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उत्तराखंड में बरसे पीएम मोदी, बोले- पुराने ब्रेक वाली सरकार अब नहीं चाहिए

उत्तराखंड में विजय संकल्प सभा (Vijay Sankalp Sabha in Uttarakhand) को संबोधित करते हुए पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा कि मैं देख रहा हूं कि मतदाता कभी अच्छे कामों, अच्छे इरादों को भूलते नहीं हैं और कभी भी नेक नियत वालों का साथ छोड़ते नहीं हैं. इस चुनाव को भाजपा से ज्यादा जनता-जर्नादन लड़ रही है.

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Published : Feb 11, 2022, 2:01 PM IST

Updated : Feb 11, 2022, 3:25 PM IST

PM Modi public rally in Almora Uttarakhand
कांग्रेस की नीति है सबमें डालो फूट मिलकर करो लूट पीएम मोदी

अल्मोड़ा: बीजेपी की ओर से कुमाऊं को साधने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अल्मोड़ा पहुंचे. यहां पहुंचकर पीएम ने सबसे पहले अपने चिर-परिचित अंदाज में कुमाऊं के कुलदेवता गोल्ज्यू महाराज, भगवान बागनाथ और मां नंदा के अभिवादन से संबोधन की शुरुआत की, फिर विपक्ष पर ताबड़तोड़ हमले शुरू किए. उन्होंने कहा कि कांग्रेस को उत्तराखंड के कितना लगाव है ये इसी बात से पता चलता है कि उनकी ओर से कोई यहां वोट मांगने तक नहीं आ रहा. केवल एक परिवार के भाई-बहन यहां वोट मांगते नजर आ रहे हैं क्योंकि ये लोग प्रदेश या देश की नहीं केवल परिवार की सोचते हैं. गौर हो कि इससे पहले प्रधानमंत्री मोदी साल 2014 में गुजरात के मुख्यमंत्री रहने के दौरान अल्मोड़ा में जनसभा कर चुके हैं.

पलायन रोकने पर रहा पीएम का जोर : पीएम ने अपने भाषण में सबसे ज्यादा पलायन के मुद्दे पर जोर दिया. उन्होंने कहा कि, पिछली सरकारों में, यहां तक कि उत्तर प्रदेश का हिस्सा होने के समय से पलायन उत्तराखंड का एक मुख्य मुद्दा रहा है, लेकिन ये वर्तमान चुनाव पलायन को पलटने वाला और पर्यटन को बढ़ाने वाला चुनाव है.

बीजेपी के कमल और उत्तराखंड के ब्रह्मकमल का नाता : पीएम ने कहा कि, प्रदेश की जनता को तय करना है कि इस चुनाव में पर्यटन को बढ़ावा देने वाले लोग चाहिए या पलायन को बढ़ावा देने वाले लोग. पीएम ने कहा कि, बीजेपी पर्यटन, प्रगति, प्रकृति और रोजगार के लिए काम करने वाली सरकार है. पीएम ने कहा कि, अब यहां से जाएंगे नहीं बल्कि लोगों को यहां बुलाएंगे और यहां की प्रकृति के दर्शन कराएंगे. बीजेपी के कमल और उत्तराखंड के ब्रह्मकमल का अटूट नाता है और इसलिए डबल इंजन की सरकार गरीब का दर्द समझती है. उसकी दिक्कतों को दूर करने के लिए दिन रात काम कर रही है.

संकल्प सभा को संबोधित करते हुए पीएम नरेंद्र मोदी

100 फीसदी वैक्सीनेशन टोका-टाकी करने वालों के मुंह पर तमाचा : वहीं, उत्तराखंड में शत-प्रतिशत कोविड वैक्सीनेशन को बड़ी उपलब्धि बताते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि, उत्तराखंड उन राज्यों में शामिल हुआ जिसने शत-प्रतिशत वैक्सीनेशन डोज का रिकॉर्ड बनाया जो टीके पर टोका-टोकी करने वाले लोगों के मुंह पर तमाचा है. पीएम ने कांग्रेस पर तंज कसते हुए कहा कि, जब हम लोग उत्तराखंड के दूरदराज पहाड़ों पर रहने वाले लोगों की जिंदगी बचाने के लिए दिन-रात एक कर रहे थे तो निराशावादी लोग कहते थे कि पहाड़ों पर एक गांव तक वैक्सीन नहीं पहुंच सकती, क्योंकि उन्होंने कभी इतना बड़ा काम किया ही नहीं है, वो लोग ये सब सोच ही नहीं सकते थे.

