नई दिल्ली: देश में कांग्रेस की स्थिति पर पार्टी के वरिष्ठ नेता संदिप दीक्षित ने कहा कि यह सब तो चलता ही रहता है. नए लोगों के आने से पार्टी में उर्जा आती है. ईटीवी भारत ने इन सब विषयों पर उनसे खास बातचीत की.
दरअसल आम चुनाव के बाद से ही पार्टी में भगदड़ मचा हुआ है. इसी कड़ी में मंगलवार को ही महाराष्ट्र कांग्रेस के कद्दावर नेता कृपाशंकर और अभिनेत्री उर्मिला मातोंडकर ने भी पार्टी छोड़ दी.
कांग्रेस पार्टी में हर रोज विवाद और नेताओं की पार्टी छोड़ने की खबरे आती रहती हैं.
इस मसले पर कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और दिल्ली की पूर्व मुख्यमंत्री शीला दीक्षित के पुत्र संदीप दीक्षित से ईटीवी भारत से बातचीत हुई.
उनके अनुसार जो व्यापार की दृष्टि से कांग्रेस में आए थे, यूं ही जाते रहेंगे.
दरअसल दीक्षित का इशारा उर्मिला मातोंडकर और कृपाशंकर की तरफ था.
कांग्रेस सुप्रीमो सोनिया गांधी से मिलने के बाद संदीप दीक्षित ने कहा, 'भाजपा व्यापारियों की पार्टी है. वह हर चीज का व्यापार करती है. कभी भगवान का कभी धर्म , कभी नेता का व्यापार करती है. उन्होंने कहा कि बीजेपी विचारधाराओं का भी व्यापार करती है लेकिन कांग्रेस के साथ ऐसा नहीं है. अब जिन्हें बीजेपी सूट करती है वह वहां जाएंगे.
दीक्षित का बयान इस समय इसलिए अधिक मायने रखता हैं क्योंकि उर्मिला मातोंडकर के कांग्रेस छोड़ दिया है.
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बता दें, लोकसभा चुनाव के दौरान उर्मिला मातोंडकर को तामझाम के साथ दिल्ली में लॉन्च कराया गया था. कांग्रेस मुख्यालय में संजय निरुपम उर्मिला मातोंडकर लेकर आए और प्रेस के बीच कैमरे की चकाचौंध में पार्टी की सदस्यता दिलाई गई थी. कुछ ही महीने में मातोंडकर का पार्टी छोड़कर जाना कांग्रेस के लिए अच्छी खबर नही है.
हालांकि संदीप दीक्षित ने सोनिया गांधी से मुलाकात को औपचारिक बताया. उन्होंने दिल्ली पर कोई बात नहीं है. जानकारी के अनुसार सोनिया ने आज कांग्रेस के वरिष्ठ नेता शशि थरूर और महाराष्ट्र कांग्रेस के अध्यक्ष एकनाथ गायकवाड को भी 10 जनपद बुलाया था.
बताया जा रहा है कि सोनिया की नाराजगी इस बात को लेकर भी है की पार्टी के नेता और उल-जलूल बयानबाजी कर रहे हैं, जिससे पार्टी की छवि खराब हो रही है.
इसके साथ कांग्रेस के लिए बड़ा झटका पूर्व महाराष्ट्र अध्यक्ष कृपाशंकर का पार्टी छोड़ना भी है.
मराठी कृपाशंकर का अच्छा-खासा महाराष्ट्र कांग्रेस में दबदबा रहा था. लेकिन इस मसले पर संदीप दीक्षित कहते हैं, '370 का बहाना बनाकर, जो लोग पार्टी छोड़ रहे हैं उनका अपना स्वार्थ हैं. ऐसे लोगों से कोई उम्मीद नहीं की जा सकती है.'
कांग्रेस छोड़ रहे पार्टी नेताओं पर कटाक्ष करते हुए संदीप दीक्षित ने कहा, 'भारतीय जनता पार्टी व्यापारियों की पार्टी रही है. उसका उद्देश्य सामान बेचना और सामान खरीदना रहा है. विचारधारा से उनका कोई मतलब नहीं, ऐसे ही लोग कांग्रेस के विचारधारा के नही थे. व्यापार करना इनका उद्देश्य है. वह कांग्रेस में नहीं टिक सकते है. क्योंकि कांग्रेस एक विचारधारा वाली पार्टी है.'
बकौल दीक्षित, 'कांग्रेस पार्टी के अंदर कोई भगदड़ नहीं. बस वह लोग भाग रहे हैं, जो किसी लाभ के उद्देश्य से खरीद-बेच करने पार्टी में आए थे.'
इस दौरान उनसे मध्यप्रदेश में ज्योतिरादित्य सिंधिया की नाराजगी पर पुछा गया तो संदीप दीक्षित ने कहा, 'कांग्रेस पार्टी एक बड़ी पार्टी है. समस्याएं आती है उसका समाधान करने में भी वक्त लगता है. सिंधिया जी का भी मामला संतोषजनक तरीके से सुलझा लिया जाएगा.'
'कांग्रेस में कोई कुछ बनने नहीं आता. यह विचारधाराओं की पार्टी है. 70 साल में ऐसे बहुत सारे वक्त आए हैं. संदीप दीक्षित ने कहा कि अभी कांग्रेस को साख बनाए रखने का सवाल है, उठकर पुनर्जीवित होने का सवाल है.