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काशी विश्वनाथ के स्पर्श दर्शन की व्यवस्था फिर शुरू हुई, गर्भ गृह में प्रवेश कर सकेंगे श्रद्धालु

विश्वनाथ मंदिर आने वाले श्रद्धालुओं के लिए अच्छी खबर है. श्री काशी विश्वनाथ मंदिर ट्रस्ट ने कहा है कि भक्तों की मांग को देखते हुए स्पर्श दर्शन (kashi vishwanath sparsh darshan) दोबारा शुरू किया जाएगा. 21 फरवरी की दोपहर बाद से गर्भगृह में भक्तों को प्रवेश की अनुमति दी जाएगी.

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विश्वनाथ मंदिर
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Published : Feb 21, 2022, 1:36 PM IST

वाराणसी : कोविड-19 की तीसरी लहर में कोरोना संक्रमण का प्रसार रोकने के लिए मंदिर जैसे सार्वजनिक स्थानों पर पाबंदियां लगाई गई थीं. हालांकि, हालात नियंत्रण में होने पर पाबंदियों में ढील दी जाने लगी है. इसी कड़ी में उत्तर प्रदेश के काशी विश्वनाथ मंदिर में स्पर्श दर्शन (kashi vishwanath sparsh darshan) शुरू हो गया है.

कोरोना के कारण लंबे वक्त से स्पर्श दर्शन की व्यवस्था स्थगित कर दी गई थी. ताजा घटनाक्रम में विश्वनाथ मंदिर प्रशासन की तरफ से जारी निर्देशों के मुताबिक भक्तों की भारी डिमांड को देखते हुए श्री काशी विश्वनाथ मंदिर ट्रस्ट ने स्पर्श दर्शन शुरू करने का फैसला लिया है. स्पर्श दर्शन सोमवार से शुरू हो गया.

सिर्फ आधे घंटे का समय
दरअसल, दिसंबर महीने में कोविड-19 की तीसरी लहर की दस्तक और लगातार तेजी से बढ़ रहे संक्रमण की वजह से श्री काशी विश्वनाथ मंदिर आने वाले भक्तों के लिए स्पर्श दर्शन व्यवस्था बंद कर दी गई थी. अब कोरोना संक्रमण का प्रसार कम हुआ है. वाराणसी में रिकवरी रेट 98 प्रतिशत से ऊपर पहुंच चुका है. हालात में सुधार के बीच विश्वनाथ मंदिर प्रशासन ने एक बार फिर स्पर्श दर्शन की व्यवस्था शुरू कर दी है. काशी विश्वनाथ स्पर्श दर्शन की व्यवस्था सुबह 4 बजे से 4:30 बजे तक ही उपलब्ध होगी.

यह भी पढ़ें- प्रधानमंत्री की सौगात, काशी विश्वनाथ मंदिर के कर्मचारियों के लिए भेजे स्पेशल जूते

श्री काशी विश्वनाथ मंदिर ट्रस्ट ने बताया कि सुबह मंगला आरती के बाद भक्त बाबा विश्वनाथ के स्पर्श दर्शन का लाभ ले सकेंगे. भक्तों को गर्भगृह में प्रवेश का मौका मिलेगा. गौरतलब है कि काशी विश्वनाथ आने वाले श्रद्धालुओं ने धर्मार्थ कार्य पर्यटन मंत्री नीलकंठ तिवारी से मुलाकात कर गर्भगृह में प्रवेश की सुविधा शुरू कराने की अपील की थी.

वाराणसी : कोविड-19 की तीसरी लहर में कोरोना संक्रमण का प्रसार रोकने के लिए मंदिर जैसे सार्वजनिक स्थानों पर पाबंदियां लगाई गई थीं. हालांकि, हालात नियंत्रण में होने पर पाबंदियों में ढील दी जाने लगी है. इसी कड़ी में उत्तर प्रदेश के काशी विश्वनाथ मंदिर में स्पर्श दर्शन (kashi vishwanath sparsh darshan) शुरू हो गया है.

कोरोना के कारण लंबे वक्त से स्पर्श दर्शन की व्यवस्था स्थगित कर दी गई थी. ताजा घटनाक्रम में विश्वनाथ मंदिर प्रशासन की तरफ से जारी निर्देशों के मुताबिक भक्तों की भारी डिमांड को देखते हुए श्री काशी विश्वनाथ मंदिर ट्रस्ट ने स्पर्श दर्शन शुरू करने का फैसला लिया है. स्पर्श दर्शन सोमवार से शुरू हो गया.

सिर्फ आधे घंटे का समय
दरअसल, दिसंबर महीने में कोविड-19 की तीसरी लहर की दस्तक और लगातार तेजी से बढ़ रहे संक्रमण की वजह से श्री काशी विश्वनाथ मंदिर आने वाले भक्तों के लिए स्पर्श दर्शन व्यवस्था बंद कर दी गई थी. अब कोरोना संक्रमण का प्रसार कम हुआ है. वाराणसी में रिकवरी रेट 98 प्रतिशत से ऊपर पहुंच चुका है. हालात में सुधार के बीच विश्वनाथ मंदिर प्रशासन ने एक बार फिर स्पर्श दर्शन की व्यवस्था शुरू कर दी है. काशी विश्वनाथ स्पर्श दर्शन की व्यवस्था सुबह 4 बजे से 4:30 बजे तक ही उपलब्ध होगी.

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श्री काशी विश्वनाथ मंदिर ट्रस्ट ने बताया कि सुबह मंगला आरती के बाद भक्त बाबा विश्वनाथ के स्पर्श दर्शन का लाभ ले सकेंगे. भक्तों को गर्भगृह में प्रवेश का मौका मिलेगा. गौरतलब है कि काशी विश्वनाथ आने वाले श्रद्धालुओं ने धर्मार्थ कार्य पर्यटन मंत्री नीलकंठ तिवारी से मुलाकात कर गर्भगृह में प्रवेश की सुविधा शुरू कराने की अपील की थी.

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