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नौकरियां देने का वादा निभाने में नाकाम रहीं ममता : मुकुल रॉय

बीजेपी के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष मुकुल रॉय ने पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी पर युवाओं से किया गया नौकरियां देने का वादा पूरा नहीं करने का आरोप लगाया.

मुकुल रॉय
मुकुल रॉय
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Published : Dec 14, 2020, 7:40 AM IST

कोलकाता : भाजपा के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष मुकुल रॉय ने रविवार को दावा किया कि पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी सिंगूर के युवाओं को नौकरियां देने का वादा निभाने में नाकाम रहीं और उनके लिये कुछ नहीं किया.

रॉय ने कहा कि सिंगूर उनके भूमि-अधिग्रहण रोधी आंदोलन का पर्याय बनकर रह गया है. टाटा मोटर्स ने दुनिया की सबसे सस्ती कार 'नैनो' की फैक्ट्री हुगली जिले के सिंगूर में लगाई थी, लेकिन परियोजना अधर में लटक गई. फिर 2006 -2007 में बनर्जी तथा उनकी पार्टी तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) के नेतृत्व में हुए किसानों के आंदोलन के बाद उसे गुजरात ले जाया गया.

एक समय ममता बनर्जी का दाहिना हाथ माने जाने वाले रॉय 2017 में तृणमूल कांग्रेस छोड़कर भाजपा शामिल हो गए थे. उन्होंने यहां संवाददाता सम्मेलन में स्वीकार किया कि टीएमसी में रहने के दौरान उन्होंने भी 2006 के सिंगूर आंदोलन में भाग लिया था.

उन्होंने कहा कि 'नैनो' के निर्माण प्लांट को पश्चिम बंगाल से बाहर भेजने के लिये दबाव डालना बड़ी भूल थी और इसने अन्य उद्योगपतियों के लिये बाधाएं पैदा करने का काम किया.

पढ़ें- किसान आंदोलन के समर्थन में पंजाब के डीआईजी लखमिंदर सिंह का इस्तीफा

रॉय ने बनर्जी पर युवाओं से किया गया नौकरियां देने का वादा पूरा नहीं करने का आरोप लगाया.

गुजरात के तत्कालीन मुख्यमंत्री नरेन्द्र मोदी के निमंत्रण पर इस परियोजना को वहां ले जाया गया. सिंगूर और नंदीग्राम भूमि अधिग्रहण आंदोलन के चलते ममता बनर्जी 2011 में राज्य में सत्ता में आईं और वाम दलों का 34 साल का राज खत्म हो गया.

कोलकाता : भाजपा के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष मुकुल रॉय ने रविवार को दावा किया कि पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी सिंगूर के युवाओं को नौकरियां देने का वादा निभाने में नाकाम रहीं और उनके लिये कुछ नहीं किया.

रॉय ने कहा कि सिंगूर उनके भूमि-अधिग्रहण रोधी आंदोलन का पर्याय बनकर रह गया है. टाटा मोटर्स ने दुनिया की सबसे सस्ती कार 'नैनो' की फैक्ट्री हुगली जिले के सिंगूर में लगाई थी, लेकिन परियोजना अधर में लटक गई. फिर 2006 -2007 में बनर्जी तथा उनकी पार्टी तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) के नेतृत्व में हुए किसानों के आंदोलन के बाद उसे गुजरात ले जाया गया.

एक समय ममता बनर्जी का दाहिना हाथ माने जाने वाले रॉय 2017 में तृणमूल कांग्रेस छोड़कर भाजपा शामिल हो गए थे. उन्होंने यहां संवाददाता सम्मेलन में स्वीकार किया कि टीएमसी में रहने के दौरान उन्होंने भी 2006 के सिंगूर आंदोलन में भाग लिया था.

उन्होंने कहा कि 'नैनो' के निर्माण प्लांट को पश्चिम बंगाल से बाहर भेजने के लिये दबाव डालना बड़ी भूल थी और इसने अन्य उद्योगपतियों के लिये बाधाएं पैदा करने का काम किया.

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रॉय ने बनर्जी पर युवाओं से किया गया नौकरियां देने का वादा पूरा नहीं करने का आरोप लगाया.

गुजरात के तत्कालीन मुख्यमंत्री नरेन्द्र मोदी के निमंत्रण पर इस परियोजना को वहां ले जाया गया. सिंगूर और नंदीग्राम भूमि अधिग्रहण आंदोलन के चलते ममता बनर्जी 2011 में राज्य में सत्ता में आईं और वाम दलों का 34 साल का राज खत्म हो गया.

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