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महाराष्ट्र में 'दंगों की प्रयोगशाला' खोलने की कोशिश कर रही है भाजपा : शिवसेना (उद्धव)

महाराष्ट्र में पिछले शनिवार और रविवार को क्रमश: अकोला शहर और अहमदनगर जिले के शेवगांव गांव में सांप्रदायिक झड़पें हुई थीं, जिनमें एक व्यक्ति की मौत हो गई थी और 13 अन्य घायल हो गए थे.

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Published : May 17, 2023, 1:58 PM IST

Etv Bharat BJP trying to open riot laboratory says Shiv Sena
Etv Bharat उद्धव ठाकरे के नेतृत्व वाली शिवसेना यूबीटी

मुंबई: उद्धव ठाकरे के नेतृत्व वाली शिवसेना (यूबीटी) ने बुधवार को सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) पर आरोप लगाया कि वह महाराष्ट्र में सामाजिक शांति भंग करने और मतदाताओं के ध्रुवीकरण के लिए 'दंगों की प्रयोगशाला' खोलने की कोशिश कर रही है. शिवसेना (यूबीटी) के मुखपत्र ‘सामना’ में प्रकाशित एक संपादकीय में कहा गया है कि हो सकता है कि वे समाज को विभाजित करके चुनाव लड़ना चाहते हों, जैसे उन्होंने महाराष्ट्र में सरकार बनाने के लिए 'शिवसेना को तोड़ दिया.'

पार्टी का इशारा एकनाथ शिंदे के नेतृत्व में कुछ शिवसेना विधायकों द्वारा पिछले साल की गई बगावत की तरफ था, जिससे महाराष्ट्र में उद्धव ठाकरे नीत महा विकास आघाडी (एमवीए) सरकार गिर गई थी और शिंदे भाजपा के समर्थन से राज्य के नए मुख्यमंत्री बने थे. 'सामना' में प्रकाशित संपादकीय में कहा गया है कि राज्य के लोगों को सतर्क हो जाना चाहिए, क्योंकि वे उन लोगों से घिरे हुए हैं, जो संविधान, राष्ट्रीय एकता और धार्मिक सह-अस्तित्व की भावना को दरकिनार कर सत्ता पाने की लालसा रखते हैं.

महाराष्ट्र में पिछले शनिवार और रविवार को क्रमश: अकोला शहर और अहमदनगर जिले के शेवगांव गांव में सांप्रदायिक झड़पें हुई थीं, जिनमें एक व्यक्ति की मौत हो गई थी और 13 अन्य घायल हो गए थे. एक अन्य घटना में, एक अलग धर्म के सदस्यों ने कथित तौर पर नासिक जिले के प्रसिद्ध त्र्यंबकेश्वर मंदिर में जबरन घुसने की कोशिश की, जिसके बाद राज्य सरकार ने मामले की जांच के लिए विशेष जांच दल (एसआईटी) का गठन किया था.

संपादकीय में दावा किया गया है कि जब से एकनाथ शिंदे-देवेंद्र फडणवीस की गठबंधन सरकार सत्ता में आई है, तब से राज्य लगातार धार्मिक और सामाजिक तनाव का गवाह बन रहा है. इसमें आरोप लगाया गया है, 'महाराष्ट्र में भाजपा और उसके समर्थक 'दंगों की प्रयोगशाला' बनाकर सामाजिक शांति को भंग करने और मतदाताओं का ध्रुवीकरण करने की कोशिश कर रहे हैं.' संपादकीय में कहा गया है, 'कुछ मुद्दों को आपसी समझ से सुलझाया जा सकता है, लेकिन ऐसा लगता है कि वे समाज को विभाजित करके चुनाव लड़ना चाहते हैं, जैसे उन्होंने महाराष्ट्र में सरकार बनाने के लिए शिवसेना को तोड़ दिया था.'

पढ़ें: Maharashtra News: शिवसेना सांसद संजय राउत के खिलाफ नासिक में एफआईआर दर्ज, सुप्रीम कोर्ट के फैसले पर दिया भड़काऊ भाषण

इसमें कहा गया है कि अकोला, शेवगांव और नासिक में हुई हालिया घटनाएं चिंता का सबब हैं. संपादकीय में दावा किया गया है कि महाराष्ट्र में राजनीतिक कारणों से जानबूझकर सामाजिक तनाव पैदा किया जा रहा है और ऐसा व्यवस्थित एवं योजनाबद्ध तरीके से किया जा रहा है. इसमें कहा गया है, 'उप मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस के यह कहने के बावजूद कि वह मुख्य साजिशकर्ता का पर्दाफाश करेंगे, इस दिशा में कुछ भी नहीं हुआ है.'

