पणजी/मुंबई : कांग्रेस ने रविवार को आरोप लगाया कि मुंबई में एक क्रूज जहाज पर स्वापक नियंत्रण ब्यूरो (एनसीबी) द्वारा की गई छापेमारी और उसके बाद कुछ लोगों के खिलाफ कार्रवाई गुजरात के मुंद्रा बंदरगाह पर मादक द्रव्यों की जब्ती के 'असली मुद्दे' से ध्यान हटाने का प्रयास है.
कांग्रेस ने बंदरगाह पर मादक द्रव्यों की बरामदगी मामले की उच्चतम न्यायालय की निगरानी में जांच कराए जाने की भी मांग की. पिछले महीने, राजस्व आसूचना निदेशालय (डीआरआई) ने गुजरात के कच्छ जिले में अडाणी संचालित मुंद्रा बंदरगाह पर दो कंटेनरों से 2,988.21 किलोग्राम हेरोइन जब्त की थी, जिसकी कीमत वैश्विक बाजार में 21,000 करोड़ रुपये होने की संभावना है. एनसीबी ने मुंबई से गोवा जाने वाले एक क्रूज जहाज पर छापा मारने और ड्रग्स बरामद करने के बाद रविवार को बॉलीवुड अभिनेता शाहरुख खान के बेटे आर्यन खान और सात अन्य को हिरासत में लिया.
कांग्रेस की प्रवक्ता शमा मोहम्मद ने संवाददाताओं से कहा, 'ऐसी खबर आई है कि बॉलीवुड अभिनेता के बेटे को गिरफ्तार कर लिया गया है. यह मादक द्रव्य कहां से आया? एनसीबी अचानक प्रकट हुआ है और कह रहा है कि उसने एक क्रूज जहाज से मादक पदार्थ बरामद किया है.'
मोहम्मद ने आरोप लगाया कि वे असली मुद्दे से ध्यान भटका रहे हैं. असली मुद्दा मुंद्रा बंदरगाह, देश में मादक द्रव्य गिरोह और अफगानिस्तान से तस्करी कर लाए जाने वाले मादक द्रव्य हैं. कांग्रेस प्रवक्ता ने सवाल किया, 'वे (एनसीबी) कुछ लोगों को इधर-उधर पकड़ते हैं ताकि मीडिया उस मामले को दिखाए और लोगों का ध्यान भटक जाए, लेकिन मैं चाहती हूं कि आप सभी मुंद्रा बंदरगाह के बारे में लिखें, इसकी जांच क्यों नहीं की जाती? इसकी जांच क्यों नहीं होती? वहां क्या हो रहा है? इसे क्यों नजरअंदाज किया जा रहा है?' मोहम्मद ने दावा किया कि अगर वहां (बंदरगाह) से मादक द्रव्य नहीं आता तो कोई पार्टी (क्रूज जहाज पर) नहीं होती.
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कांग्रेस की महाराष्ट्र इकाई ने क्रूज जहाज पर रेव पार्टी पर छापे का स्वागत किया, लेकिन संदेह व्यक्त किया कि क्या यह कार्रवाई मुंद्रा बंदरगाह पर ड्रग्स जब्ती को दबाने के लिए की गई. प्रदेश कांग्रेस के प्रवक्ता अतुल लोंढे ने कहा, 'यह अच्छा होगा अगर सरकार राज्य में मादक पदार्थों की तस्करी और उनके सेवन को बंद कर दे. हम इसका स्वागत करते हैं. लेकिन साथ ही, यह भी ध्यान दिया जाना चाहिए कि गुजरात के मुंद्रा बंदरगाह पर 21,000 करोड़ रुपये के नशीले पदार्थों की जब्ती पर कोई कार्रवाई या चर्चा नहीं हुई है. इसमें संदेह की गुंजाइश है कि क्या पिछले महीने की जब्ती से ध्यान हटाने के लिए इस तरह की छापेमारी की जा रही है?'
(भाषा)