ग्वालियर: मध्य प्रदेश पुलिस की आर्थिक अपराध शाखा (Economic Offenses Wing) ने ग्वालियर में एक प्राइमरी स्कूल के सहायक शिक्षक के घर छापा मारा है. यह छापेमारी सरकारी शिक्षक के चार ठिकानों पर हुई है. कार्रवाई में शिक्षक के पास आय से 1000 गुना अधिक संपत्ति का पता चल चुका है. EOW की छापेमारी में यह भी पता चला है कि पेशे से सरकारी शिक्षक, डी.एड व बी.एड सहित नर्सिंग के कुल 20 कॉलेजों का मालिक है.
यह है मामला: आर्थिक अपराध शाखा (Economic Offenses Wing) पुलिस उपाधीक्षक सतीश चतुर्वेदी ने बताया कि ग्वालियर के रहने वाले सहायक शिक्षक प्रशांत परमार के घर EOW की टीम ने ने छापा मारा है. सहायक शिक्षक के 4 ठिकानों पर एक साथ EOW ने कार्रवाई की है. उन्होंने बताया कि EOW को सूचना मिली थी कि सत्यम टावर में रहने वाले शिक्षक के पास से आय से अधिक संपत्ति अर्जित की गई है. EOW की कार्रवाई में शिक्षक के घर से बड़ी संख्या में अकाउंट चेकबुक और प्रॉपर्टी के दस्तावेज मिले हैं.
20 कॉलेजों का मालिक है शिक्षक: पुलिस उपाधीक्षक ने बताया कि घाटीगांव में तैनात प्राथमिक विद्यालय के शिक्षक प्रशांत परमार के घर और अन्य परिसरों में छापेमारी की गई है. कहा कि ग्वालियर और अन्य जगहों पर छापेमारी के बाद प्रारंभिक जांच में पता चला है कि परमार के पास ग्वालियर-चंबल संभाग में डी.एड और बी.एड पाठ्यक्रम चलाने वाले 20 कॉलेज हैं. इन कॉलेजों से संबंधित दस्तावेजों की जांच की जा रही है.
शिक्षक बना शिक्षा माफिया: पुलिस उपाधीक्षक के अनुसार शिक्षक द्वारा अपने अब तक के कार्यकाल में 25 से 30 लाख की सैलरी मिली होगी. लेकिन असल में इनकी संपत्ति अभी तक 1000 गुना अधिक मिली है. इसके साथ ही इस कार्रवाई में यह भी पता लगा है कि इस सहायक शिक्षक के पास जो 20 कॉलेज हैं, उसमें नर्सिंग कॉलेज भी शामिल है. इसके अलावा एक मैरिज गार्डन और एक पब्लिक स्कूल भी है. फिलहाल, शिक्षक के चार ठिकाने नूराबाद, सत्यम टॉवर, सत्यम कॉरपोरेट और कोटेश्वर स्थित दफ्तर में EOW की टीम की कार्रवाई जारी है. जब कार्रवाई पूरी होगी तब जाकर पूरी संपत्ति का आकलन हो सकेगा.