नई दिल्ली : रक्षा मंत्रालय ने गुरुवार को फ्रांस से भारतीय नौसेना के लिए 26 राफेल लड़ाकू विमान और तीन स्कॉर्पीन श्रेणी की पारंपरिक पनडुब्बियां खरीदने की योजना को मंजूरी दे दी. रक्षा अधिकारियों ने बताया कि प्रस्तावों को रक्षा अधिग्रहण परिषद (डीएसी) की बैठक में मंजूरी दी गई. इस बैठक में रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह, चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ जनरल अनिल चौहान और तीनों सेनाओं के प्रमुख और वरिष्ठ अधिकारी शामिल हुए.
सूत्रों ने कहा कि सौदे की घोषणा प्रधान मंत्री मोदी की फ्रांस यात्रा के दौरान किए जाने की संभावना है. पीएम मोदी गुरुवार सुबह फ्रांस की दो दिवसीय यात्रा पर रवाना हुए. प्रस्तावों के अनुसार, भारतीय नौसेना को चार प्रशिक्षक विमानों के साथ 22 सिंगल सीटेड राफेल समुद्री विमान मिलेंगे. नौसेना इन लड़ाकू विमानों और पनडुब्बियों को तत्काल हासिल करने के लिए दबाव डाल रही है क्योंकि देश भर में सुरक्षा चुनौतियों के मद्देनजर बल को विमानों की कमी का सामना करना पड़ रहा है.
विमानवाहक पोत आईएनएस विक्रमादित्य और विक्रांत मिग-29 का संचालन कर रहे हैं. दोनों वाहकों पर परिचालन के लिए राफेल की जरूरत है. इस बीच, प्रोजेक्ट 75 के हिस्से के रूप में नौसेना रिपीट क्लॉज के तहत तीन स्कॉर्पीन श्रेणी की पनडुब्बियों का अधिग्रहण करेगी. इन्हें मुंबई में मझगांव डॉकयार्ड्स लिमिटेड में बनाया जाएगा. अनुमान है कि ये सौदे 90,000 करोड़ रुपये से अधिक के होंगे लेकिन अंतिम लागत अनुबंध वार्ता पूरी होने के बाद ही स्पष्ट होगी जो सौदे की घोषणा के बाद आयोजित की जाएगी.
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सूत्रों ने कहा कि भारत इस सौदे में डिस्काउंट की मांग कर सकता है. इसके साथ ही भारत योजना में अधिक 'मेक-इन-इंडिया' सामग्री रखने पर जोर देगा. उद्योग सूत्रों ने कहा कि राफेल-समुद्री सौदे के लिए दोनों देशों के बीच एक संयुक्त टीम बनायी जा सकती है. जैसा कि 36 लड़ाकू विमानों के पिछले राफेल सौदे के लिए किया गया था.
(एजेंसियां)