ETV Bharat / bharat

कर्नाटक : पैरामोटरिंग हादसे में नौसेना के कप्तान का निधन

कर्नाटक में पैरामोटरिंग हादसे में नौसेना अधिकारी कैप्टन मधुसूदन रेड्डी (54) की मौत हो गई. वे मोटर में अचानक खराबी आ जाने के चलते अरब सागर में गिर गए थे.

पैरामोटरिंग हादसा
पैरामोटरिंग हादसा
author img

By

Published : Oct 3, 2020, 6:23 PM IST

बेंगलुरु : कर्नाटक में शुक्रवार को पैरामोटरिंग हादसे में एक नौसेना अधिकारी की मौत हो गई. पुलिस ने मृतक की पहचान भारतीय नौसेना के कप्तान मधुसूदन रेड्डी (54) के रूप में की है. हालांकि हादसे में पैरामोटर के मालिक डॉ. विद्याधर वैद्य (60) और पायलट दोनों बच गए हैं.

पैरामोटरिंग एक एडवेंचर स्पोर्ट है, जिसमें राइडर इसमें लगी एक सीट पर बैठकर हवा में उड़ जाता है. इसकी गति एक मोटर से संचालित होती है. यह घटना कर्नाटक के कारवार में स्थित रवींद्रनाथ टैगोर बीच पर हुई, जो साहसिक खेलों के लिए मशहूर है. यह बीच पूरे दक्षिण भारत से कई पैरासेलिंग और पैरामोटरिंग के शौकीनों को अपनी ओर आकर्षित करता है.

एक अधिकारी ने कहा कि कोविड-19 महामारी के दौरान रवींद्रनाथ टैगोर बीच पर एडवेंचर खेलों पर प्रतिबंध लगा दिया था, जिसे सात महीने के बाद शुक्रवार को अनलॉक- 5 के एक हिस्से के रूप में फिर से खोला गया.

कारवार टाउन पुलिस ने कहा कि मोटर में अचानक खराबी आ जाने के चलते कैप्टन मधुसूदन रेड्डी (54) अरब सागर में गिर गए थे. हालांकि, पानी से उन्हें बचाए जाने के 30 मिनट बाद अस्पताल ले जाने के दौरान उनकी मौत हो गई.

पुलिस के अनुसार, कारवार में भारतीय नौसेना के बेस सी बर्ड में कार्यरत रेड्डी शुक्रवार को अपने परिवार के सदस्यों के साथ बीच पर आए हुए थे. वह मूल रूप से आंध्र प्रदेश के रहने वाले थे और उनका परिवार उनसे मिलने के लिए यहां आया हुआ था.

पैरामोटरिंग स्पोर्ट्स में उनके परिवार के सभी सदस्यों ने हिस्सा लिया और सबसे आखिर में उनकी बारी थी. समुद्र तल से जब वह 100 मीटर ऊपर थे, तभी मोटर में कुछ खराबी आ गई और वह सीधे पानी में जा गिरे.

पुलिस ने आगे कहा कि मधुसूदन रस्सी में उलझ गए थे और पैरामोटर के वजन ने उन्हें समंदर में खींच लिया. डॉ. विद्याधर भी इस दौरान पानी में गिर गए थे, लेकिन उन्हें मछुआरों ने तुरंत बचा लिया. रेड्डी को ढूंढने में उन्हें ज्यादा वक्त लगा. आखिरकार शाम के करीब पांच बजे उन्हें समंदर में से बाहर निकाला गया.

पढ़ें :- भारतीय और रॉयल ऑस्ट्रेलियन नौसेना का संयुक्त अभ्यास हुआ पूरा

पुलिस ने दावा किया कि रेड्डी को जब समंदर के किनारे लाया गया उस वक्त वह जिंदा थे. पुलिस ने कहा कि एम्बुलेंस के आने में देरी होने के कारण उन्हें पुलिस की जीप से करवार जिला अस्पताल ले जाया गया. अस्पताल ले जाने के दौरान उनकी रास्ते में मौत हो गई.

