धर्म मान सकता है, लेकिन किसी को धर्म ग्रंथ के अंदर पोटेशियम साइनाइड दिखता है तो अपनी विचारधारा अपने पास ही रखें. यह पार्टी और इंडिया गठबंधन की विचारधारा नहीं हो सकती है. कुछ लोग मीडिया में जगह बनाने के लिए इस तरह की विचारधारा को थोपने की कोशिश करते हैं जो कहीं से भी सही नहीं है".- अभिषेक झा, प्रवक्ता, जदयू