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इंटरनेट पर लोगों की निर्भरता से बढ़ेगा साइबर क्राइम : लखनऊ पुलिस कमिश्नर डीके ठाकुर - इंटरनेट पर लोगों की निर्भरता से बढ़ेगा साइबर क्राइम

लखनऊ पुलिस कमिश्नर डीके ठाकुर ने ईटीवी भारत से खास बातचीत की. उन्होंने कहा कि आने वाले समय में साइबर क्राइम के मामले बढ़ेंगे. अपराध होने पर पुलिस कर्मचारियों के लिए तुरंत कार्रवाई करना सबसे जरूरी है.

lucknow police commissioner dk thakur etv bharat
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Published : Dec 6, 2021, 8:23 PM IST

लखनऊ : ईटीवी भारत से खास बातचीत में लखनऊ पुलिस कमिश्नर (Lucknow Police Commissioner) डीके ठाकुर (DK Thakur) ने कहा कि पिछले ढाई दशकों में अपराधों का स्वरूप पूरी तरह बदल चुका है. अपराधों को नियंत्रित करने की पुलिस की शैली भी तकनीक के कारण बहुत तेजी से बदली है. पिछले 10 साल में सर्विलांस की भूमिका अहम हो गयी है.

साइबर क्राइम पर डीके ठाकुर ने कहा कि इंटरनेट पर लोगों की निर्भरता बढ़ रही है, इसलिए साइबर क्राइम आने वाले दिनों में बढ़ेगा. ऑनलाइन लेन-देन पर अपराधियों की नजर रहती है. कैश लेकर बेवकूफ या दो नंबर का काम करने वाले चलते हैं. उनके साथ ही लूट होती है. पांच साल पहले लूट की घटनाएं ज्यादा होती थी. कैश का लेन देने बढ़ने के कारण लूट की वारदात कम हुई हैं.

लखनऊ पुलिस कमिश्नर डीके ठाकुर से खास बातचीत.

पुलिस कमिश्नर ने कहा कि पहले अपराध जैसे कि मर्डर या लूट होते थे, तो पुलिस मुखबिर और पुराने अपराधी के नेटवर्क की बदौलत मामले का खुलासा करती थी. अब क्राइम होते ही सबसे पहले सर्विलांस की टीम को सक्रिय किया जाता है. पता लगाते हैं कि किससे किसकी बात हुई. सीसीटीवी सर्विलांस की भूमिका भी बहुत अहम है. कई बड़े और छोटे शहरो में भी सीसीटीवी कैमरे लग गए हैं. इनसे अपराधियों को पकड़ने में बहुत आसानी होती है.

डीके ठाकुर ने कहा कि विधानसभा चुनावों के दौरान शराब के मामले बढ़ते हैं. कुछ राजनीतिक पार्टियां और प्रत्याशी वोट पाने के लिए शराब वितरित करते हैं. अब सरकारी ठेकों पर शराब में मिलावट के कारण लोगों की मौत होती है. ऐसे इलाकों में आबकारी अधिकारी सक्रिय रहेंगे, तो ऐसे अपराधों को नियंत्रित किया जा सकता है. विधानसभा चुनाव को लेकर संवेदनशील मतदान केंद्रों और चुनाव के दौरान गड़बड़ी करने वालों को चिन्हित करने, लाइसेंसी शस्त्रों को जमा करने के लिए निर्देश दिए गये हैं.

पुलिस कमिश्नर ने कहा कि अब बहुत सी चीजें और लोगों की समस्याएं सोशल मीडिया के माध्यम से पता चलती हैं. पुलिसिंग में तेज कार्रवाई होना बेहद जरूरी है. पुलिस तुरंत कार्रवाई करती है, तो लोग संतुष्ट हो जाते हैं. अगर पुलिस किसी कारण से तुरंत कार्रवाई नहीं कर पाती, तो पीड़ित खुद बदला लेने की कोशिश करने लगता है.