पुलिस ने कहा कि जिला अस्पताल में डॉक्टरों के अनुसार, कप्तान रेड्डी की मौत ठंडे पानी के झटके से हुई है. अधिकारी ने कहा, पानी में वह अचानक गिर पड़े थे, जहां तापमान 15 डिग्री सेल्सियस से कम था, जबकि बाहर का तापमान काफी अधिक था, इसलिए वह सदमे में चले गए थे.

बेंगलुरु : कर्नाटक में शुक्रवार को पैरामोटरिंग हादसे में एक नौसेना अधिकारी की मौत हो गई. पुलिस ने मृतक की पहचान भारतीय नौसेना के कप्तान मधुसूदन रेड्डी (54) के रूप में की है. हालांकि हादसे में पैरामोटर के मालिक डॉ. विद्याधर वैद्य (60) और पायलट दोनों बच गए हैं.

पैरामोटरिंग एक एडवेंचर स्पोर्ट है, जिसमें राइडर इसमें लगी एक सीट पर बैठकर हवा में उड़ जाता है. इसकी गति एक मोटर से संचालित होती है. यह घटना कर्नाटक के कारवार में स्थित रवींद्रनाथ टैगोर बीच पर हुई, जो साहसिक खेलों के लिए मशहूर है. यह बीच पूरे दक्षिण भारत से कई पैरासेलिंग और पैरामोटरिंग के शौकीनों को अपनी ओर आकर्षित करता है.

एक अधिकारी ने कहा कि कोविड-19 महामारी के दौरान रवींद्रनाथ टैगोर बीच पर एडवेंचर खेलों पर प्रतिबंध लगा दिया था, जिसे सात महीने के बाद शुक्रवार को अनलॉक- 5 के एक हिस्से के रूप में फिर से खोला गया.

कारवार टाउन पुलिस ने कहा कि मोटर में अचानक खराबी आ जाने के चलते कैप्टन मधुसूदन रेड्डी (54) अरब सागर में गिर गए थे. हालांकि, पानी से उन्हें बचाए जाने के 30 मिनट बाद अस्पताल ले जाने के दौरान उनकी मौत हो गई.

पुलिस के अनुसार, कारवार में भारतीय नौसेना के बेस सी बर्ड में कार्यरत रेड्डी शुक्रवार को अपने परिवार के सदस्यों के साथ बीच पर आए हुए थे. वह मूल रूप से आंध्र प्रदेश के रहने वाले थे और उनका परिवार उनसे मिलने के लिए यहां आया हुआ था.

पैरामोटरिंग स्पोर्ट्स में उनके परिवार के सभी सदस्यों ने हिस्सा लिया और सबसे आखिर में उनकी बारी थी. समुद्र तल से जब वह 100 मीटर ऊपर थे, तभी मोटर में कुछ खराबी आ गई और वह सीधे पानी में जा गिरे.

पुलिस ने आगे कहा कि मधुसूदन रस्सी में उलझ गए थे और पैरामोटर के वजन ने उन्हें समंदर में खींच लिया. डॉ. विद्याधर भी इस दौरान पानी में गिर गए थे, लेकिन उन्हें मछुआरों ने तुरंत बचा लिया. रेड्डी को ढूंढने में उन्हें ज्यादा वक्त लगा. आखिरकार शाम के करीब पांच बजे उन्हें समंदर में से बाहर निकाला गया.

पढ़ें :- भारतीय और रॉयल ऑस्ट्रेलियन नौसेना का संयुक्त अभ्यास हुआ पूरा

पुलिस ने दावा किया कि रेड्डी को जब समंदर के किनारे लाया गया उस वक्त वह जिंदा थे. पुलिस ने कहा कि एम्बुलेंस के आने में देरी होने के कारण उन्हें पुलिस की जीप से करवार जिला अस्पताल ले जाया गया. अस्पताल ले जाने के दौरान उनकी रास्ते में मौत हो गई.

पुलिस ने कहा कि जिला अस्पताल में डॉक्टरों के अनुसार, कप्तान रेड्डी की मौत ठंडे पानी के झटके से हुई है. अधिकारी ने कहा, पानी में वह अचानक गिर पड़े थे, जहां तापमान 15 डिग्री सेल्सियस से कम था, जबकि बाहर का तापमान काफी अधिक था, इसलिए वह सदमे में चले गए थे.

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.