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अमित शाह एक अक्टूबर को कोलकाता में NRC और नागरिक संशोधन विधेयक पर रखेंगे अपनी बात - सभा को एनआरसी पर संबोधन

केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह एक अक्टूबर को एनआरसी और नागरिक संशोधन विधेयक पर अपनी बात रखेंगे. ममता का कहना है कि पश्चिम बंगाल में किसी भी परिस्थिति में एनआरसी लागू नहीं होगा.

ममता बनर्जी और अमित शाह (फाइल फोटो)
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Published : Sep 24, 2019, 2:52 PM IST

Updated : Oct 1, 2019, 7:56 PM IST

कोलकाता: केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह 1 अक्टूबर को राष्ट्रीय नागरिक रजिस्टर (NRC) और नागरिकता संशोधन विधेयक पर कोलकाता में संबोधन करेंगे.

दरअसल अमित शाह नेताजी इंडोर स्टेडियम (कोलकाता) में आयोजित एक सभा को एनआरसी पर संबोधित करेंगे. बता दें, हाल ही में 18 सितंबर को पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी और अमित शाह के बीच दिल्ली में बैठक हुई थी. इसके बाद एनआरसी पर यह कार्यक्रम आयोजित किया जा रहा है.

संबंधित खबर- ममता की मोदी-शाह से मुलाकात पर विजयवर्गीय का तंज, 'आया ऊंट पहाड़ के नीचे'

हालांकि राज्य की मुख्यमंत्री ने सोमवार को कहा था कि नेशनल रजिस्टर ऑफ सिटिजन्स (NRC) के कारण छह लोगों की मौत हो गई है. साथ ही यह ऐलान भी किया था किसी भी परिस्थिति में वह एनआरसी राज्य में लागू नहीं होने देंगी.

उन्होंने कोलकाता में एक ट्रेड यूनियन की बैठक के दौरान बात बोली थीं.

बकौल ममता, 'मुझे दुख है कि NRC के दहशत से बंगाल में 6 लोगों की मौत हो गई है. हम एनआरसी को यहां कभी भी नहीं आने देंगे. कृपया आप सभी मुझ पर विश्वास करें.'

उल्लेखनीय है कि असम में 31 अगस्त को प्रकाशित अंतिम एनआरसी सूची में कुल 3,11,21,004 व्यक्तियों को शामिल करने के योग्य पाया गया. सूची में 19,06,657 लोगों का नाम नही है. इन सभी का कागजात गलत पाए गए थे.

इसे भी पढे़ं- ममता को शाह से उम्मीद, बोलीं- उनकी मांगों को पूरा करेगी केंद्र

गौरतलब है कि इस सूची का उद्देश्य असम में रह रहे मूल भारतीय नागरिकों का पहचान करना है और अवैध बांग्लादेशी घुसपैठियों को अलग करना है.

कोलकाता: केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह 1 अक्टूबर को राष्ट्रीय नागरिक रजिस्टर (NRC) और नागरिकता संशोधन विधेयक पर कोलकाता में संबोधन करेंगे.

दरअसल अमित शाह नेताजी इंडोर स्टेडियम (कोलकाता) में आयोजित एक सभा को एनआरसी पर संबोधित करेंगे. बता दें, हाल ही में 18 सितंबर को पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी और अमित शाह के बीच दिल्ली में बैठक हुई थी. इसके बाद एनआरसी पर यह कार्यक्रम आयोजित किया जा रहा है.

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हालांकि राज्य की मुख्यमंत्री ने सोमवार को कहा था कि नेशनल रजिस्टर ऑफ सिटिजन्स (NRC) के कारण छह लोगों की मौत हो गई है. साथ ही यह ऐलान भी किया था किसी भी परिस्थिति में वह एनआरसी राज्य में लागू नहीं होने देंगी.

उन्होंने कोलकाता में एक ट्रेड यूनियन की बैठक के दौरान बात बोली थीं.

बकौल ममता, 'मुझे दुख है कि NRC के दहशत से बंगाल में 6 लोगों की मौत हो गई है. हम एनआरसी को यहां कभी भी नहीं आने देंगे. कृपया आप सभी मुझ पर विश्वास करें.'

उल्लेखनीय है कि असम में 31 अगस्त को प्रकाशित अंतिम एनआरसी सूची में कुल 3,11,21,004 व्यक्तियों को शामिल करने के योग्य पाया गया. सूची में 19,06,657 लोगों का नाम नही है. इन सभी का कागजात गलत पाए गए थे.

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गौरतलब है कि इस सूची का उद्देश्य असम में रह रहे मूल भारतीय नागरिकों का पहचान करना है और अवैध बांग्लादेशी घुसपैठियों को अलग करना है.

Last Updated : Oct 1, 2019, 7:56 PM IST
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