कोलकाता: पश्चिम बंगाल की ममता सरकार ने 2015 में राज्य के विधानसभा परिसर में एक संग्रहालय (museum) स्थापित करने का फैसला लिया था जिसमें बहुमूल्य धरोहरों और दुर्लभ दस्तावेजों को प्रदर्शित किया जाना था. ममता सरकार ने इस संग्रहालय के निर्माण के लिए काम भी शुरु कर दिया था, लेकिन थल सेना की पूर्वी कमान की जमीन को लेकर कुछ आपत्तियों के कारण इस काम को बीच में ही रोक दिया गया. अब राज्य में ममता सरकार फिर से बनने और मतभेदों को दूर करने के बाद संग्रहालय का काम दोबारा शुरु हो गया है.
- साल के अंत तक शुरु हो सकता है म्यूजियम
पश्चिम बंगाल विधानसभा के परिसर में बनने वाले इस संग्रहालय का काम पूरा कर इसे साल के अंत तक शुरु करने के उद्देश्य से प्रशासन काम कर रहा है. संग्रहालय को विधानसभा कैंटीन के बगल में बनाया जा रहा है. इसके अलावा विधानसभा की लाइब्रेरी को भी संग्रहालय भवन से जोड़ा जाएगा. इस भवन में एक विशाल ऑडिटोरियम होगा जिसमें वर्षों पुराने अतीत की विभिन्न घटनाओं की साक्षी लेखों के मूल्यवान संग्रह को रखा जाएगा.
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विधानसभा परिसर में म्यूजियम बनाने का काम अब अंतिम चरणों में हैं. पश्चिम बंगाल विधानसभा के एक वरिष्ठ अधिकारी ने इसे लेकर कहा कि लोक निर्माण विभाग संग्रहालय के निर्माण कार्य को जल्द से जल्द पूरा करने के लिए काम कर रहा है. उन्होंने कहा कि भवन का बेसिक कंस्ट्रक्शन पूरा हो चुका है. इसके अंदर का काम और एसोसिएशन असाइनमेंट पूरा होने के बाद पीडब्ल्यूडी विभाग इसे विधानसभा अधिकारियों को सौंप देगा.
- विधानसभा लाइब्रेरी में 35,000 किताबों का विशाल संग्रह
उन्होंने आगे कहा कि विधानसभा की मौजूदा लाइब्रेरी में जगह की कमी है. यहां 35,000 किताबों का एक विशाल संग्रह है. इसके अलावा यहां कई महत्वपूर्ण दस्तावेज और पांडुलिपियां हैं. हालांकि, इन दस्तावेजों का डिजिटलीकरण का काम जारी है. संग्रहालय में एक नई डिजिटल लाइब्रेरी भी होगी.