नई दिल्ली : भारत-तिब्बत सीमा पुलिस (आईटीबीपी) भारत-चीन अंतरराष्ट्रीय सीमा पर किसी भी स्थिति का सामना करने के लिए हमेशा तैयार है. आईटीबीपी के प्रवक्ता विवेक पांडेय ने बुधवार को ईटीवी भारत को दिए एक विशेष साक्षात्कार में कहा कि हम किसी भी स्थिति से निपटने के लिए तैयार हैं. यह पहली बार नहीं है, जब आईटीबीपी ऐसी स्थिति से निपट रही है.
सेना के साथ आईटीबीपी भारत और चीन के बीच 3488 किलोमीटर अंतरराष्ट्रीय सीमा की रखवाली करती है. यह सीमावर्ती क्षेत्रों के साथ इस वर्तमान शत्रुतापूर्ण स्थिति में बहुत अधिक महत्व रखता है. आईटीबीपी के जवानों की तैनाती कराकोरम दर्रे से लेकर लद्दाख, हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड, सिक्किम और अरुणाचल प्रदेश के जाचेप ला तक लगभग 180 सीमा चौकियों पर होती है. विवेक पांडेय ने कहा कि आईटीबीपी के महानिदेशक ने हाल ही में सीमावर्ती क्षेत्रों का दौरा किया है और जवानों को उनकी बहादुरी के लिए सम्मानित किया है.
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विवेक पांडेय ने कहा कि हमारी ट्रेनिंग बेजोड़ है. हम किसी भी तरह की घटना का मुकाबला करने के लिए तैयार हैं. मनोवैज्ञानिक रूप से और अपने संसाधनों के साथ हम किसी भी खतरे का प्रतिरोध करने में सक्षम हैं. विवेक पांडेय ने स्वीकार किया कि आईटीबीपी के जवान दुनिया की सबसे कठिन सीमा में से एक की रक्षा करते हैं. हमारे जवान उच्च ऊंचाई वाले बॉर्डर आउट पोस्ट्स पर तैनात हैं और उच्चतम बॉर्डर आउट पोस्ट्स 18,800 फीट की ऊंचाई पर स्थित है. आईटीबीपी के जवानों काे माइनस 45 डिग्री सेल्सियस में भी रहना पड़ता है और ऑक्सीजन की कमी का सामना करते हैं. यहां यह उल्लेख किया जा सकता है कि आईटीबीपी कोरोना महामारी में संक्रमित लोगों के इलाज में भी साथ दे रहा है.