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MP में हैजा के 3 मरीजों को रास्ते में छोड़कर भागे एंबुलेंस के कर्मचारी, 1 महिला की मौत, 2 गंभीर, शव वाहन भी नहीं हुआ नसीब

MP Poor Health System: एमपी के रीवा से सिस्टम को जमीनी हकीकत की तस्वीर सामने आई है. यहां हैजा पीड़ितों को एंबुलेंस के कर्मचारी रास्ते में ही छोड़कर भाग गए. जिसके चलते एक महिला की मौत हो गई, जबकि दो की हालत गंभीर है.

MP Poor Health System
बेपरवाह सिस्टम
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By ETV Bharat Hindi Team

Published : Oct 3, 2023, 7:27 PM IST

मरीजों को बीच रास्ते में छोड़कर भागे एंबुलेंस के कर्मचारी

रीवा। मध्यप्रदेश में इन दिनों चुनावी समर चल रहा है. प्रदेश सरकार के नेता व मंत्री जनता के पास जाकर विकास के नाम पर वोट मांग रहे हैं. वहीं दूसरी तरफ प्रदेश से कुछ ऐसी तस्वीर सामने आती है, जो मानवता और सिस्टम को शर्मसार करने वाली है. हम बात कर रहे हैं एमपी के रीवा जिले के त्योथर क्षेत्र की. यहां इंसानियत को शर्मसार कर देने वाला मामला सामने आया है. हैजा से ग्रसित मरीजों को एंबुलेंस बीच रास्ते में ही छोड़कर भा गई. जिसके बाद एक महिला मरीज की मौत हो गई, जबकि 2 की हालत गंभीर है. इतना ही नहीं मृतक महिला को शव वाहन भी नसीब नहीं हुआ. जिसके बाद शव को बांस और चादर के सहारे बांधकर घर ले जाया गया.

हैजा के मरीजों को रास्ते में छोड़कर भागे एंबुलेंस के कर्मचारी: दरअसल, मामला त्योंथर विधानसभा क्षेत्र के दत्तुपुर गांव का है. यहां पर रहने वाले मुसहर परिवार के तीन सदस्य अचानज हैजा की गंभीर बीमारी से ग्रसित हो गए. तीनों की हालात काफी गम्भीर थी. इसके बाद परिजनों ने 108 एंबुलेंस को सूचना दी. मौके पर पहुंचे एंबुलेंस के कर्मचारियों ने मरीजों को एम्बुलेंस में बैठाया और अस्पताल के लिए निकल गए, लेकिन हैजा का खौफ एंबुलेंस कर्मचारी पर ऐसा दिखा की कर्मचारियों ने तीनों मरीजों को बीच रास्ते में उतारा और वहां से एंबुलेंस सहित भाग गए.

इलाज के आभाव में महिला ने तोड़ा दम नहीं मिला शव वाहन: घटना के बाद स्थानीय लोग वहां पहुंचे और पुलिस को सूचना दी. मौके पर पहुंची पुलिस ने अपने वाहन के जरिए हैजा से गंभीर दो लोगों को अस्पताल पहुंचाया. जबकि हैजा से ग्रसित महिला ने मौके पर दम तोड़ दिया. इसके बाद मानवता यहीं पर नहीं मरी, बची हुई मानवता को सिस्टम ने शर्मसार कर दिया.

बांस और चादर के शहारे शव बांध कर घर ले गए परिजन: महिला की मौत के बाद उसे शव वाहन तक नसीब नहीं हुआ. जिसके बाद परिजनों ने बांस और चादर का इंतेजाम किया. उसी के सहारे शव को बांध कर कई किलोमीटर दूर तक पैदल सफर कर अपने घर पहुंचे. इस घटना का वीडियो भी सोशल मीडिया में जामकर वायरल हो रहा है. एंबुलेंस के कर्मचारी अगर महिला को सही समय पर इलाज के लिऐ अस्पताल पहुंचा देते तो शायद उस गरीब महिला की जान बचाई जा सकती थी.

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मामले पर मुख्य चिकित्सा स्वास्थ्य अधिकारी ने कही कार्रवाई की बात: मामले पर मुख्य चिकित्सा स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. केएल नामदेव का कहना है की दोपहर 1:30 बजे के आसपास सांसद जनार्दन मिश्रा से गांव में हैजा फैलने की जानकारी प्राप्त हुई थी. सूचना मिलते ही स्वास्थ्य विभाग की एक टीम को गठित करके मौके के लिए भेजा दिया है. जो भी मरीज हैजा ग्रसित है, उन्हें अस्पताल में भर्ती कराकर इलाज किया जाएगा. एंबुलेंस कर्मचारी द्वारा किए गए कृत्य को लेकर CMHO ने कहा कि घटना की जांच कराई जाएगी, जो भी दोषी होगा, उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी." वहीं महिला की मौत और शव वाहन उपलब्ध न होने के सवाल पर CMHO ने जानकारी न होने की बात कहकर अपना पल्ला झाड़ लिया.

