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शिवसेना सभी मुद्दों पर चाहती है कि संसद में हो चर्चा: अरविंद सावंत

शिवसेना चाहती है कि सभी मुद्दों पर संसद में चर्चा हो. पार्टी के लिए पेगासस जासूसी का मुद्दा है, लेकिन इससे ज्यादा जरूरी लगातार बढ़ रही महंगाई के मुद्दे पर चर्चा हो जिससे कि आम जनता को राहत मिल सके. ये बातें शिवसेना के नेता अरविंद सावंत (MP Arvind Sawant) ने नई दिल्ली में ईटीवी भारत की ​वरिष्ठ संवाददाता से हुई बातचीत में पार्टी का पक्ष रखते हुए कहीं.

corona management, Parliament
अरविंद सावंत
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Published : Jul 22, 2021, 10:15 PM IST

सदन के मानसून सत्र में विपक्षी पार्टियों द्वारा विभिन्न मुद्दों को लेकर हो रहे विरोध-प्रदर्शन पर शिवसेना सांसद सावंत (MP Arvind Sawant) ने कहा कि सभी पार्टियों की नीतियां अलग हैं, उम्मीद है कि एक-दो दिन में यह मामला भी ठंडा हो जाएगा. शिवसेना के लिए सबसे बड़ा मुद्दा महंगाई का है. पेट्रोल-डीजल के लगातार बढ़ रही कीमतों से महंगाई तेजी से बढ़ रही है जिससे आम जनता परेशान है. कहा कि कोरोना भी एक प्रमुख मुद्दा है, जिस पर प्रधानमंत्री ने बैठक भी ली. राज्यों के खुद के मुद्दे हैं जैसे महाराष्ट्र के हिस्से के जीएसटी के 30 हजार का करोड़ रुपये बकाया है.

कोरोना के प्रबंधन पर केंद्र सरकार फेल

केंद्र सरकार पर कोरोना के प्रबंधन के मामले में (Corona Management) लापरवाही करने का आरोप लगाते हुए कहा कि कोरोना की दूसरी लहर के दौरान प्रबंधन पर केंद्र सरकार फेल हो गई है, इन तमाम मुद्दों पर बहस होनी चाहिए. इसके अलावा मराठा आरक्षण भी एक प्रमुख मुद्दा है. किसान आंदोलन पर पूछे गए सवाल पर कहा कि शिवसेना चाहती है कि सदन में किसानों के मुद्दे, प्राकृतिक आपदा और पर्यावरण के मुद्दे पर भी चर्चा हो.

देश में ऑक्सीजन की कमी से हुई मौतों पर केंद्र सरकार के बयान पर शिवसेना सांसद अरविंद सावंत का कहना है कि केंद्र सरकार का यह बयान दुर्भाग्यपूर्ण है सभी जानते हैं कि कोरोना की दूसरी लहर के दौरान देश के क्या हालत थे. हर राज्य ऑक्सीजन की कमी से जूझ रहा था. इन मुद्दों को कमियां मानकर केंद्र सरकार को छुपाना नहीं चाहिए, बल्कि गलती स्वीकार करनी चाहिए. इसका गुस्सा केंद्र सरकार को मीडिया पर भी नहीं उतारना चाहिए.

पढ़ें:संघ के पास ब्रेन 'जीरो' है, मुसलमानों से नफरत 100% : ओवैसी

अभी खत्म नहीं हुआ कोरोना

कोरोना की तीसरी लहर से जुड़े सवाल पर जवाब दिया कि अभी कोरोना खत्म नहीं हुआ है और अभी भी डर है. हालांकि महाराष्ट्र सरकार दूसरी लहर के दौरान से ही बहुत अच्छे तरीके से इंतजाम कर रही है. सरकार ने डॉक्टरों का टॉस्क फोर्स बनाया है और तीसरी लहर के लिए भी महाराष्ट्र सरकार पूरी तरह से तैयार है. महाराष्ट्र सरकार ने बच्चों के वार्ड, आईसीयू, वेंटिलेटर सभी के इंतजाम कर लिए हैं. दावा किया कि यदि तीसरी लहर आती है तो महाराष्ट्र की सरकार उसके लिए पूरी तरह से तैयार है. केंद्र और आरोप लगाते हुए कहा कि केंद्र ने शुरुआत में पीपीई किट तक निर्माण करने से राज्यों को मना किया था.

ममता बनर्जी का स्वागत है

ममता बनर्जी के अन्य राज्यों और केंद्र की राजनीति में आने के संकेत देने वाले बयान पर कहा कि उनका स्वागत है राजनीति में आना कोई पाप करने जैसा तो है नहीं है. जनसंख्या नीति पर शिवसेना का क्या रूख है इसके जवाब में शिवसेना सांसद अरविंद सावंत ने कहा कि जनसंख्या नीति पर शिवसेना अपने पुराने रुख पर कायम है और सरकार के साथ है. भले ही सरकार बदल जाए लेकिन हमारी विचारधारा नहीं बदलती है. राष्ट्र के हित में जनसंख्या नीति आनी चाहिए. महा अघाड़ी सरकार में सब कुछ ठीक नहीं चलने के सवाल पर जवाब दिया कि ये बातें तो होती रहती हैं और लोग ज्योतिषीय परिकल्पना करते रहते हैं. इससे कोई फर्क नहीं पड़ता.

