नई दिल्ली: भारत मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) ने 16 मई तक केरल के एर्नाकुलम और इडुक्की जिलों के लिए रेड अलर्ट जबकि दक्षिणी जिलों के लिए ऑरेंज अलर्ट जारी किया है. इस बीच, मुख्य सचिव वी पी जॉय ने जिलाधिकारियों की एक उच्चस्तरीय बैठक बुलाई और आवश्यकता पड़ने पर राहत शिविर स्थापित करने के निर्देश जारी किये. बैठक के दौरान मुख्य सचिव ने कोई भी आपात स्थिति होने की सूरत में लोगों को सूचित करने के लिए एक अलार्म प्रणाली स्थापित करने का भी निर्देश दिया.
सरकारी सूत्रों ने बताया कि आपात स्थिति से निपटने के लिए राज्य में नियंत्रण कक्ष पहले ही स्थापित किया जा चुका है और बैठक में जिलाधिकारियों को बाढ़ की चपेट में आने वाले क्षेत्रों से लोगों को स्थानांतरित करने का भी निर्देश दिया गया. इससे पहले दिन में, मौसम वैज्ञानिकों ने कहा कि शनिवार के लिए एर्नाकुलम और इडुक्की के लिए रेड अलर्ट जारी किया गया, जबकि तिरुवनंतपुरम, कोल्लम, पठानमथिट्टा, अलप्पुझा, कोट्टायम और त्रिशूर जिलों के लिए 16 मई तक ऑरेंज अलर्ट जारी किया गया है.
रेड अलर्ट चौबीस घंटों में 20 सेंटीमीटर से अधिक भारी से बहुत भारी बारिश का संकेत देता है. ऑरेंज अलर्ट का मतलब छह सेंटीमीटर से 20 सेंटीमीटर तक बहुत भारी बारिश है. येलो अलर्ट का मतलब है छह से 11 सेंटीमीटर के बीच भारी बारिश. आईएमडी ने कहा कि केरल तट पर 40-50 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से हवा चलने की संभावना है और मछुआरों को 16 मई तक समुद्र की तरफ न जाने की सलाह दी गई है. मौसम विभाग ने इन दिनों मलप्पुरम, कोझिकोड और वायनाड जिलों के लिए भी येलो अलर्ट जारी किया है. चूंकि पिछले कुछ दिनों से राज्य के दक्षिणी हिस्से में बारिश हो रही है, जिला प्रशासन ने निचले इलाकों, नदियों के किनारे और पहाड़ी क्षेत्रों में रहने वाले लोगों को सतर्क रहने की चेतावनी जारी की है.
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आईएमडी ने पहले भविष्यवाणी की थी कि दक्षिण-पश्चिमी मानसून, जिसे राज्य में एडवापति के नाम से भी जाना जाता है, की वजह से केरल में सामान्य तारीख से पांच दिन पहले 27 मई तक पहली बारिश होने की संभावना है.
पीटीआई-भाषा