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राहुल के घर हलचल तेज, 'बने रहेंगे कांग्रेस अध्यक्ष' ? - प्रियंका और अहमद पटेल

कांग्रेस पार्टी में आंतरिक घमासान अभी थमा नहीं है. कई राज्य प्रमुख इस्तीफा दे चुके हैं. पार्टी ने अभी तक ये तय नहीं किया है कि राहुल गांधी पद पर बने रहें या छोड़ दें. अभी तक किसी नेता ने खुलकर राहुल गांधी से इस्तीफा नहीं मांगा है. जानें, आखिरकार राहुल को मनाने में किसने निभाई है प्रमुख भूमिका.

सोनिया गांधी के साथ राहुल गांधी (फाइल फोटो)
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Published : May 28, 2019, 12:35 PM IST

Updated : May 28, 2019, 2:21 PM IST

नई दिल्ली: लोकसभा चुनाव में मिली करारी हार के बाद कांग्रेस पार्टी में आंतरिक घमासान मचा हुआ है. कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी की स्थिति को लेकर भ्रम की स्थिति बनी हुई है. कभी ये खबर आती है कि वे अपने इस्तीफे पर अड़े हुए हैं, तो कभी इसका खंडन चला आता है. मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक प्रियंका गांधी और अहमद पटेल ने राहुल को पद ना छोड़ने पर सहमत कर लिया है.

मंगलवार को राहुल गांधी से प्रियंका गांधी ने मुलाकात की है. उनके साथ पार्टी के मीडिया प्रमुख रणदीप सुरजेवाला भी थे. खबरों के मुताबिक आज शाम राहुल गांधी ने सीनियर नेताओं की बैठक बुलाई है. उसके बाद संभव है इन सारी स्थितियों से पर्दा हट सकेगा.

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प्रियंका और सचिन पायलट राहुल के घर पर

एक दिन पहले यानि सोमवार को राहुल गांधी ने किसी भी नेताओं से मुलाकात नहीं की. कहा जाता है कि राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत उनसे मिलना चाहते थे, लेकिन राहुल इसके लिए तैयार नहीं हुए. केसी वेणुगोपाल से मुलाकात के बाद गहलोत लौट गए. सचिन पायलट भी राहुल से मिलना चाहते थे, लेकिन उनसे भी मुलाकात के लिए राहुल तैयार नहीं हुए.

अभी तक कई स्टेट प्रमुख इस्तीफे की पेशकश कर चुके हैं. लेकिन जब तक राहुल को लेकर कोई अंतिम फैसला नहीं हो जाता है, तब तक इन इस्तीफों पर कोई विचार नहीं हो सकता है.

इस्तीफा देनेवालों में पंजाब कांग्रेस अध्योक्ष सुनील जाखड़, उत्तरप्रदेश यूनिट के अध्यक्ष राज बब्बर, दिल्ली से शीला दीक्षित, झारखंड से अजय कुमार शामिल हैं.

हार के बाद प्राथमिक समीक्षा के लिए जब सीडब्लूसी की बैठक हुई, तो ऐसा माना जाता है कि राहुल ने सीनियर नेताओं की कार्यशैली और उनकी कार्यक्षमता को लेकर नाराजगी जाहिर की. खासतौर पर 'पुत्रमोह' के विषय पर वे जमकर बरसे हैं. हालांकि, आधिकारिक तौर पर इस विषय को लेकर किसी कांग्रेस नेता ने कोई बात नहीं कही है. सभी अटकलें मीडिया रिपोर्ट पर आधारित हैं.

सचिन पायलट के बाद राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत राहुल से मिलने पहुंचे लेकिन वह मीडिया से बातचीत किये बिना वहां से चले गए.

कयास लगाए जा रहे हैं कि राजस्थान में पार्टी की भारी हार से राहुल नाराज हैं. राजस्थान के मुख्यमंत्री पर आरोप है कि उन्होंने पुत्र मोह में पार्टी की बलि दे दी.

राहुल के घर के बाहर जाते हुए अशोक गहलोत

गौरतलब है, राजस्थान में हाल ही में कांग्रेस की सरकार बनी थी लेकिन अब वहां पार्टी का पूरा सूपड़ा साफ हो गया है.
आपको बता दें, राहुल ने सचिन पायलट और गहलोत से अलग-अलग मुलाकात की. यह बात अपने आप में संदेश है कि राहुल गांधी राजस्थान पर कोई बड़ा फैसला लेने वाले हैं.