आरोपी को लगता है कि अपराध करने के बाद भी उस पर कार्रवाई नहीं हुई तो वो पीड़ित पर और हावी होने की कोशिश करता है. वो और कुछ बड़ा करने पर विचार करने लगता है. इसलिए पुलिस के लिए जरूरी है कि जहां भी क्राइम हुआ है, वहां तुरंत पहुंचे और प्रभावी कार्रवाई करे.

पढ़ेंः पूर्व केंद्रीय गृह राज्य मंत्री स्वामी चिन्मयानंद पर दो साध्वियों ने लगाए गंभीर आरोप

लखनऊ : ईटीवी भारत से खास बातचीत में लखनऊ पुलिस कमिश्नर (Lucknow Police Commissioner) डीके ठाकुर (DK Thakur) ने कहा कि पिछले ढाई दशकों में अपराधों का स्वरूप पूरी तरह बदल चुका है. अपराधों को नियंत्रित करने की पुलिस की शैली भी तकनीक के कारण बहुत तेजी से बदली है. पिछले 10 साल में सर्विलांस की भूमिका अहम हो गयी है.

साइबर क्राइम पर डीके ठाकुर ने कहा कि इंटरनेट पर लोगों की निर्भरता बढ़ रही है, इसलिए साइबर क्राइम आने वाले दिनों में बढ़ेगा. ऑनलाइन लेन-देन पर अपराधियों की नजर रहती है. कैश लेकर बेवकूफ या दो नंबर का काम करने वाले चलते हैं. उनके साथ ही लूट होती है. पांच साल पहले लूट की घटनाएं ज्यादा होती थी. कैश का लेन देने बढ़ने के कारण लूट की वारदात कम हुई हैं.

लखनऊ पुलिस कमिश्नर डीके ठाकुर से खास बातचीत.

पुलिस कमिश्नर ने कहा कि पहले अपराध जैसे कि मर्डर या लूट होते थे, तो पुलिस मुखबिर और पुराने अपराधी के नेटवर्क की बदौलत मामले का खुलासा करती थी. अब क्राइम होते ही सबसे पहले सर्विलांस की टीम को सक्रिय किया जाता है. पता लगाते हैं कि किससे किसकी बात हुई. सीसीटीवी सर्विलांस की भूमिका भी बहुत अहम है. कई बड़े और छोटे शहरो में भी सीसीटीवी कैमरे लग गए हैं. इनसे अपराधियों को पकड़ने में बहुत आसानी होती है.

डीके ठाकुर ने कहा कि विधानसभा चुनावों के दौरान शराब के मामले बढ़ते हैं. कुछ राजनीतिक पार्टियां और प्रत्याशी वोट पाने के लिए शराब वितरित करते हैं. अब सरकारी ठेकों पर शराब में मिलावट के कारण लोगों की मौत होती है. ऐसे इलाकों में आबकारी अधिकारी सक्रिय रहेंगे, तो ऐसे अपराधों को नियंत्रित किया जा सकता है. विधानसभा चुनाव को लेकर संवेदनशील मतदान केंद्रों और चुनाव के दौरान गड़बड़ी करने वालों को चिन्हित करने, लाइसेंसी शस्त्रों को जमा करने के लिए निर्देश दिए गये हैं.

पुलिस कमिश्नर ने कहा कि अब बहुत सी चीजें और लोगों की समस्याएं सोशल मीडिया के माध्यम से पता चलती हैं. पुलिसिंग में तेज कार्रवाई होना बेहद जरूरी है. पुलिस तुरंत कार्रवाई करती है, तो लोग संतुष्ट हो जाते हैं. अगर पुलिस किसी कारण से तुरंत कार्रवाई नहीं कर पाती, तो पीड़ित खुद बदला लेने की कोशिश करने लगता है.

आरोपी को लगता है कि अपराध करने के बाद भी उस पर कार्रवाई नहीं हुई तो वो पीड़ित पर और हावी होने की कोशिश करता है. वो और कुछ बड़ा करने पर विचार करने लगता है. इसलिए पुलिस के लिए जरूरी है कि जहां भी क्राइम हुआ है, वहां तुरंत पहुंचे और प्रभावी कार्रवाई करे.

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