बेंगलुरु : बेंगलुरु हिंसा मामले में जांच को गंभीरता से लेते हुए, राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) 'सोशल डेमोक्रेटिक पार्टी ऑफ इंडिया' (एसडीपीआई) के नेता मुजम्मिल पाशा और उनके निकट सहयोगियों से पूछताछ करने के लिए तैयार है, इन पर कथित रूप से भीड़ को उकसाने का आरोप है, जिसके बाद हिंसा भड़की थी. एनआईए के एक बयान के अनुसार, पाशा ने कथित तौर पर एक बैठक बुलाई थी और कथित रूप से पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (पीएफआई) और एसडीपीआई के सदस्यों को भीड़ को भड़काने और हिंसा के लिए उकसाने का निर्देश दिया था.
बयान में कहा गया कि भीड़ ने बेंगलुरु में डीजे हल्ली, केजी हल्ली और पुलकेशी नगर इलाके में तोड़फोड़ की थी. भीड़ ने दो पुलिस स्टेशनों जैसे डीजे हल्ली और केजी हल्ली पर हमला किया और सरकारी और निजी वाहनों सहित पुलिस थानों की संपत्ति को नुकसान पहुंचाया.
एक अधिकारी ने आगे कहा कि भीड़ ने पुलिस थानों पर हमला करने से पहले पुलकेशी नगर निर्वाचन क्षेत्र के विधायक अखंड श्रीनिवास मूर्ति के घर पर भी हमला किया, इसलिए पाशा से पूछताछ होगी.
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गौरतलब है कि कवलब्य्रासंद्र में कांग्रेस विधायक अखंड श्रीनिवास मूर्ति (पुलकेशी नगर निर्वाचन क्षेत्र) के घर के सामने 1,000 से अधिक लोगों की भीड़ एकत्र हो गई थी.
बयान में कहा गया कि भीड़ विधायक के भतीजे नवीन द्वारा 11 अगस्त को शाम 4 बजे के करीब सोशल मीडिया (फेसबुक) पर अपमानजनक पोस्ट करने का विरोध कर रही थी, जिसमें कथित तौर पर मुसलमानों की धार्मिक भावनाओं को चोट पहुंचाई गई थी.