पीटीआई-भाषा

मुंबई: उद्धव ठाकरे के नेतृत्व वाली शिवसेना (यूबीटी) ने बुधवार को सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) पर आरोप लगाया कि वह महाराष्ट्र में सामाजिक शांति भंग करने और मतदाताओं के ध्रुवीकरण के लिए 'दंगों की प्रयोगशाला' खोलने की कोशिश कर रही है. शिवसेना (यूबीटी) के मुखपत्र ‘सामना’ में प्रकाशित एक संपादकीय में कहा गया है कि हो सकता है कि वे समाज को विभाजित करके चुनाव लड़ना चाहते हों, जैसे उन्होंने महाराष्ट्र में सरकार बनाने के लिए 'शिवसेना को तोड़ दिया.'

पार्टी का इशारा एकनाथ शिंदे के नेतृत्व में कुछ शिवसेना विधायकों द्वारा पिछले साल की गई बगावत की तरफ था, जिससे महाराष्ट्र में उद्धव ठाकरे नीत महा विकास आघाडी (एमवीए) सरकार गिर गई थी और शिंदे भाजपा के समर्थन से राज्य के नए मुख्यमंत्री बने थे. 'सामना' में प्रकाशित संपादकीय में कहा गया है कि राज्य के लोगों को सतर्क हो जाना चाहिए, क्योंकि वे उन लोगों से घिरे हुए हैं, जो संविधान, राष्ट्रीय एकता और धार्मिक सह-अस्तित्व की भावना को दरकिनार कर सत्ता पाने की लालसा रखते हैं.

महाराष्ट्र में पिछले शनिवार और रविवार को क्रमश: अकोला शहर और अहमदनगर जिले के शेवगांव गांव में सांप्रदायिक झड़पें हुई थीं, जिनमें एक व्यक्ति की मौत हो गई थी और 13 अन्य घायल हो गए थे. एक अन्य घटना में, एक अलग धर्म के सदस्यों ने कथित तौर पर नासिक जिले के प्रसिद्ध त्र्यंबकेश्वर मंदिर में जबरन घुसने की कोशिश की, जिसके बाद राज्य सरकार ने मामले की जांच के लिए विशेष जांच दल (एसआईटी) का गठन किया था.

संपादकीय में दावा किया गया है कि जब से एकनाथ शिंदे-देवेंद्र फडणवीस की गठबंधन सरकार सत्ता में आई है, तब से राज्य लगातार धार्मिक और सामाजिक तनाव का गवाह बन रहा है. इसमें आरोप लगाया गया है, 'महाराष्ट्र में भाजपा और उसके समर्थक 'दंगों की प्रयोगशाला' बनाकर सामाजिक शांति को भंग करने और मतदाताओं का ध्रुवीकरण करने की कोशिश कर रहे हैं.' संपादकीय में कहा गया है, 'कुछ मुद्दों को आपसी समझ से सुलझाया जा सकता है, लेकिन ऐसा लगता है कि वे समाज को विभाजित करके चुनाव लड़ना चाहते हैं, जैसे उन्होंने महाराष्ट्र में सरकार बनाने के लिए शिवसेना को तोड़ दिया था.'

पढ़ें: Maharashtra News: शिवसेना सांसद संजय राउत के खिलाफ नासिक में एफआईआर दर्ज, सुप्रीम कोर्ट के फैसले पर दिया भड़काऊ भाषण

इसमें कहा गया है कि अकोला, शेवगांव और नासिक में हुई हालिया घटनाएं चिंता का सबब हैं. संपादकीय में दावा किया गया है कि महाराष्ट्र में राजनीतिक कारणों से जानबूझकर सामाजिक तनाव पैदा किया जा रहा है और ऐसा व्यवस्थित एवं योजनाबद्ध तरीके से किया जा रहा है. इसमें कहा गया है, 'उप मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस के यह कहने के बावजूद कि वह मुख्य साजिशकर्ता का पर्दाफाश करेंगे, इस दिशा में कुछ भी नहीं हुआ है.'

पीटीआई-भाषा

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