नई दिल्ली : महाराष्ट्र के पालघर में 16 अप्रैल की रात दो संत समेत तीन लोगों की भीड़ द्वारा हत्या कर दी गई. इस मामले को लेकर आज विश्व हिन्दू परिषद (विहिप) ने राष्ट्रपति को पत्र भेजा है. पत्र में पूरे मामले की जांच केंद्रीय एजेंसी द्वारा कराए जाने की मांग की गई है.
विहिप के अध्यक्ष वीएस कोक्जे और महामंत्री मिलिंद परांडे द्वारा राष्ट्रपति कोविंद को भेजे गए इस पत्र में पालघर में हुई घटना को एक बार फिर सुनियोजित षड्यंत्र बताया गया है.
गौरतलब है कि जूना अखाड़ा के दो संत एक अंतिम संस्कार में हिस्सा लेने के लिये गुजरात जा रहे थे जब महाराष्ट्र के पालघर क्षेत्र में 16 अप्रैल की रात को भीड़ द्वारा पीट पीट कर उनकी हत्या कर दी गई थी. इस घटना में उनके गाड़ी के चालक की भी हत्या कर दी गई थी. पत्र में पूरे घटना का विवरण और प्रत्यक्षदर्शी के द्वारा बताए गए तथ्यों को भी रखा गया है.
विश्व हिन्दू परिषद ने राज्य सरकार पर मामले को गंभीरता से न लेने का आरोप लगाते हुए कहा है कि लगातार सरकार और राज्य की पुलिस इस मामले को एक गलतफहमी की वजह से हुई घटना करार दे रही है, लेकिन ऐसा नहीं है.
विहिप ने लिखा है कि पालघर के उस इलाके में लगातार कुछ राजनीतिक और गैर राजनीतिक संगठन हिंदुओं के खिलाफ षड्यंत्र कर अपना वर्चस्व बनाए रखते हैं. पत्र में 'क्रिश्चन मिशनरी और मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी का जिक्र किया गया है और यह भी लिखा गया है कि स्थानीय विधायक भी वामपंथी पार्टी का ही है.'
पालघर मामले में पांच और गिरफ्तार, सभी को सीआईडी हिरासत में भेजा गया
विहिप ने राष्ट्रपति से मांग की है कि वह इस मामले में केंद्र सरकार को जल्द से जल्द किसी केंद्रीय एजेंसी को मामले की त्वरित जांच कराने का निर्देश दें ताकि दोषियों को खिलाफ कड़ी कारवाई हो सके. हालांकि पूरे मामले में महाराष्ट्र पुलिस द्वारा 115 लोग गिरफ्तार किए जा गए हैं.