पहले वैक्सीन लगाने में 40 साल लगते थे : PM मोदी ने कहा कि बीजेपी सरकार ने हर एक गरीब तक वैक्सीन पहुंचाई चाहे उनके सामने बर्फबारी हो, नदी-नाले हों, प्राकृतिक आपदाएं आई हों, सब संकट पार करके हमारे हेल्थ वर्करों ने गांव-गांव तक वैक्सीन पहुंचाई और ज्यादा से ज्यादा लोगों का जीवन बचाने का लक्ष्य को लेकर काम किया गया. उन्होंने उत्तराखंड के लोगों की जान बचाने के लिए अपने जीवन की परवाह नहीं की. पहले हमारे देश में एक वैक्सीन को लगाते-लगाते 40 साल लग जाते थे. कोरोना संकट के समय में हमारी सरकार ने प्रधानमंत्री गरीब कल्याण योजना के जरिए मुफ्त राशन की जिम्मेदारी भी निभाई है.

टनकपुर-बागेश्वर रेल लाइन पर दिया भरोसा : प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि यही लोग कहते थे कि पहाड़ों पर सड़कें बनाना आसान नहीं है इसलिए यहां ऐसे ही चलना पड़ता है. लेकिन आज उत्तराखंड में चारों धामों को जोड़ने के लिए ऑल वेदर रोड का काम चल रहा है. जहां सड़कें बनाने को लोग मुश्किल बताते थे, वहां आज पहाड़ों पर भी रेल पहुंच रही है. ऋषिकेश-कर्णप्रयाग रेल परियोजना का काम तो चल ही रहा है, साथ ही टनकपुर-बागेश्वर रेल लाइन का सपना भी आने वाले समय में जरूर साकार होगा. इस परियोजना के बारे में सबसे पहले अंग्रेजों के समय में सोचा गया था जब देश गुलाम था. लेकिन अंग्रेजों ने भी केवल बातें की और कांग्रेस वालों ने भी केवल बातें की. हमने तय किया है इन सपनों को हम साकार कर के रहेंगे.

पर्वतमाला योजना से होगा लाभ : बीजेपी सरकार कुमाऊं क्षेत्र के लिए महत्वपूर्ण रेल योजना पर काम कर रही है. इसी तरह दिल्ली आने जाने के लिए भी एक्सप्रेसवे बनने जा रहा है. इससे यात्रा का समय भी घटेगा और उत्तराखंड का विकास भी तेजी पकड़ेगा. डबल इंजन की सरकार के लिए उत्तराखंड का विकास सर्वोच्च प्राथमिकता में से एक है. इस बार के बजट में केंद्र सरकार ने उत्तराखंड को विशेष ध्यान में रखते हुए पर्वतमाला योजना बनाई है. हिंदुस्तान में पहली बार इस तरह की योजना बनाई गई है. इस योजना के तहत पहाड़ों पर आधुनिक कनेक्टिविटी और इंफ्रास्ट्रक्चर का विस्तार किया जाएगा. आधुनिक सड़कें बनाई जाएंगी और आने जाने के लिए रोप-वे भी बनाए जाएंगे. इसका लाभ उत्तराखंड के स्थानीय लोगों को तो होगा ही साथ ही इससे देश की सुरक्षा में डटे सैनिकों के लिए भी सुविधा बढ़ेगी और सीमा से सटे गांवों के विकास हो सकेगा.

