चंडीगढ़ : राज्य में हुए तीन नगर पालिका चुनावों में बीजेपी-जेजेपी गठबंधन को हार का सामना करना पड़ा है. यह हरियाणा में गठबंधन राजनीति के लिए तगड़ा सेटबैक माना जा रहा है. किसान कानून को लेकर चल रहे विरोध प्रदर्शनों के बीच यह परिणाम चाैंकाने वाले हैं. इसे लेकर विपक्षी दल बीजेपी पर हमलावर हो सकते हैं. सोनीपत नगर निगम से कांग्रेस के निखिल मदान ने बाजी मारी है और वो अब सोनीपत के मेयर होंगे. सोनीपत को भूपेंद्र सिंह हुड्डा का गढ़ माना जाता है और ये इस जीत के साथ एक बार फिर साबित हुआ है. निखिल मदान ने बीजेपी उम्मीदवार ललित बत्रा को हराया है.
चुनाव परिणाम में सबसे चाैंकाने वाला परिणाम सांपला नगर पालिका से आया है. यहां चेयरपर्सन पद के लिए निर्दलीय उम्मीदवार पूजा ने बाजी मारी है. पूजा ने बीजेपी प्रत्याशी सोनू को 4206 वोट से हराया है. वहीं अगर बात करें उकलाना नगर पालिका की तो वहां से चेयरपर्सन पद पर निर्दलीय उम्मीदवार सुशील साहू ने जीत हासिल की है.
सुशील साहू ने जेजेपी-बीजेपी गठबंधन उम्मीदवार महेंद्र सोनी को हराया है. इसके अलावा धारूहेड़ा से निर्दलीय उम्मीदवार कंवर सिंह ने जीत हासिल की है. कंवर सिंह ने जेजेपी-बीजेपी गठबंधन उम्मीदवार को 3048 वोटों से हराया है.
सोनीपत के नव निर्वाचित मेयर निखिल मदान यूथ कांग्रेस में सक्रिय हैं. कांग्रेस के वरिष्ठ नेता अजय माकन के दामाद हैं. निखिल मदान पिछले 6 साल से मेयर चुनाव के लिए तैयारी कर रहे थे. इसके अलावा निखिल मदान दीपेंद्र हुड्डा के काफी करीबी माने जाते हैं और भूपेंद्र हुड्डा से भी उनके रिश्ते काफी अच्छे हैं. यही वजह थी कि कांग्रेस ने उन्हें सोनीपत से मेयर उम्मीदवार बनाया था.
बता दें कि उनके चुनाव प्रचार में दीपेंद्र हुड्डा, भूपेंद्र हुड्डा और अजय माकन ने ताकत झोंकी थी. सोनीपत मेयर चुनाव में मिली हार के अलावा तीनों पालिका चुनावों में भी बीजेपी-जेजेपी गठबंधन को हार का सामना करना पड़ा है. सांपला नगर पालिका के चेयरपर्सन पद के लिए निर्दलीय उम्मीदवार पूजा ने बाजी मारी है.