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Centre Approves Renaming Of Aurangabad and Osmanabad : केंद्र ने औरंगाबाद और उस्मानाबाद शहरों के नाम बदलने को मंजूरी दी

केंद्र सरकार ने महाराष्ट्र के औरंगाबाद शहर का नाम बदलकर छत्रपति संभाजीनगर और उस्मानाबाद शहर का नाम धाराशिव करने के बारे में स्वीकृति प्रदान कर दी है. उक्त जानकारी उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस (Maharashtra Deputy CM Devendra Fadnavis) ने ट्वीटर पर दी.

Maharashtra Deputy CM Devendra Fadnavis
उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस
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Published : Feb 24, 2023, 10:51 PM IST

Updated : Feb 24, 2023, 10:57 PM IST

मुंबई : केंद्र सरकार ने महाराष्ट्र के औरंगाबाद शहर का नाम बदलकर 'छत्रपति संभाजीनगर' और उस्मानाबाद शहर का नाम 'धाराशिव' करने को स्वीकृति दे दी है. महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस (Maharashtra Deputy CM Devendra Fadnavis) ने ट्विटर पर यह खबर साझा की. औरंगाबाद का नाम मुगल शासक औरंगजेब पर, जबकि उस्मानाबाद का नाम हैदराबाद रियासत के 20वीं सदी के शासक के नाम पर रखा गया था.

  • ➡️ औरंगाबादचे ‘छत्रपती संभाजीनगर’,
    ➡️ उस्मानाबादचे ‘धाराशिव’ !
    राज्य सरकारच्या निर्णयाला केंद्र सरकारची मंजुरी !
    मा. पंतप्रधान नरेंद्र मोदीजी आणि केंद्रीय मंत्री मा. अमितभाई शाह यांचे कोटी-कोटी आभार!
    मुख्यमंत्री @mieknathshinde जी यांच्या नेतृत्त्वातील सरकारने ‘करुन दाखविले’...! pic.twitter.com/IfXbdFec7r

    — Devendra Fadnavis (@Dev_Fadnavis) February 24, 2023 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">

छत्रपति शिवाजी महाराज के सबसे बड़े बेटे छत्रपति संभाजी उनके पिता द्वारा स्थापित मराठा साम्राज्य के दूसरे शासक थे. संभाजी महाराज को 1689 में औरंगजेब के आदेश पर फांसी दे दी गयी थी. वहीं, कुछ विद्वानों के अनुसार उस्मानाबाद के समीप एक गुफा धाराशिव आठवीं सदी की है. हिंदू दक्षिणपंथी संगठन इन दो शहरों के नाम बदलने की मांग लंबे समय से कर रहे थे.

फडणवीस ने गृह मंत्रालय द्वारा राज्य के सामान्य प्रशासन विभाग के उप सचिव को 24 फरवरी को लिखे दो पत्र ट्वीट किए. पत्रों में कहा गया है कि केंद्र को मध्य महाराष्ट्र के इन दो शहरों के नाम बदलने पर कोई आपत्ति नहीं है. फडणवीस ने इस फैसले के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृह मंत्री अमित शाह का आभार जताया. उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे की अगुवाई वाली राज्य सरकार ने 'वह कर दिखाया, जिसका वादा किया था.

गौरतलब है कि औरंगाबाद का नाम संभाजीनगर और उस्मानाबाद का नाम धाराशिव करने का फैसला शिवसेना-राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी-कांग्रेस सरकार के मंत्रिमंडल का आखिरी निर्णय था. एकनाथ शिंदे नीत नयी सरकसार ने मंत्रिमंडल के उस फैसले को रद्द कर दिया था और इस बारे में नए सिरे से फैसला किया था.

ये भी पढ़ें - Case on Uddhav Thackeray family: 19 बंगला घोटाले केस में उद्धव ठाकरे परिवार के खिलाफ केस दर्ज

(पीटीआई-भाषा)

मुंबई : केंद्र सरकार ने महाराष्ट्र के औरंगाबाद शहर का नाम बदलकर 'छत्रपति संभाजीनगर' और उस्मानाबाद शहर का नाम 'धाराशिव' करने को स्वीकृति दे दी है. महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस (Maharashtra Deputy CM Devendra Fadnavis) ने ट्विटर पर यह खबर साझा की. औरंगाबाद का नाम मुगल शासक औरंगजेब पर, जबकि उस्मानाबाद का नाम हैदराबाद रियासत के 20वीं सदी के शासक के नाम पर रखा गया था.

  • ➡️ औरंगाबादचे ‘छत्रपती संभाजीनगर’,
    ➡️ उस्मानाबादचे ‘धाराशिव’ !
    राज्य सरकारच्या निर्णयाला केंद्र सरकारची मंजुरी !
    मा. पंतप्रधान नरेंद्र मोदीजी आणि केंद्रीय मंत्री मा. अमितभाई शाह यांचे कोटी-कोटी आभार!
    मुख्यमंत्री @mieknathshinde जी यांच्या नेतृत्त्वातील सरकारने ‘करुन दाखविले’...! pic.twitter.com/IfXbdFec7r

    — Devendra Fadnavis (@Dev_Fadnavis) February 24, 2023 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">

छत्रपति शिवाजी महाराज के सबसे बड़े बेटे छत्रपति संभाजी उनके पिता द्वारा स्थापित मराठा साम्राज्य के दूसरे शासक थे. संभाजी महाराज को 1689 में औरंगजेब के आदेश पर फांसी दे दी गयी थी. वहीं, कुछ विद्वानों के अनुसार उस्मानाबाद के समीप एक गुफा धाराशिव आठवीं सदी की है. हिंदू दक्षिणपंथी संगठन इन दो शहरों के नाम बदलने की मांग लंबे समय से कर रहे थे.

फडणवीस ने गृह मंत्रालय द्वारा राज्य के सामान्य प्रशासन विभाग के उप सचिव को 24 फरवरी को लिखे दो पत्र ट्वीट किए. पत्रों में कहा गया है कि केंद्र को मध्य महाराष्ट्र के इन दो शहरों के नाम बदलने पर कोई आपत्ति नहीं है. फडणवीस ने इस फैसले के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृह मंत्री अमित शाह का आभार जताया. उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे की अगुवाई वाली राज्य सरकार ने 'वह कर दिखाया, जिसका वादा किया था.

गौरतलब है कि औरंगाबाद का नाम संभाजीनगर और उस्मानाबाद का नाम धाराशिव करने का फैसला शिवसेना-राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी-कांग्रेस सरकार के मंत्रिमंडल का आखिरी निर्णय था. एकनाथ शिंदे नीत नयी सरकसार ने मंत्रिमंडल के उस फैसले को रद्द कर दिया था और इस बारे में नए सिरे से फैसला किया था.

ये भी पढ़ें - Case on Uddhav Thackeray family: 19 बंगला घोटाले केस में उद्धव ठाकरे परिवार के खिलाफ केस दर्ज

(पीटीआई-भाषा)

Last Updated : Feb 24, 2023, 10:57 PM IST

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