कटारमल सूर्य मंदिर को मिलेगी पहचान : पीएम ने कहा कि, वैसे तो कुमाऊं को मंदिरों का स्थान कहते हैं, यहां की खूबसूरत प्राकृतिक आभा किसी दैवीय आशीर्वाद से कम नहीं है. उन्होंने अपने संबोधन में खासकर अल्मोड़ा के कटारमल सूर्य मंदिर का जिक्र किया. पीएम ने कहा कि, इतने सालों में अगर कटारमल सूर्य मंदिर पर ध्यान दिया गया होता तो ये मंदिर ओड़ीशा के कोणार्क सूर्य मंदिर की तरह विश्व प्रसिद्ध होता. यहां भी देश-विदेश से पर्यटक आते. अब उन्होंने कटारमल सूर्य मंदिर को उसकी पहचान देने का संकल्प लिया है. स्वदेश दर्शन योजना के तहत बीजेपी सरकार कटारमल में काफी कार्य कर चुकी है और 10 मार्च के बाद सरकार बनने पर उन कार्यों का और विस्तार किया जाएगा. गांवों-गांवों तक विकास पहुंचे इसके लिए ही राज्य सरकार होमस्टे योजना को भी बढ़ावा दे रही है.

अब पहाड़ का पानी और जवानी पहाड़ के काम आएंगे : पहाड़ का पानी और जवानी पहाड़ के काम आएं इसके लिए हमने विशेष अभियान चलाया है. बॉर्डर के स्कूलों के लिए एनसीसी को शुरू करने का फैसला किया गया है. इसके लिए नौजवानों की स्पेशल ट्रेनिंग होगी जो उनके कैरियर के लिए काम आएगी. हमारे देश में बहुत कम संख्या में सैनिक स्कूल हैं. हमारे पढ़े-लिखे नौजवानों को तैयार करने से अब नए सैनिक स्कूल बनाने का फैसला किया गया है. इन सब कामों के कारण सीमांत गांवों से होने वाले पलायन को रोका जाएगा. गांवों को वाइब्रेंट बनाने में मदद मिलेगी.

कांग्रेस ने पैदा किए पलायन के हालात : पीएम ने कहा कि, उनकी सरकार पर्यटन, प्रगति और प्रकृति के लिए काम करती है और दूसरी ओर पुरानी मानसिकता है जिसमें दशकों तक उत्तराखंड में पलायन के हालात पैदा किए गए. यहां पर्यावरण को नुकसान पहुंचता रहा और वो लोग पहाड़ों के संसाधनों का दोहन करते रहे. यहां गरीबों के पास रहने के लिए घर नहीं था. इलाज की सुविधा नहीं थी, लेकिन कांग्रेस के लोगों को इसकी चिंता नहीं होती थी. उन्हें चिंता थी तो केवल दिल्ली दरबार की, वो सोचते थे काली कमाई होती रहे और दरबार में पहुंचती रहे और दरबार की कृपा आती रहे. उनके कारण गरीब यहां पहाड़ों में अपना सब छोड़कर शहर में दो जून की रोटी के लिए झुग्गी-झोपड़ी में रहने को मजबूर हो गये.

हर घर नल : पीएम ने कहा कि, वो पहले यहां जब भी आते थे तो देखते थे कि माताओं-बहनों को सिर पर 'बंठों' में कितनी कितनी दूर पानी लाने जाना होता था. साथ में छोटे बच्चे भी डब्बे या छोटे से कुप्पे में पानी ढोते थे. लेकिन कांग्रेस के लोगों को इसकी चिंता नहीं होती थी. प्रधानमंत्री ने भरोसा दिया कि अब हमारी किसी भी मां-बहन को पानी के लिए भटकना नहीं पड़ेगा, अब जल्द से जल्द उत्तराखंड के घरों को नल से जल योजना से जोड़ दिया जाएगा.

80 लाख नए पक्के मकान : वहीं, इस वर्ष केंद्र सरकार ने गरीबों के लिए देश भर में 80 लाख नए पक्के घर बनाने का तय किया है. उत्तराखंड में जिन गरीबों को पक्के घर मिलने से रह गए हैं, उन्हें हमारी सरकार खोज-खोज कर पक्के घर देने का काम करेगी.