वहीं इस संबंध में कांग्रेस नेता प्रमोद तिवारी ने कहा कि हम चाहते हैं कि राहुल गांधी अपना इस्तीफा वापस ले और इसके लिए हमने उनसे अनुरोध किया है.

उन्होंने कहा कि मेरी प्रियंका गांधी से बातचीत हुई. हमने उनके माध्यम से अपनी ये बात राहुल तक पहुंचाई है.

कांग्रेस नेता प्रमोदी तिवारी से हुई बातचीत

उन्होंने कहा है कि कांग्रेस ने यह दौर कई बार देखा है. हम चाहते हैं राहुल गांधी अपने पद पर बने रहें क्योंकि पार्टी को उनकी जरूरत है.

नई दिल्ली: लोकसभा चुनाव में मिली करारी हार के बाद कांग्रेस पार्टी में आंतरिक घमासान मचा हुआ है. कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी की स्थिति को लेकर भ्रम की स्थिति बनी हुई है. कभी ये खबर आती है कि वे अपने इस्तीफे पर अड़े हुए हैं, तो कभी इसका खंडन चला आता है. मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक प्रियंका गांधी और अहमद पटेल ने राहुल को पद ना छोड़ने पर सहमत कर लिया है.

मंगलवार को राहुल गांधी से प्रियंका गांधी ने मुलाकात की है. उनके साथ पार्टी के मीडिया प्रमुख रणदीप सुरजेवाला भी थे. खबरों के मुताबिक आज शाम राहुल गांधी ने सीनियर नेताओं की बैठक बुलाई है. उसके बाद संभव है इन सारी स्थितियों से पर्दा हट सकेगा.

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प्रियंका और सचिन पायलट राहुल के घर पर

एक दिन पहले यानि सोमवार को राहुल गांधी ने किसी भी नेताओं से मुलाकात नहीं की. कहा जाता है कि राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत उनसे मिलना चाहते थे, लेकिन राहुल इसके लिए तैयार नहीं हुए. केसी वेणुगोपाल से मुलाकात के बाद गहलोत लौट गए. सचिन पायलट भी राहुल से मिलना चाहते थे, लेकिन उनसे भी मुलाकात के लिए राहुल तैयार नहीं हुए.

अभी तक कई स्टेट प्रमुख इस्तीफे की पेशकश कर चुके हैं. लेकिन जब तक राहुल को लेकर कोई अंतिम फैसला नहीं हो जाता है, तब तक इन इस्तीफों पर कोई विचार नहीं हो सकता है.

इस्तीफा देनेवालों में पंजाब कांग्रेस अध्योक्ष सुनील जाखड़, उत्तरप्रदेश यूनिट के अध्यक्ष राज बब्बर, दिल्ली से शीला दीक्षित, झारखंड से अजय कुमार शामिल हैं.

हार के बाद प्राथमिक समीक्षा के लिए जब सीडब्लूसी की बैठक हुई, तो ऐसा माना जाता है कि राहुल ने सीनियर नेताओं की कार्यशैली और उनकी कार्यक्षमता को लेकर नाराजगी जाहिर की. खासतौर पर 'पुत्रमोह' के विषय पर वे जमकर बरसे हैं. हालांकि, आधिकारिक तौर पर इस विषय को लेकर किसी कांग्रेस नेता ने कोई बात नहीं कही है. सभी अटकलें मीडिया रिपोर्ट पर आधारित हैं.

सचिन पायलट के बाद राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत राहुल से मिलने पहुंचे लेकिन वह मीडिया से बातचीत किये बिना वहां से चले गए.

कयास लगाए जा रहे हैं कि राजस्थान में पार्टी की भारी हार से राहुल नाराज हैं. राजस्थान के मुख्यमंत्री पर आरोप है कि उन्होंने पुत्र मोह में पार्टी की बलि दे दी.