मरीजों को बीच रास्ते में छोड़कर भागे एंबुलेंस के कर्मचारी

रीवा। मध्यप्रदेश में इन दिनों चुनावी समर चल रहा है. प्रदेश सरकार के नेता व मंत्री जनता के पास जाकर विकास के नाम पर वोट मांग रहे हैं. वहीं दूसरी तरफ प्रदेश से कुछ ऐसी तस्वीर सामने आती है, जो मानवता और सिस्टम को शर्मसार करने वाली है. हम बात कर रहे हैं एमपी के रीवा जिले के त्योथर क्षेत्र की. यहां इंसानियत को शर्मसार कर देने वाला मामला सामने आया है. हैजा से ग्रसित मरीजों को एंबुलेंस बीच रास्ते में ही छोड़कर भा गई. जिसके बाद एक महिला मरीज की मौत हो गई, जबकि 2 की हालत गंभीर है. इतना ही नहीं मृतक महिला को शव वाहन भी नसीब नहीं हुआ. जिसके बाद शव को बांस और चादर के सहारे बांधकर घर ले जाया गया.

हैजा के मरीजों को रास्ते में छोड़कर भागे एंबुलेंस के कर्मचारी: दरअसल, मामला त्योंथर विधानसभा क्षेत्र के दत्तुपुर गांव का है. यहां पर रहने वाले मुसहर परिवार के तीन सदस्य अचानज हैजा की गंभीर बीमारी से ग्रसित हो गए. तीनों की हालात काफी गम्भीर थी. इसके बाद परिजनों ने 108 एंबुलेंस को सूचना दी. मौके पर पहुंचे एंबुलेंस के कर्मचारियों ने मरीजों को एम्बुलेंस में बैठाया और अस्पताल के लिए निकल गए, लेकिन हैजा का खौफ एंबुलेंस कर्मचारी पर ऐसा दिखा की कर्मचारियों ने तीनों मरीजों को बीच रास्ते में उतारा और वहां से एंबुलेंस सहित भाग गए.

इलाज के आभाव में महिला ने तोड़ा दम नहीं मिला शव वाहन: घटना के बाद स्थानीय लोग वहां पहुंचे और पुलिस को सूचना दी. मौके पर पहुंची पुलिस ने अपने वाहन के जरिए हैजा से गंभीर दो लोगों को अस्पताल पहुंचाया. जबकि हैजा से ग्रसित महिला ने मौके पर दम तोड़ दिया. इसके बाद मानवता यहीं पर नहीं मरी, बची हुई मानवता को सिस्टम ने शर्मसार कर दिया.

बांस और चादर के शहारे शव बांध कर घर ले गए परिजन: महिला की मौत के बाद उसे शव वाहन तक नसीब नहीं हुआ. जिसके बाद परिजनों ने बांस और चादर का इंतेजाम किया. उसी के सहारे शव को बांध कर कई किलोमीटर दूर तक पैदल सफर कर अपने घर पहुंचे. इस घटना का वीडियो भी सोशल मीडिया में जामकर वायरल हो रहा है. एंबुलेंस के कर्मचारी अगर महिला को सही समय पर इलाज के लिऐ अस्पताल पहुंचा देते तो शायद उस गरीब महिला की जान बचाई जा सकती थी.

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मामले पर मुख्य चिकित्सा स्वास्थ्य अधिकारी ने कही कार्रवाई की बात: मामले पर मुख्य चिकित्सा स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. केएल नामदेव का कहना है की दोपहर 1:30 बजे के आसपास सांसद जनार्दन मिश्रा से गांव में हैजा फैलने की जानकारी प्राप्त हुई थी. सूचना मिलते ही स्वास्थ्य विभाग की एक टीम को गठित करके मौके के लिए भेजा दिया है. जो भी मरीज हैजा ग्रसित है, उन्हें अस्पताल में भर्ती कराकर इलाज किया जाएगा. एंबुलेंस कर्मचारी द्वारा किए गए कृत्य को लेकर CMHO ने कहा कि घटना की जांच कराई जाएगी, जो भी दोषी होगा, उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी." वहीं महिला की मौत और शव वाहन उपलब्ध न होने के सवाल पर CMHO ने जानकारी न होने की बात कहकर अपना पल्ला झाड़ लिया.

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