पुरानी ब्रेक वाली सरकार अब नहीं : PM ने कहा कि, पुरानी ब्रेक वाली सरकार को वापस नहीं आने देना है क्योंकि अगर वो आ गए तो समझ लेना उत्तराखंड में ब्रेक लग गया. उत्तराखंड ही नहीं, पूरे देश में कांग्रेस की नीति रही है- सबमें डालो फूट, मिलकर करो लूट. ये लोग ‘उत्तराखंडियत’ की बात करने वाले लोग नहीं, ये खंड-खंड करने वाले, तोड़ने वाले लोग हैं. अब तो देवभूमि में यूनिवर्सिटी के नाम पर भी तुष्टीकरण का जहर घोलने की बातें सुनाई दे रही हैं. हमें इस विभाजनकारी सोच से देवभूमि की पवित्रता को नष्ट नहीं होने देना है.

यह भी पढ़ें- स्वामी की मोदी सरकार से मांग, राष्ट्रीय सुरक्षा के मुद्दे पर संसद में लाएं श्वेत पत्र

हमेशा गढ़वाल-कुमाऊं में लड़ाई की कोशिश : उन्होंने कहा कि विरोधियों ने हमेशा कुमाऊं और गढ़वाल की लड़ाई कराने की कोशिश की, ताकि ये दोनों जगह को लूट सकें. जबकि डबल इंजन की सरकार ने दोनों जगह के लिए डबल काम करने की कोशिश की है. उत्तराखंड के लोग ये बात जानते हैं कि, भाजपा सरकार ही इस दशक को उत्तराखंड का उज्ज्वल दशक बना सकती है.

मंच पर ये लोग रहे मौजूद : मंच पर पीएम मोदी के साथ मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी, भाजपा प्रदेश अध्यक्ष मदन कौशिक, केंद्रीय मंत्री प्रह्लाद जोशी, चुनाव सह प्रभारी लॉकेट चटर्जी, सांसद अजय टम्टा, प्रदेश महामंत्री सुरेश भट्ट, कार्यक्रम सह संयोजक केदार जोशी, जिलाध्यक्ष रवि रौतेला, विधायक रघुनाथ सिंह चौहान, महेश नेगी, रेखा आर्य, मोहन सिंह मेहरा, कैलाश शर्मा, महेश जीना, प्रमोद नैनवाल और अनिल शाही मौजूद रहे.

अल्मोड़ा: बीजेपी की ओर से कुमाऊं को साधने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अल्मोड़ा पहुंचे. यहां पहुंचकर पीएम ने सबसे पहले अपने चिर-परिचित अंदाज में कुमाऊं के कुलदेवता गोल्ज्यू महाराज, भगवान बागनाथ और मां नंदा के अभिवादन से संबोधन की शुरुआत की, फिर विपक्ष पर ताबड़तोड़ हमले शुरू किए. उन्होंने कहा कि कांग्रेस को उत्तराखंड के कितना लगाव है ये इसी बात से पता चलता है कि उनकी ओर से कोई यहां वोट मांगने तक नहीं आ रहा. केवल एक परिवार के भाई-बहन यहां वोट मांगते नजर आ रहे हैं क्योंकि ये लोग प्रदेश या देश की नहीं केवल परिवार की सोचते हैं. गौर हो कि इससे पहले प्रधानमंत्री मोदी साल 2014 में गुजरात के मुख्यमंत्री रहने के दौरान अल्मोड़ा में जनसभा कर चुके हैं.

पलायन रोकने पर रहा पीएम का जोर : पीएम ने अपने भाषण में सबसे ज्यादा पलायन के मुद्दे पर जोर दिया. उन्होंने कहा कि, पिछली सरकारों में, यहां तक कि उत्तर प्रदेश का हिस्सा होने के समय से पलायन उत्तराखंड का एक मुख्य मुद्दा रहा है, लेकिन ये वर्तमान चुनाव पलायन को पलटने वाला और पर्यटन को बढ़ाने वाला चुनाव है.

