लखनऊ : उत्तर प्रदेश में सूचना विभाग के चार अधिकारियों को चौकीदार-चपरासी और ऑपरेटर और सहायक बना दिया गया है. नियम विरूद्ध पद पाने वालों को योगी सरकार ने डीमोट करते हुए चौकीदार और चपरासी बना दिया है. इससे पहले एक एसडीएम को भी सरकार ने डीमोट कर तहसीलदार बना दिया था.
सूचना एवं जनसंपर्क विभाग के अपर जिला सूचना अधिकारियों को डिमोट करके उनके मूल पद पर वापस कर दिया गया है. इनमें से दो अफसरों को चपरासी और चौकीदार पद पर वापस भेजा गया है. यह कार्रवाई हाईकोर्ट के आदेश के अनुपालन में की गई है. ये मामला 2014 का है.
इन अधिकारियों का हुआ डिमोशन
क्षेत्रीय प्रचार संगठन के तहत जिला सूचना कार्यालयों में कार्यरत रहे इन कर्मचारियों को 3 नवंबर 2014 को प्रमोशन दे दिया गया था. सारे नियमों को दरकिनार करते हुए इन्हें यह प्रमोशन दिया गया, जिसके बाद मामला हाईकोर्ट कोर्ट में पहुंच गया. कोर्ट के आदेश के क्रम में अब सूचना निदेशक शिशिर ने पदावनत करने के आदेश जारी कर दिया गया है.
इसमें जिला सूचना अधिकारी बरेली नरसिंह को पदावनत कर चपरासी, अपर जिला सूचना अधिकारी फिरोजाबाद दयाशंकर को चौकीदार, अपर जिला सूचना अधिकारी विनोद कुमार शर्मा को सिनेमा ऑपरेटर सह-प्रचार सहायक और अपर जिला सूचना अधिकारी भदोही अनिल कुमार सिंह को रिमोट कर सिनेमा ऑपरेटर सह-प्रचार सहायक के पद पर वापस भेज दिया गया है. इस आदेश को तत्काल प्रभाव से लागू कर दिया गया है.
एसडीएम को भी किया था डिमोट
इससे पहले राज्य सरकार ने एक उप-जिलाधिकारी को तहसीलदार पद पर वापस कर दिया था. योगी सरकार ने अब तक कदाचरण में तीन साल में 2,100 से ज्यादा अफसरों व कर्मचारियों को जेल भेजा गया है.
सीएम के सूचना सलाहकार शलभ मणि त्रिपाठी ने इस संबंध में एक ट्वीट कर कहा कि सरकारी अराजकता के खिलाफ योगी सरकार का हंटर चालू है.
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नियुक्ति विभाग ने एक अप्रैल 2017 से अब तक 50 पीसीएस अफसरों पर कठोर दंडात्मक कार्रवाई की है. वहीं 44 पर लघु दंडात्मक कार्रवाई की गई है. इसी तरह 480 पुलिस कर्मियों के खिलाफ भी सरकार ने कार्रवाई की है.