रायपुर : शुक्रवार को ईडी मामले में फिर से सुनवाई हुई, जिसमें मुख्यमंत्री की निलंबित उप सचिव सौम्या चौरसिया, निलंबित आईएएस समीर विश्नोई कारोबारी सूर्यकांत तिवारी, लक्ष्मीकांत तिवारी और सुनील अग्रवाल जेल में है. ईडी की विशेष अदालत के जज अजय कुमार सिंह की अदालत में यह सुनवाई हुई. फिलहाल अदालत ने इन सभी आरोपियों को किसी भी तरह की कोई राहत नहीं दी है. सभी को ईडी ने मनी लांड्रिंग और कोयला घोटाले का आरोपी बनाया है. कोर्ट ने 27 जनवरी तक सौम्या चौरसिया की न्यायिक रिमांड बढ़ा दी है. निलंबित आईएएस समीर विश्नोई सहित कोयला कारोबारियों की न्यायिक रिमांड 27 फरवरी तक बढ़ा दी गई है.
कोर्ट से लगा सौम्या को झटका : बचाव पक्ष के वकील फैजल रिजवी ने बताया कि '' कोर्ट ने पहले ही वीडियो कांफ्रेंसिंग के माध्यम से पेशी के लिए कहा था. शुक्रवार को सूर्यकांत तिवारी और अन्य लोगों की वीडियो कांफ्रेंसिंग के माध्यम से पेशी हुई है, जिसमें उनकी न्यायिक रिमांड 14 फरवरी तक बढ़ा दिया गया है. वहीं सौम्या चौरसिया की न्यायिक रिमांड 27 जनवरी तक बढ़ा दी गई है.'' वकील हर्षवर्धन परगनिया ने बताया कि ''शुक्रवार को हमने सौम्या चौरसिया के बेल एप्लीकेशन और अन्य दस्तावेज दे दिए हैं. न्यायालय ने बेल एप्लीकेशन की सुनवाई के लिए 19 जनवरी की तारीख तय की है.''
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कब से जेल में हैं सौम्या चौरसिया : ईडी ने 11 अक्टूबर को राज्य के कई जिलों में एक साथ छापामार कार्रवाई की थी. इस कार्यवाई के बाद निलंबित आईएएस समीर विश्नोई, कारोबारी सूर्यकांत तिवारी, लक्ष्मीकांत तिवारी और सुनील अग्रवाल को गिरफ्तार किया था. इन चारों आरोपियों को ईडी ने मनी लांड्रिंग और कोयला घोटाले के आरोप में गिरफ्तार किया है. इन आरोपियों को न्यायिक रिमांड पर कोर्ट ने 10 दिसंबर को जेल भेज दिया था. मुख्यमंत्री की उप सचिव सौम्या चौरसिया को ईडी ने 2 दिसंबर को गिरफ्तार किया था. ईडी ने पूछताछ के बाद सौम्या चौरसिया को कोर्ट में पेश किया, जिसके बाद सौम्या चौरसिया को 19 दिसंबर को जेल भेज दिया गया था.