एकादशी के दिन न करें ये काम : पद्मिनी एकादशी के दिन तामसिक भोजन भोजन का त्याग करना चाहिए इस दिन बिना लहसुन प्याज का भोजन करना चाहिए. पद्मिनी एकादशी के दिन चावल का भी सेवन नहीं करना चाहिए. आज के दिन नशे का सेवन नहीं करना चाहिए. शराब गुटखा तंबाकू आदि से दूर रहना चाहिए. पद्मिनी एकादशी के दिन, मावस्या चतुर्दशी,संक्रांति और अन्य व्रत-त्यौहार के दिन शारीरिक संबंध नहीं बनाना चाहिए ऐसा करना पाप है. एकादशी के दिन अपशब्दों का प्रयोग ना करें और झूठ छल कपट और प्रपंच से दूर रहना चाहिए. Adhik maas Ekadashi . Padmini Ekadashi .
पद्मिनी व परम एकादशी : हिंदू धर्म में एकादशी व्रत का बहुत ही महत्व है. ऐसा माना जाता है कि एकादशी का व्रत रखने से भगवान विष्णु का आशीर्वाद प्राप्त होता है और तन-मन-धन के सभी कष्ट दूर हो जाते हैं. यूं तो एकादशी प्रत्येक महीने दो बार रखा जाता है जिस कारण 1 वर्ष में 24 एकादशी के व्रत रखे जाते हैं लेकिन जब अधिक मास होता है तो एकादशी तिथियों की संख्या 26 हो जाती है. इस वर्ष अधिक मास के कारण सावन 2 महीने का होगा अर्थात सावन महीने में कुल चार एकादशी तिथियां होंगी, चार बार एकादशी के व्रत रखे जाएंगे. अधिक मास श्रावण शुक्ल पक्ष की एकादशी तिथि को पद्मिनी एकादशी (29 जुलाई 2023) , कृष्ण पक्ष की एकादशी तिथि को परम एकादशी (12 अगस्त 2023) कहा जाता है.
अधिक मास की एकादशी होने से पद्मिनी एकादशी व Param ekadashi का महत्व अधिक बढ़ जाता है. पद्मिनी एकादशी को कमला एकादशी ( Kamala Ekadashi ) के नाम से भी जाना जाता है. Padmini Ekadashi का व्रत रखने से व्यक्ति को भगवान विष्णु का आशीर्वादऔर पितरों को मोक्ष की प्राप्ति होती है. पद्मिनी एकादशी का व्रत रखने,भगवान विष्णु, माता लक्ष्मी की पूजा करने से घर में सुख समृद्धि आती है, मान-सम्मान, धन-धान्य की प्राप्ति होती है और संतान सुख का आशीर्वाद मिलता है.
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- एकादशी प्रारंभ: 11 अगस्त 2023 शुक्रवार सुबह 05:06 बजे.
- एकादशी समाप्त: 12 अगस्त 2023 शनिवार सुबह 06:31 बजे.
- परम एकादशी का व्रत 12 अगस्त 2023 को है.
पद्मिनी व परम एकादशी की पूजा ऐसे करें : पद्मिनी व परम एकादशी के दिन प्रातः जल्दी उठकर स्नान करना चाहिए.साफ कपड़े पहनकर व्रत का संकल्प लेना चाहिए.इसके बाद घर में पूजा करें,भगवान विष्णु का जलाभिषेक करें. गोपाल सहस्रनाम, ॐ नमो भगवते वासुदेवाय,विष्णु सहस्रनाम,ॐ नमो नारायणाय आदि का जाप करें और उसके बाद आरती करना चाहिए.आइए जानते हैं पद्मिनी एकादशी का शुभ मुहूर्त ...