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NEET-PG Counseling Delay: 3 अस्पतालों के रेजीडेंट डॉक्टरों ने की हड़ताल

राम मनोहर लोहिया हॉस्पिटल में रेजीडेंट डॉक्टर्स एसोसिएशन ने प्रशासन को आगाह किया है कि अगर NEET-PG काउंसलिंग को तत्काल पूरा करने के लिए कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया तो उसके सदस्य आपात सेवाओं का बहिष्कार करेंगे.

Resident doctors strike (file photo)
रेजीडेंट डॉक्टरों की हड़ताल (फाइल फोटो)
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Published : Dec 3, 2021, 2:19 PM IST

नई दिल्ली : NEET-PG 2021 की काउंसलिंग में देरी को लेकर फेडरेशन ऑफ रेजीडेंट डॉक्टर्स एसोसिएशन (फोरडा) के प्रदर्शन को तेज करते हुए दिल्ली के सरकारी आरएमएल, सफदरजंग और लेडी हार्डिंग अस्पतालों के रेजीडेंट डॉक्टरों ने शुक्रवार को सभी नियमित सेवाओं का बहिष्कार कर दिया. राम मनोहर लोहिया हॉस्पिटल में रेजीडेंट डॉक्टर्स एसोसिएशन ने प्रशासन को आगाह किया है कि अगर NEET-PG काउंसलिंग को तत्काल पूरा करने के लिए कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया तो उसके सदस्य आपात सेवाओं का बहिष्कार करेंगे.

आरडीए ने कहा कि NEET-PG 2021 काउंसलिंग में देरी के लिए जिम्मेदार शासकीय निकाय की असंवेदनशील प्रतिक्रिया के कारण हम तीन दिसंबर से तब तक आरएमएल अस्पताल में सभी नियमित सेवाओं का बहिष्कार करने के लिए विवश हैं, जब तक हमारी वास्तविक मांगें पूरी नहीं की जाती है. उसने कहा कि अस्पताल में सभी आपात सेवाएं पहले की तरह चलेंगी. अगर पक्षकारों ने NEET-PG 2021 काउंसलिंग को तत्काल पूरा करने के लिए कोई ठोस कदम नहीं उठाया, तो हमें आपात सेवाओं को बंद करने का कठिन फैसला लेने पर मजबूर होना पड़ेगा और इसकी पूरी जिम्मेदारी प्रशासन पर होगी.

आरएमएल रेजीडेंट डॉक्टर्स एसोसिएशन ने कहा कि राष्ट्रीय और राज्य आरडीए के साथ मिलकर यह फैसला लिया गया है. उनसे मुलाकात करने के बाद कार्य योजना पर फैसला लिया जाएगा. आरडीए ने कहा कि कोविड की नई लहर आने की आशंका के मद्देनजर स्वास्थ्य देखभाल प्रणाली को ढहने से रोकने के लिए जल्द से जल्द काउंसेलिंग की प्रक्रिया शुरू करनी चाहिए. उसने कहा कि हम सभी पक्षकारों और प्रशासनिक प्राधिकारियों से यह सुनिश्चित करने का अनुरोध करते हैं कि नए चिकित्सकों की भर्ती की प्रक्रिया जल्द से जल्द पूरी हो.

पढ़ें : CCTV cameras in Delhi : केजरीवाल का दावा, हम लंदन-पेरिस से भी आगे, लगेंगे 1.40 लाख और कैमरे

राष्ट्रीय राजधानी में केंद्र सरकार के तीन अस्पतालों के रेजीडेंट डॉक्टरों ने काउंसेलिंग में देरी के खिलाफ प्रदर्शन के तौर पर 27 नवंबर से 29 नवंबर तक ओपीडी सेवाएं बंद करने का फैसला किया था.

सफदरजंग हॉस्पिटल आरडीए ने कहा कि मंत्रालय और संबंधित प्राधिकारियों को कई बार याद दिलाने के बावजूद NEET-PG 2021 की काउंसलिंग में बार-बार देरी हुई है. उसने कहा कि कोविड-19 की तीसरी लहर आने का खतरा है, हम यह दोहराना चाहते हैं कि हमारे पास कर्मियों की काफी कमी है क्योंकि अभी तक 2021 बैच के पीजी रेजीडेंट डॉक्टरों की भर्ती नहीं हुई है.

एसोसिएशन ने कहा कि रेजीडेंट डॉक्टर थक गए हैं, लेकिन फिर भी वे धैर्यपूर्वक इंतजार कर रहे हैं और मरीजों की देखभाल कर रहे हैं. उसने कहा कि ओपीडी सेवाएं निलंबित करने से प्राधिकारियों से कोई ठोस जवाब नहीं मिला तो हमें दुख के साथ यह सूचित करना पड़ रहा है कि हम फोरडा द्वारा बुलाए देशव्यापी प्रदर्शन के समर्थन में तीन दिसंबर से अपनी सभी नियमित सेवाओं को निलंबित करेंगे.

