नई दिल्ली : कृषि मंत्री राधामोहन सिंह ने अगले पांच वर्षों में कृषि क्षेत्र में सुधार के लिए किसानों से सुझाव लेने के लिए एक पहल 'किसान की मन की बात' शुरू की है. इसके तहत उन्होंने दिल्ली में उत्तर भारत के विभिन्न राज्यों से आए किसानों से मुलाकात की.
कार्यक्रम में कई राज्यों के किसान प्रतिनिधियों के साथ-साथ कृषि विशेषज्ञ भी मौजूद थे. सभी सुझावों को डिजिटल माध्यम से भारत के मन की बात ऐप पर भेजा जाएगा.
कृषि मंत्री ने किसान प्रतिनिधियों के अपने संबोधन में कहा कि केंद्र सरकार ने अपने पहले कार्यकाल में भारत निर्माण की नींव रखी है. अगले पांच सालों में हम इसी नींव पर भव्य भारत का निर्माण करेंगे.
कृषि मंत्री ने जानकारी देते हुए कहा की देश की आजादी के बाद पहली बार इस तरह का कार्यक्रम चलाया जा रहा है और देश भर के किसानों के सुझावों को चुनावी घोषणापत्र में भी शामिल किया जाएगा.
कृषि मंत्री ने देश में किसानों की समस्याओं और मोदी सरकार के द्वारा किये गए कामों पर सवालों के जवाब देते हुए विश्वास जताया की 2022 तक किसानों की आय दुगनी करने का लक्ष्य जो उनकी सरकार ने निर्धारित किया है वो उसको जरूर हासिल करेंगे.
गौरतलब है कि इस अभ्यास का मकसद यह पता लगाना है कि अगले पांच वर्षों में किसान सरकार से क्या चाहते हैं और यह सुनिश्चित करना भी मकसद है कि कृषि क्षेत्र में सुधार हो.
चुनाव से पहले किसानों के मन की बात के माध्यम से सरकार किसानों से संवाद करने की कवायद कर उन्हें लुभाने की भरपुर कोशिश कर रही है. जिस तरह से 2018 का साल किसानों के मुद्दे से भरा रहा और जगह जगह किसान आंदोलन देखे गये ऐसे में ज़ाहिर तौर पर मोदी सरकार की ये कोशिश है की किसानों के मन की बात कर के उन्हें चुनाव से पहले अपने पक्ष में कर लिया जाए.