लखीमपुर खीरी: जिला जेल में 279 दिनों से बन्द केंद्रीय गृह राज्य मंत्री अजय मिश्र टेनी के बेटे आशीष मिश्र को जेल से रिहा कर दिया गया है. आशीष को जेल के पीछे के गेट से चुपचाप बाहर निकाला गया. सुप्रीम कोर्ट से तीन दिन पहले तिकुनिया हिंसा मामले में जमानत मिल जाने के बाद आशीष मिश्रा की रिहाई की अटकलें लग रही थीं. 26 जनवरी की छुट्टी की वजह से आशीष को दो दिन और जेल में बिताना पड़ा था. जेल अधीक्षक पीके मिश्र ने जेल से रिहाई की पुष्टि करते हुए बताया कि जेल नियमों के मुताबिक कोर्ट से कागजात आने के बाद आशीष को जमानत पर रिहा किया गया है. इसके पहले आशीष मिश्र को अदालत ने तीन तीन लाख की जमानतें दाखिल करने के आदेश दिए थे.
जेल अधीक्षक पीके मिश्र ने कहा कि अदालत से इन दोनों जमानतदारों के वेरिफिकेशन के लिए सम्बंधित थानों को फाइल भेज दी थी. तिकुनिया हिंसा मामले में सुप्रीम कोर्ट ने बुधवार सुबह आशीष मिश्र की जमानत अर्जी पर सुरक्षित फैसला को सुनाते हुए आशीष को सशर्त जमानत दी थी. आशीष को अदालत ने आठ सप्ताह की अंतरिम जमानत दी है. इस दौरान अदालत ने आशीष के यूपी और दिल्ली में रहने पर रोक लगाई है. वहीं, पासपोर्ट भी निचली अदालत में जमा कराने के निर्देश दिए थे. जमानत आदेश में अदालत ने गवाहों को प्रभावित करने की दशा में जमानत रद्द करने की बात भी कही गई है. सुप्रीम कोर्ट ने स्वतः संज्ञान लेते हुए काउंटर केस में जेल में बंद चार किसानों को भी अंतरिम जमानत दी है. इन चारों किसानों के जमानत प्रार्थनापत्र हाईकोर्ट में पेन्डिंग हैं. जमानत की प्रक्रिया में आशीष के वकील अवधेश सिंह और उनकी टीम जमानत बांड दाखिल करने में जुट गए.
लखीमपुर खीरी जिले में एडीजे प्रथम की अदालत में आशीष के जमानत प्रार्थनापत्र पर सुनवाई करते हुए अदालत ने तीन तीन लाख के दो जमानत दाखिल करने के आदेश दिए थे. आशीष के वकील ने दो जमानतदार अदालत में दाखिल किए थे, जिसे अदालत ने वेरिफिकेशन को सम्बंधित थानों को भेज दिया था. अगले दिन 26 जनवरी को अवकाश पड़ने से वेरिफिकेशन कागज नहीं पहुंचे. इसके बाद शुक्रवार सुबह से ही जेल के बाहर मीडिया का जमावड़ा था. पर देर शाम अदालत से जमानतदारों के वेरिफिकेशन के बाद आशीष को जेल से रिहा किया गया. आशीष को पीछे के दरवाजे से निकाल दिया गया.