बीजेपी के कमल और उत्तराखंड के ब्रह्मकमल का नाता : पीएम ने कहा कि, प्रदेश की जनता को तय करना है कि इस चुनाव में पर्यटन को बढ़ावा देने वाले लोग चाहिए या पलायन को बढ़ावा देने वाले लोग. पीएम ने कहा कि, बीजेपी पर्यटन, प्रगति, प्रकृति और रोजगार के लिए काम करने वाली सरकार है. पीएम ने कहा कि, अब यहां से जाएंगे नहीं बल्कि लोगों को यहां बुलाएंगे और यहां की प्रकृति के दर्शन कराएंगे. बीजेपी के कमल और उत्तराखंड के ब्रह्मकमल का अटूट नाता है और इसलिए डबल इंजन की सरकार गरीब का दर्द समझती है. उसकी दिक्कतों को दूर करने के लिए दिन रात काम कर रही है.

संकल्प सभा को संबोधित करते हुए पीएम नरेंद्र मोदी

100 फीसदी वैक्सीनेशन टोका-टाकी करने वालों के मुंह पर तमाचा : वहीं, उत्तराखंड में शत-प्रतिशत कोविड वैक्सीनेशन को बड़ी उपलब्धि बताते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि, उत्तराखंड उन राज्यों में शामिल हुआ जिसने शत-प्रतिशत वैक्सीनेशन डोज का रिकॉर्ड बनाया जो टीके पर टोका-टोकी करने वाले लोगों के मुंह पर तमाचा है. पीएम ने कांग्रेस पर तंज कसते हुए कहा कि, जब हम लोग उत्तराखंड के दूरदराज पहाड़ों पर रहने वाले लोगों की जिंदगी बचाने के लिए दिन-रात एक कर रहे थे तो निराशावादी लोग कहते थे कि पहाड़ों पर एक गांव तक वैक्सीन नहीं पहुंच सकती, क्योंकि उन्होंने कभी इतना बड़ा काम किया ही नहीं है, वो लोग ये सब सोच ही नहीं सकते थे.

पहले वैक्सीन लगाने में 40 साल लगते थे : PM मोदी ने कहा कि बीजेपी सरकार ने हर एक गरीब तक वैक्सीन पहुंचाई चाहे उनके सामने बर्फबारी हो, नदी-नाले हों, प्राकृतिक आपदाएं आई हों, सब संकट पार करके हमारे हेल्थ वर्करों ने गांव-गांव तक वैक्सीन पहुंचाई और ज्यादा से ज्यादा लोगों का जीवन बचाने का लक्ष्य को लेकर काम किया गया. उन्होंने उत्तराखंड के लोगों की जान बचाने के लिए अपने जीवन की परवाह नहीं की. पहले हमारे देश में एक वैक्सीन को लगाते-लगाते 40 साल लग जाते थे. कोरोना संकट के समय में हमारी सरकार ने प्रधानमंत्री गरीब कल्याण योजना के जरिए मुफ्त राशन की जिम्मेदारी भी निभाई है.

टनकपुर-बागेश्वर रेल लाइन पर दिया भरोसा : प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि यही लोग कहते थे कि पहाड़ों पर सड़कें बनाना आसान नहीं है इसलिए यहां ऐसे ही चलना पड़ता है. लेकिन आज उत्तराखंड में चारों धामों को जोड़ने के लिए ऑल वेदर रोड का काम चल रहा है. जहां सड़कें बनाने को लोग मुश्किल बताते थे, वहां आज पहाड़ों पर भी रेल पहुंच रही है. ऋषिकेश-कर्णप्रयाग रेल परियोजना का काम तो चल ही रहा है, साथ ही टनकपुर-बागेश्वर रेल लाइन का सपना भी आने वाले समय में जरूर साकार होगा. इस परियोजना के बारे में सबसे पहले अंग्रेजों के समय में सोचा गया था जब देश गुलाम था. लेकिन अंग्रेजों ने भी केवल बातें की और कांग्रेस वालों ने भी केवल बातें की. हमने तय किया है इन सपनों को हम साकार कर के रहेंगे.

