बुलढाणा: महाराष्ट्र के बुलढाणा जिले में बस हादसे में जान गंवाने वाले 25 में से 24 लोगों का रविवार को सामूहिक रूप से अंतिम संस्कार कर दिया गया. एक वरिष्ठ अधिकारी ने इस मामले की जानकारी दी है. अधिकारी ने पहले बताया था कि एक मृतक का शव अंतिम संस्कार के लिए उसके परिजन को सौंपा जाएगा.
उन्होंने बताया कि बस में आग लगने से ज्यादातर लोगों के शव इतनी बुरी तरह जल गए थे कि उनकी पहचान करना मुश्किल था और उनके परिजनों को शवों की डीएनए जांच कराने के बजाय उनका सामूहिक रूप से अंतिम संस्कार करने के लिए मनाया गया. सूत्रों के अनुसार, डीएनए जांच लंबी प्रक्रिया होती है, जिसमें मृतक की शिनाख्त करने में कई दिन लग सकते हैं.
बुलढाणा में वैकुंठ धाम हिंदू श्मशान भूमि में रविवार को 24 शवों का सामूहिक रूप से अंतिम संस्कार किया गया. अंतिम संस्कार के दौरान मृतकों के परिजन और महाराष्ट्र के मंत्री गिरीश महाजन उपस्थित रहे तथा उन्होंने मृतकों को श्रद्धांजलि दी. पुलिस ने पहले बताया था कि महाराष्ट्र के बुलढाणा जिले में नागपुर-मुंबई समृद्धि एक्सप्रेस-वे पर शुक्रवार देर रात करीब डेढ़ बजे एक बस के डिवाइडर से टकराकर पलट जाने के बाद उसमें आग लगने से 25 यात्रियों की झुलसकर मौत हो गई.
मृतकों में 11 पुरुष और 14 महिला यात्री शामिल हैं. इनमें से 10 लोग वर्धा, सात पुणे, चार नागपुर और दो-दो लोग यवतमाल और वाशिम से थे. इस भीषण दुर्घटना में बस चालक और उसके सहायक सहित आठ लोग बच गए थे. स्थानीय प्रशासन के अनुसार, 25 मृतकों के परिवार के सदस्य बुलढाणा पहुंच गए.
शनिवार को बस चालक के खिलाफ लापरवाही से गाड़ी चलाने का मामला दर्ज किया गया. पुलिस के अनुसार, प्रथम दृष्टया ऐसा लगता है कि बस चालक को झपकी आ गयी और वह वाहन पर से अपना नियंत्रण खो बैठा. महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने दुर्घटना की जांच के आदेश दिए हैं और प्रत्येक मृतक के परिवार के लिए पांच लाख रुपये की अनुग्रह सहायता की घोषणा की है.
(एजेंसी इनपुट)