ETV Bharat / bharat

जानें, कहां एक मरे हुए कुत्ते को 9 साल बाद मिला न्याय, ₹ 3 लाख का मुआवजा - कुत्ता जॉन को न्याय

जिला सत्र अदालत ने वादी के पक्ष में फैसला सुनाते हुए एक लाख 62 हजार रुपये मुआवजे के रूप में और इस राशि पर आठ प्रतिशत प्रति वर्ष का भुगतान करने का आदेश दिया. इसके अनुसार, नौ साल के लिए राशि तीन लाख हो जाएगी.

महाराष्ट्र
महाराष्ट्र
author img

By

Published : Dec 22, 2021, 7:41 AM IST

चंद्रपुर : भारत में आम इंसानों को न्याय के लिए सालों साल इंतजार करना पड़ता है. अंततः उन्हें न्याय मिल ही जाता है. कुछ ऐसा ही महाराष्ट्र के चंद्रपुर जिले में हुआ, जहां एक मरे हुए कुत्ते को न्याय दिलाने के लिए उसके मालिक ने नौ साल तक अदालत में लड़ाई लडी और आखिरकार उन्हें न्याय मिलने के साथ तीन लाख रुपये का मुआवजा भी मिला.

जानकारी के मुताबिक, तुकुम निवासी उमेश भटकर का पालतु कुत्ता 'जॉन' की एक सड़क हादसे में मौत हो गई थी. कुत्ते की खास बात यह थी कि वह एक निजी कंपनी में नौकरी करता था, जिसके बदले उमेश को आठ हजार रुपये प्रति माह मिलते थे. 10 जनवरी 2013 में उमेश अपने कुत्ते के साथ मंदिर जा रहा था. तभी बस के नीचे आकर कुत्ते की मौत हो गई.

जॉन के मरने से उमेश को आठ हजार रुपये प्रति माह का नुकसान हो रहा था. उमेश ने बस के मालिक और इंश्योरेंस कंपनी से नुकसान के भरपाई की मांग की. इसके लिए उन्होंने काफी तकादा किया, लेकिन इसका कोई फायदा नहीं हुआ.

आखिर में उन्होंने कोर्ट का दरवाजा खटखटाया. इस तरह से केस आठ साल और 11 महीने तक चलता रहा और आखिर में नौ दिसम्बर को उन्हें न्याय मिला. जिला सत्र अदालत ने वादी के पक्ष में फैसला सुनाते हुए एक लाख 62 हजार रुपये मुआवजे के रूप में और इस राशि पर आठ प्रतिशत प्रति वर्ष का भुगतान करने का आदेश दिया. इसके अनुसार, नौ साल के लिए राशि तीन लाख हो जाएगी.

जस्टिस एस.जे. अंसारी ने यह अहम फैसला सुनाया है. यह चंद्रपुर जिला न्यायालय के इतिहास में अब तक का पहला अनूठा फैसला माना जा रहा है.

चंद्रपुर : भारत में आम इंसानों को न्याय के लिए सालों साल इंतजार करना पड़ता है. अंततः उन्हें न्याय मिल ही जाता है. कुछ ऐसा ही महाराष्ट्र के चंद्रपुर जिले में हुआ, जहां एक मरे हुए कुत्ते को न्याय दिलाने के लिए उसके मालिक ने नौ साल तक अदालत में लड़ाई लडी और आखिरकार उन्हें न्याय मिलने के साथ तीन लाख रुपये का मुआवजा भी मिला.

जानकारी के मुताबिक, तुकुम निवासी उमेश भटकर का पालतु कुत्ता 'जॉन' की एक सड़क हादसे में मौत हो गई थी. कुत्ते की खास बात यह थी कि वह एक निजी कंपनी में नौकरी करता था, जिसके बदले उमेश को आठ हजार रुपये प्रति माह मिलते थे. 10 जनवरी 2013 में उमेश अपने कुत्ते के साथ मंदिर जा रहा था. तभी बस के नीचे आकर कुत्ते की मौत हो गई.

जॉन के मरने से उमेश को आठ हजार रुपये प्रति माह का नुकसान हो रहा था. उमेश ने बस के मालिक और इंश्योरेंस कंपनी से नुकसान के भरपाई की मांग की. इसके लिए उन्होंने काफी तकादा किया, लेकिन इसका कोई फायदा नहीं हुआ.

आखिर में उन्होंने कोर्ट का दरवाजा खटखटाया. इस तरह से केस आठ साल और 11 महीने तक चलता रहा और आखिर में नौ दिसम्बर को उन्हें न्याय मिला. जिला सत्र अदालत ने वादी के पक्ष में फैसला सुनाते हुए एक लाख 62 हजार रुपये मुआवजे के रूप में और इस राशि पर आठ प्रतिशत प्रति वर्ष का भुगतान करने का आदेश दिया. इसके अनुसार, नौ साल के लिए राशि तीन लाख हो जाएगी.

जस्टिस एस.जे. अंसारी ने यह अहम फैसला सुनाया है. यह चंद्रपुर जिला न्यायालय के इतिहास में अब तक का पहला अनूठा फैसला माना जा रहा है.

ETV Bharat Logo

Copyright © 2025 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.