पर्वतमाला योजना से होगा लाभ : बीजेपी सरकार कुमाऊं क्षेत्र के लिए महत्वपूर्ण रेल योजना पर काम कर रही है. इसी तरह दिल्ली आने जाने के लिए भी एक्सप्रेसवे बनने जा रहा है. इससे यात्रा का समय भी घटेगा और उत्तराखंड का विकास भी तेजी पकड़ेगा. डबल इंजन की सरकार के लिए उत्तराखंड का विकास सर्वोच्च प्राथमिकता में से एक है. इस बार के बजट में केंद्र सरकार ने उत्तराखंड को विशेष ध्यान में रखते हुए पर्वतमाला योजना बनाई है. हिंदुस्तान में पहली बार इस तरह की योजना बनाई गई है. इस योजना के तहत पहाड़ों पर आधुनिक कनेक्टिविटी और इंफ्रास्ट्रक्चर का विस्तार किया जाएगा. आधुनिक सड़कें बनाई जाएंगी और आने जाने के लिए रोप-वे भी बनाए जाएंगे. इसका लाभ उत्तराखंड के स्थानीय लोगों को तो होगा ही साथ ही इससे देश की सुरक्षा में डटे सैनिकों के लिए भी सुविधा बढ़ेगी और सीमा से सटे गांवों के विकास हो सकेगा.

कटारमल सूर्य मंदिर को मिलेगी पहचान : पीएम ने कहा कि, वैसे तो कुमाऊं को मंदिरों का स्थान कहते हैं, यहां की खूबसूरत प्राकृतिक आभा किसी दैवीय आशीर्वाद से कम नहीं है. उन्होंने अपने संबोधन में खासकर अल्मोड़ा के कटारमल सूर्य मंदिर का जिक्र किया. पीएम ने कहा कि, इतने सालों में अगर कटारमल सूर्य मंदिर पर ध्यान दिया गया होता तो ये मंदिर ओड़ीशा के कोणार्क सूर्य मंदिर की तरह विश्व प्रसिद्ध होता. यहां भी देश-विदेश से पर्यटक आते. अब उन्होंने कटारमल सूर्य मंदिर को उसकी पहचान देने का संकल्प लिया है. स्वदेश दर्शन योजना के तहत बीजेपी सरकार कटारमल में काफी कार्य कर चुकी है और 10 मार्च के बाद सरकार बनने पर उन कार्यों का और विस्तार किया जाएगा. गांवों-गांवों तक विकास पहुंचे इसके लिए ही राज्य सरकार होमस्टे योजना को भी बढ़ावा दे रही है.

अब पहाड़ का पानी और जवानी पहाड़ के काम आएंगे : पहाड़ का पानी और जवानी पहाड़ के काम आएं इसके लिए हमने विशेष अभियान चलाया है. बॉर्डर के स्कूलों के लिए एनसीसी को शुरू करने का फैसला किया गया है. इसके लिए नौजवानों की स्पेशल ट्रेनिंग होगी जो उनके कैरियर के लिए काम आएगी. हमारे देश में बहुत कम संख्या में सैनिक स्कूल हैं. हमारे पढ़े-लिखे नौजवानों को तैयार करने से अब नए सैनिक स्कूल बनाने का फैसला किया गया है. इन सब कामों के कारण सीमांत गांवों से होने वाले पलायन को रोका जाएगा. गांवों को वाइब्रेंट बनाने में मदद मिलेगी.

कांग्रेस ने पैदा किए पलायन के हालात : पीएम ने कहा कि, उनकी सरकार पर्यटन, प्रगति और प्रकृति के लिए काम करती है और दूसरी ओर पुरानी मानसिकता है जिसमें दशकों तक उत्तराखंड में पलायन के हालात पैदा किए गए. यहां पर्यावरण को नुकसान पहुंचता रहा और वो लोग पहाड़ों के संसाधनों का दोहन करते रहे. यहां गरीबों के पास रहने के लिए घर नहीं था. इलाज की सुविधा नहीं थी, लेकिन कांग्रेस के लोगों को इसकी चिंता नहीं होती थी. उन्हें चिंता थी तो केवल दिल्ली दरबार की, वो सोचते थे काली कमाई होती रहे और दरबार में पहुंचती रहे और दरबार की कृपा आती रहे. उनके कारण गरीब यहां पहाड़ों में अपना सब छोड़कर शहर में दो जून की रोटी के लिए झुग्गी-झोपड़ी में रहने को मजबूर हो गये.

