कोलकाता : कोयला तस्करी मामले में तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) के पूर्व नेता विनय मिश्रा को झटका लगा है. कलकत्ता हाई कोर्ट (Calcutta High Court) ने विनय मिश्रा की कोयला तस्करी मामले में सीबीआई जांच को रद्द करने की याचिका खारिज कर दी है.
याचिका खारिज करते हुए हाई कोर्ट ने कहा कि इस मामले में अदालत द्वारा जांच में हस्तक्षेप की कोई गुंजाइश नहीं है, क्योंकि जांच अधिकारी अपना कर्तव्य पर्याप्त रूप से निभा रहे हैं.
केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) ने इसी साल फरवरी में कोयला और मवेशियों की तस्करी के एक मामले में पूरक आरोप-पत्र दायर किया था, जिसमें कोलकाता के कारोबारी विनय मिश्रा को आरोपी बनाया गया था.
मिश्रा को पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के भतीजे और तृणमूल कांग्रेस के सांसद अभिषेक बनर्जी का करीबी माना जाता है. आसनसोल में विशेष सीबीआई अदालत के समक्ष दायर अपने आरोप-पत्र में एजेंसी ने मिश्रा को फरार दिखाया था.
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सीबीआई ने 21 सितंबर 2020 को इस मामले की जांच संभाली थी. इसके बाद सीबीआई ने बीएसएफ की 36वीं बटालियन के कमांडेंट सतीश कुमार के अलावा इनामुल हक, अनारुल शेख, गुलाम मुस्तफा, तानिया सान्याल, बादल कृष्ण सान्याल और राशिदा बीबी के खिलाफ आरोप-पत्र दायर किया था.
जून में ही प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने अवैध कोयला खनन के संबंध में वेस्ट एंड पिगमेंट एंड केमिकल्स प्राइवेट लिमिटेड और मेसर्स देशप्रान प्रॉपर्टीज लिमिटेड के संयुक्त स्वामित्व वाली 6 करोड़ रुपये की संपत्ति कुर्क की थी. संपत्ति को अवैध कोयला खदान मामले के संबंध में कुर्क किया गया था, जो कि विनय मिश्रा से जुड़ी हुई थी.