आरडीए ने कहा कि हम आपात सेवाओं को जारी रखेंगे. स्वास्थ्य देखभाल पर असर डालने वाली किसी भी दुर्भाग्यपूर्ण स्थिति की जिम्मेदारी संबंधित प्राधिकारियों पर होगी. लेडी हार्डिंग हॉस्पिटल के आरडीए ने भी अस्पताल के निदेशक को ऐसा ही चेतावनी भरा पत्र भेजते हुए शुक्रवार से सभी नियमित सेवाओं को वापस लेने की सूचना दी है.

(पीटीआई-भाषा)

नई दिल्ली : NEET-PG 2021 की काउंसलिंग में देरी को लेकर फेडरेशन ऑफ रेजीडेंट डॉक्टर्स एसोसिएशन (फोरडा) के प्रदर्शन को तेज करते हुए दिल्ली के सरकारी आरएमएल, सफदरजंग और लेडी हार्डिंग अस्पतालों के रेजीडेंट डॉक्टरों ने शुक्रवार को सभी नियमित सेवाओं का बहिष्कार कर दिया. राम मनोहर लोहिया हॉस्पिटल में रेजीडेंट डॉक्टर्स एसोसिएशन ने प्रशासन को आगाह किया है कि अगर NEET-PG काउंसलिंग को तत्काल पूरा करने के लिए कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया तो उसके सदस्य आपात सेवाओं का बहिष्कार करेंगे.

आरडीए ने कहा कि NEET-PG 2021 काउंसलिंग में देरी के लिए जिम्मेदार शासकीय निकाय की असंवेदनशील प्रतिक्रिया के कारण हम तीन दिसंबर से तब तक आरएमएल अस्पताल में सभी नियमित सेवाओं का बहिष्कार करने के लिए विवश हैं, जब तक हमारी वास्तविक मांगें पूरी नहीं की जाती है. उसने कहा कि अस्पताल में सभी आपात सेवाएं पहले की तरह चलेंगी. अगर पक्षकारों ने NEET-PG 2021 काउंसलिंग को तत्काल पूरा करने के लिए कोई ठोस कदम नहीं उठाया, तो हमें आपात सेवाओं को बंद करने का कठिन फैसला लेने पर मजबूर होना पड़ेगा और इसकी पूरी जिम्मेदारी प्रशासन पर होगी.

आरएमएल रेजीडेंट डॉक्टर्स एसोसिएशन ने कहा कि राष्ट्रीय और राज्य आरडीए के साथ मिलकर यह फैसला लिया गया है. उनसे मुलाकात करने के बाद कार्य योजना पर फैसला लिया जाएगा. आरडीए ने कहा कि कोविड की नई लहर आने की आशंका के मद्देनजर स्वास्थ्य देखभाल प्रणाली को ढहने से रोकने के लिए जल्द से जल्द काउंसेलिंग की प्रक्रिया शुरू करनी चाहिए. उसने कहा कि हम सभी पक्षकारों और प्रशासनिक प्राधिकारियों से यह सुनिश्चित करने का अनुरोध करते हैं कि नए चिकित्सकों की भर्ती की प्रक्रिया जल्द से जल्द पूरी हो.

पढ़ें : CCTV cameras in Delhi : केजरीवाल का दावा, हम लंदन-पेरिस से भी आगे, लगेंगे 1.40 लाख और कैमरे

राष्ट्रीय राजधानी में केंद्र सरकार के तीन अस्पतालों के रेजीडेंट डॉक्टरों ने काउंसेलिंग में देरी के खिलाफ प्रदर्शन के तौर पर 27 नवंबर से 29 नवंबर तक ओपीडी सेवाएं बंद करने का फैसला किया था.

सफदरजंग हॉस्पिटल आरडीए ने कहा कि मंत्रालय और संबंधित प्राधिकारियों को कई बार याद दिलाने के बावजूद NEET-PG 2021 की काउंसलिंग में बार-बार देरी हुई है. उसने कहा कि कोविड-19 की तीसरी लहर आने का खतरा है, हम यह दोहराना चाहते हैं कि हमारे पास कर्मियों की काफी कमी है क्योंकि अभी तक 2021 बैच के पीजी रेजीडेंट डॉक्टरों की भर्ती नहीं हुई है.

एसोसिएशन ने कहा कि रेजीडेंट डॉक्टर थक गए हैं, लेकिन फिर भी वे धैर्यपूर्वक इंतजार कर रहे हैं और मरीजों की देखभाल कर रहे हैं. उसने कहा कि ओपीडी सेवाएं निलंबित करने से प्राधिकारियों से कोई ठोस जवाब नहीं मिला तो हमें दुख के साथ यह सूचित करना पड़ रहा है कि हम फोरडा द्वारा बुलाए देशव्यापी प्रदर्शन के समर्थन में तीन दिसंबर से अपनी सभी नियमित सेवाओं को निलंबित करेंगे.

आरडीए ने कहा कि हम आपात सेवाओं को जारी रखेंगे. स्वास्थ्य देखभाल पर असर डालने वाली किसी भी दुर्भाग्यपूर्ण स्थिति की जिम्मेदारी संबंधित प्राधिकारियों पर होगी. लेडी हार्डिंग हॉस्पिटल के आरडीए ने भी अस्पताल के निदेशक को ऐसा ही चेतावनी भरा पत्र भेजते हुए शुक्रवार से सभी नियमित सेवाओं को वापस लेने की सूचना दी है.

(पीटीआई-भाषा)

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