हर घर नल : पीएम ने कहा कि, वो पहले यहां जब भी आते थे तो देखते थे कि माताओं-बहनों को सिर पर 'बंठों' में कितनी कितनी दूर पानी लाने जाना होता था. साथ में छोटे बच्चे भी डब्बे या छोटे से कुप्पे में पानी ढोते थे. लेकिन कांग्रेस के लोगों को इसकी चिंता नहीं होती थी. प्रधानमंत्री ने भरोसा दिया कि अब हमारी किसी भी मां-बहन को पानी के लिए भटकना नहीं पड़ेगा, अब जल्द से जल्द उत्तराखंड के घरों को नल से जल योजना से जोड़ दिया जाएगा.

80 लाख नए पक्के मकान : वहीं, इस वर्ष केंद्र सरकार ने गरीबों के लिए देश भर में 80 लाख नए पक्के घर बनाने का तय किया है. उत्तराखंड में जिन गरीबों को पक्के घर मिलने से रह गए हैं, उन्हें हमारी सरकार खोज-खोज कर पक्के घर देने का काम करेगी.

पुरानी ब्रेक वाली सरकार अब नहीं : PM ने कहा कि, पुरानी ब्रेक वाली सरकार को वापस नहीं आने देना है क्योंकि अगर वो आ गए तो समझ लेना उत्तराखंड में ब्रेक लग गया. उत्तराखंड ही नहीं, पूरे देश में कांग्रेस की नीति रही है- सबमें डालो फूट, मिलकर करो लूट. ये लोग ‘उत्तराखंडियत’ की बात करने वाले लोग नहीं, ये खंड-खंड करने वाले, तोड़ने वाले लोग हैं. अब तो देवभूमि में यूनिवर्सिटी के नाम पर भी तुष्टीकरण का जहर घोलने की बातें सुनाई दे रही हैं. हमें इस विभाजनकारी सोच से देवभूमि की पवित्रता को नष्ट नहीं होने देना है.

यह भी पढ़ें- स्वामी की मोदी सरकार से मांग, राष्ट्रीय सुरक्षा के मुद्दे पर संसद में लाएं श्वेत पत्र

हमेशा गढ़वाल-कुमाऊं में लड़ाई की कोशिश : उन्होंने कहा कि विरोधियों ने हमेशा कुमाऊं और गढ़वाल की लड़ाई कराने की कोशिश की, ताकि ये दोनों जगह को लूट सकें. जबकि डबल इंजन की सरकार ने दोनों जगह के लिए डबल काम करने की कोशिश की है. उत्तराखंड के लोग ये बात जानते हैं कि, भाजपा सरकार ही इस दशक को उत्तराखंड का उज्ज्वल दशक बना सकती है.

मंच पर ये लोग रहे मौजूद : मंच पर पीएम मोदी के साथ मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी, भाजपा प्रदेश अध्यक्ष मदन कौशिक, केंद्रीय मंत्री प्रह्लाद जोशी, चुनाव सह प्रभारी लॉकेट चटर्जी, सांसद अजय टम्टा, प्रदेश महामंत्री सुरेश भट्ट, कार्यक्रम सह संयोजक केदार जोशी, जिलाध्यक्ष रवि रौतेला, विधायक रघुनाथ सिंह चौहान, महेश नेगी, रेखा आर्य, मोहन सिंह मेहरा, कैलाश शर्मा, महेश जीना, प्रमोद नैनवाल और अनिल शाही मौजूद रहे.

Last Updated : Feb 11, 2022, 3:25 PM IST
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