सदन के मानसून सत्र में विपक्षी पार्टियों द्वारा विभिन्न मुद्दों को लेकर हो रहे विरोध-प्रदर्शन पर शिवसेना सांसद सावंत (MP Arvind Sawant) ने कहा कि सभी पार्टियों की नीतियां अलग हैं, उम्मीद है कि एक-दो दिन में यह मामला भी ठंडा हो जाएगा. शिवसेना के लिए सबसे बड़ा मुद्दा महंगाई का है. पेट्रोल-डीजल के लगातार बढ़ रही कीमतों से महंगाई तेजी से बढ़ रही है जिससे आम जनता परेशान है. कहा कि कोरोना भी एक प्रमुख मुद्दा है, जिस पर प्रधानमंत्री ने बैठक भी ली. राज्यों के खुद के मुद्दे हैं जैसे महाराष्ट्र के हिस्से के जीएसटी के 30 हजार का करोड़ रुपये बकाया है.

कोरोना के प्रबंधन पर केंद्र सरकार फेल

केंद्र सरकार पर कोरोना के प्रबंधन के मामले में (Corona Management) लापरवाही करने का आरोप लगाते हुए कहा कि कोरोना की दूसरी लहर के दौरान प्रबंधन पर केंद्र सरकार फेल हो गई है, इन तमाम मुद्दों पर बहस होनी चाहिए. इसके अलावा मराठा आरक्षण भी एक प्रमुख मुद्दा है. किसान आंदोलन पर पूछे गए सवाल पर कहा कि शिवसेना चाहती है कि सदन में किसानों के मुद्दे, प्राकृतिक आपदा और पर्यावरण के मुद्दे पर भी चर्चा हो.

देश में ऑक्सीजन की कमी से हुई मौतों पर केंद्र सरकार के बयान पर शिवसेना सांसद अरविंद सावंत का कहना है कि केंद्र सरकार का यह बयान दुर्भाग्यपूर्ण है सभी जानते हैं कि कोरोना की दूसरी लहर के दौरान देश के क्या हालत थे. हर राज्य ऑक्सीजन की कमी से जूझ रहा था. इन मुद्दों को कमियां मानकर केंद्र सरकार को छुपाना नहीं चाहिए, बल्कि गलती स्वीकार करनी चाहिए. इसका गुस्सा केंद्र सरकार को मीडिया पर भी नहीं उतारना चाहिए.

पढ़ें:संघ के पास ब्रेन 'जीरो' है, मुसलमानों से नफरत 100% : ओवैसी

अभी खत्म नहीं हुआ कोरोना

कोरोना की तीसरी लहर से जुड़े सवाल पर जवाब दिया कि अभी कोरोना खत्म नहीं हुआ है और अभी भी डर है. हालांकि महाराष्ट्र सरकार दूसरी लहर के दौरान से ही बहुत अच्छे तरीके से इंतजाम कर रही है. सरकार ने डॉक्टरों का टॉस्क फोर्स बनाया है और तीसरी लहर के लिए भी महाराष्ट्र सरकार पूरी तरह से तैयार है. महाराष्ट्र सरकार ने बच्चों के वार्ड, आईसीयू, वेंटिलेटर सभी के इंतजाम कर लिए हैं. दावा किया कि यदि तीसरी लहर आती है तो महाराष्ट्र की सरकार उसके लिए पूरी तरह से तैयार है. केंद्र और आरोप लगाते हुए कहा कि केंद्र ने शुरुआत में पीपीई किट तक निर्माण करने से राज्यों को मना किया था.

ममता बनर्जी का स्वागत है

ममता बनर्जी के अन्य राज्यों और केंद्र की राजनीति में आने के संकेत देने वाले बयान पर कहा कि उनका स्वागत है राजनीति में आना कोई पाप करने जैसा तो है नहीं है. जनसंख्या नीति पर शिवसेना का क्या रूख है इसके जवाब में शिवसेना सांसद अरविंद सावंत ने कहा कि जनसंख्या नीति पर शिवसेना अपने पुराने रुख पर कायम है और सरकार के साथ है. भले ही सरकार बदल जाए लेकिन हमारी विचारधारा नहीं बदलती है. राष्ट्र के हित में जनसंख्या नीति आनी चाहिए. महा अघाड़ी सरकार में सब कुछ ठीक नहीं चलने के सवाल पर जवाब दिया कि ये बातें तो होती रहती हैं और लोग ज्योतिषीय परिकल्पना करते रहते हैं. इससे कोई फर्क नहीं पड़ता.

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