राहुल के घर के बाहर जाते हुए अशोक गहलोत

गौरतलब है, राजस्थान में हाल ही में कांग्रेस की सरकार बनी थी लेकिन अब वहां पार्टी का पूरा सूपड़ा साफ हो गया है.
आपको बता दें, राहुल ने सचिन पायलट और गहलोत से अलग-अलग मुलाकात की. यह बात अपने आप में संदेश है कि राहुल गांधी राजस्थान पर कोई बड़ा फैसला लेने वाले हैं.

वहीं इस संबंध में कांग्रेस नेता प्रमोद तिवारी ने कहा कि हम चाहते हैं कि राहुल गांधी अपना इस्तीफा वापस ले और इसके लिए हमने उनसे अनुरोध किया है.

उन्होंने कहा कि मेरी प्रियंका गांधी से बातचीत हुई. हमने उनके माध्यम से अपनी ये बात राहुल तक पहुंचाई है.

कांग्रेस नेता प्रमोदी तिवारी से हुई बातचीत

उन्होंने कहा है कि कांग्रेस ने यह दौर कई बार देखा है. हम चाहते हैं राहुल गांधी अपने पद पर बने रहें क्योंकि पार्टी को उनकी जरूरत है.

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कांग्रेस पार्टी में आंतरिक घमासान अभी थमा नहीं है. कई राज्य प्रमुख इस्तीफा दे चुके हैं. पार्टी ने अभी तक ये तय नहीं किया है कि राहुल गांधी पद पर बने रहें या छोड़ दें. अभी तक किसी नेता ने खुलकर राहुल गांधी से इस्तीफा नहीं मांगा है. जानें, आखिरकार राहुल को मनाने में किसने निभाई है प्रमुख भूमिका.





तो अध्यक्ष बने ही रहेंगे राहुल गांधी ?



नई दिल्ली: लोकसभा चुनाव में मिली करारी हार के बाद कांग्रेस पार्टी में आंतरिक घमासान मचा हुआ है. कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी की स्थिति को लेकर भ्रम की स्थिति बनी हुई है. कभी ये खबर आती है कि वे अपने इस्तीफे पर अड़े हुए हैं, तो कभी इसका खंडन चला आता है. मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक प्रियंका गांधी और अहमद पटेल ने राहुल को पद ना छोड़ने पर सहमत कर लिया है. 

मंगलवार को राहुल गांधी से प्रियंका गांधी ने मुलाकात की है. उनके साथ पार्टी के मीडिया प्रमुख रणदीप सुरजेवाला भी थे. खबरों के मुताबिक आज शाम राहुल गांधी ने सीनियर नेताओं की बैठक बुलाई है. उसके बाद संभव है इन सारी स्थितियों से पर्दा हट सकेगा. 

एक दिन पहले यानि सोमवार को राहुल गांधी ने किसी भी नेताओं से मुलाकात नहीं की. कहा जाता है कि राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत उनसे मिलना चाहते थे, लेकिन राहुल इसके लिए तैयार नहीं हुए. केसी वेणुगोपाल से मुलाकात के बाद गहलोत लौट गए. सचिन पायलट भी राहुल से मिलना चाहते थे, लेकिन उनसे भी मुलाकात के लिए राहुल तैयार नहीं हुए. 

अभी तक कई स्टेट प्रमुख इस्तीफे की पेशकश कर चुके हैं. लेकिन जब तक राहुल को लेकर कोई अंतिम फैसला नहीं हो जाता है, तब तक इन इस्तीफों पर कोई विचार नहीं हो सकता है. 

इस्तीफा देनेवालों में पंजाब कांग्रेस अध्योक्ष सुनील जाखड़, उत्तरप्रदेश यूनिट के अध्यक्ष राज बब्बर, दिल्ली से शीला दीक्षित, झारखंड से अजय कुमार शामिल हैं. 

हार के बाद प्राथमिक समीक्षा के लिए जब सीडब्लूसी की बैठक हुई, तो ऐसा माना जाता है कि राहुल ने सीनियर नेताओं की कार्यशैली और उनकी कार्यक्षमता को लेकर नाराजगी जाहिर की. खासतौर पर 'पुत्रमोह' के विषय पर वे जमकर बरसे हैं. हालांकि, आधिकारिक तौर पर इस विषय को लेकर किसी कांग्रेस नेता ने कोई बात नहीं कही है. सभी अटकलें मीडिया रिपोर्ट पर आधारित हैं. 

 


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Last Updated : May 28, 2019, 2:21 PM IST
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