सोफिया एंटीपोलिस : एक स्मार्टफोन ऐप द्वारा वॉयस विश्लेषण हार्ट फैलियर (ह्रदयपात) के रोगियों के फेफड़ों में जमाव की पहचान की जा सकती है, जिससे मरीजों की स्थिति बिगड़ने से पहले उसे ठीक करने में मदद मिलती है. यह ऐप रोगी की आवाज रिकॉर्ड कर इस बात का पता लगाएगा कि उसकी हालात कैसी है.
एक अध्ययन को आज यूरोपीय सोसायटी ऑफ कार्डियोलॉजी (ईएससी) के वैज्ञानिक प्लेटफॉर्म एचएफए डिस्कवरीज द्वारा प्रस्तुत किया गया है.
इजराइल में यरुशलम के हार्ट इंस्टीट्यूट हाडासाह मेडिकल सेंटर के निदेशक और लेखक प्रोफेसर प्रस्ताव आमिर ने कहा कि परीक्षण के दौरान शोधकर्ताओं ने पाया कि प्रौद्योगिकी सफलतापूर्वक प्रवेश के समय जमाव वाली स्थिति और डिस्चार्ज के समय नॉन कंजेस्टिड वाली स्थिति के बीच प्रतिष्ठित होती है.
आज हम पहले आसान उपयोग के परिणामों की रिपोर्ट देखते हैं, जिसे नॉन-इनवेसिव, व्यक्तिगत ह्रदयपात निगरानी उपकरण से जांचा गया है. इसके लिए प्रत्येक दिन 30 सेकंड की एक सरल रिकॉर्डिंग की आवश्यकता होती है. उन्होंने यह भी कहा कि इस ऐप/सिस्टम का उपयोग घर पर भी किया जा सकता है.
ऐप को स्मार्ट फोन में डाउनलोड किया जा सकता है और फोन में वॉयस रिकॉर्डिंग जमा की जा सकती है. स्वस्थ आवाज के साथ नियमित आधार पर तुलना की जाएगी और यदि कोई गड़बड़ होती है, तो चिकित्सकों को सतर्क किया जाएगा.
प्रो आमिर ने कोरोना वायरस के जोखिम को कम करने के लिए दूरस्थ निगरानी के महत्व को उजागर करते हुए कहा कि वर्तमान कोविड-19 महामारी में स्वास्थ्य सेवा पेशेवर ह्रदयपात के रोगियों के लिए मेडिसिन प्लेटफॉर्म पर कई आउट पेशेंट से मिल रहे हैं.
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याद रखें, ह्रदयपात वाले रोगियों में सांस की तकलीफ सबसे आम लक्षण हैं, जो फेफड़ों में जमाव के कारण होती है और समय पर इसकी पहचान आवश्यक है, अन्यथा यह घातक हो सकता है.
फेफड़े के जमाव पैटर्न में सूक्ष्म परिवर्तन का कारण होता है, जो नैदानिक स्थिति का आकलन करने के लिए एक उपकरण हो सकता है.